लॉकडाउन में बच्चों की पढ़ाई का नहीं होगा नुकसान, घर बैठे साइबर स्कूल मैनेजर एप से लग रही क्लास
कोरोना वायरस ने देश को पूरी तरह लॉकडाउन कर दिया है। अप्रैल में स्कूलों में नया सत्र शुरू हो जाता है लेकिन लाखों बच्चे घरों में रहने को मजबूर हैं।
जागरण संवाददाता, चंडीगढ़
कोरोना वायरस ने देश को पूरी तरह लॉकडाउन कर दिया है। अप्रैल में स्कूलों में नया सत्र शुरू हो जाता है, लेकिन लाखों बच्चे घरों में रहने को मजबूर हैं। इससे बच्चों की पढ़ाई का काफी नुकसान हो रहा है, लेकिन तकनीक हर मुश्किल का तोड़ निकाल ही लेती है। साइबर स्कूल मैनेजर एप से अब स्कूली बच्चों को घर बैठे ही क्लास लगाने की सुविधा मिलने लगी है। लॉकडाउन खत्म होने में कितना वक्त लगेगा अभी इसके बारे में कुछ कहा नहीं जा सकता। ऐसे में स्कूलों ने डिजिटल सॉल्यूशन का इस्तेमाल करना शुरू कर दिया है। साइबर स्कूल मैनेजर एप स्कूलों के लिए ऑनलाइन क्लास का बेहतर विकल्प दे रहा है। डायरेक्टर पुनीत वर्मा ने दैनिक जागरण से विशेष बातचीत में बताया कि देश भर में वैसे तो उनके डिजिटल सॉल्यूशन को 200 से अधिक शैक्षणिक संस्थान प्रयोग कर रहे हैं। लेकिन बीते 10 दिनों में 20 से अधिक इंस्टीट्यूट जुड़े हैं। बच्चों की पढ़ाई प्रभावित न हो इसलिए स्कूलों को यह सॉल्यूशन पूरी तरह निशुल्क दिया जा रहा है। स्कूल टीचर्स को विशेष तौर पर तीन से चार घंटे की ट्रेनिग भी दी जा रही है। घर बैठे टीचर ले रही क्लास
पुनीत के अनुसार देश ही नहीं विदेश में भी उनकी कंपनी ऑनलाइन सॉल्यूशन की सुविधा दे रही है। स्कूलों के अलावा कोचिग इंस्टीट्यूट भी शामिल हैं। जिससे लाखों स्टूडेंट्स को फायदा मिल रहा है। लॉकडाउन में मनीमाजरा के गुरुकुल ग्लोबल और पंचकूला स्थित लिटल फ्लावर जैसे कई स्कूलों के 40 हजार स्टूडेंट्स डिजिटल सॉल्यूशन से घर बैठे पढ़ाई कर रहे हैं। बच्चों की घर बैठे ही हर तरह की काउंसलिग की जा सकती है। साइबर स्कूल मैनेजर एप से टीचर्स और स्टूडेंट्स आपस में संवाद कर सकते हैं, साथ ही कई तरह की अन्य सुविधाएं भी दी गई हैं। बच्चों से जुड़ी पूरी जानकारी अभिभावक भी एप पर देख सकते हैं। इस संबंधी ज्यादा जानकारी के लिए हेल्पलाइन नंबर 9216953958 भी जारी किया गया है। पीयू से की एमबीए डिग्री, 2012 में शुरू की कंपनी
दैनिक जागरण से बातचीत में पुनीत वर्मा ने बताया कि 2012 में उन्होंने कंपनी शुरू की थी और 2015 में डिजिटल सॉल्यूशन सर्विस देनी शुरू की। साल भर पहले तक कोचिग इंस्टीट्यूट लेवल पर ही ऑनलाइन क्लास का ट्रेंड था, लेकिन मौजूदा लॉकडाउन जैसे हालात में स्कूल, कॉलेज स्तर पर भी इसकी जरूरत बढ़ गई है। कंपनी सोशल रिस्पांसिबिलिटी के तहत लॉकडाउन में स्कूलों को ऑनलाइन टीचिग से जुड़ी सुविधा दे रही है। शिमला यूनिवर्सिटी के यूआइईटी विभाग से आइटी में इंजीनियरिग की डिग्री पाने वाले पुनीत मूल रूप से हिमाचल के पालमपुर निवासी हैं। एमबीए की पढ़ाई पंजाब यूनिवर्सिटी के प्रतिष्ठित विभाग यूबीएस से की है। शुरू से ही इन्हें एजुकेशन फिल्ड से लगाव रहा है।