Move to Jagran APP

आवश्यकता आधारित शोध से ही मिलेगा लाभ : प्रो. विनोद पॉल

विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में उन्नति नहीं करेंगे तो मेडिकल फैक्लटी अपने महत्व को खो देगी।

By JagranEdited By: Published: Tue, 15 Oct 2019 07:43 PM (IST)Updated: Fri, 18 Oct 2019 06:24 AM (IST)
आवश्यकता आधारित शोध से ही मिलेगा लाभ : प्रो. विनोद पॉल
आवश्यकता आधारित शोध से ही मिलेगा लाभ : प्रो. विनोद पॉल

जागरण संवाददाता, चंडीगढ़ : विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में उन्नति नहीं करेंगे तो मेडिकल फैकेल्टी अपने महत्व को खो देगी। शोध आवश्यकता आधारित होनी चाहिए, ताकि मानव जाति के लाभ के लिए परिणाम का उपयोग किया जाए। यह बातें नीति आयोग और चेयरपर्सन बीओडी, एमसीआइ, दिल्ली के सदस्य प्रो. विनोद के पॉल ने मंगलवार को सेक्टर-32 स्थित गर्वनमेंट मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल के दूसरे रिसर्च-डे पर आयोजित कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि कहीं। उन्होंने चिकित्सा विज्ञान में अनुसंधान के महत्व पर जोर दिया। डायरेक्टर ने गिनाई उपलब्धियां

loksabha election banner

इस अवसर पर जीएमसीएच के डायरेक्टर प्रिसिपल प्रोफेसर बीएस चवन ने कॉलेज की उपलब्धियां गिनाई। बताया कि, जीएमसीएच देश के टॉप 10 मेडिकल कॉलेजों में 150 एमबीबीएस, 128 एमडी/एमएस सीटों, 79 पैरामेडिकल छात्रों और 16 एमफिल छात्रों के साथ संचालित हो रहा है। पिछले एक साल में, जीएमसीएच ने ओपीडी में लगभग 8 लाख मरीजों और इमरजेंसी में 1,40,000 रोगियों को मेडिकल केयर प्रदान की है। उन्होंने बताया कि 200 बेड वाली इमरजेंसी और ट्रॉमा ब्लॉक और 300 बेड मदर एंड चाइल्ड ब्लॉक की दो प्रमुख परियोजनाएं, जीएमसीएच देश में पहला मेडिकल संस्थान बन जाएगा, जिसमें आपातकालीन रोगियों की देखभाल के लिए स्वतंत्र फैकल्टी और स्टाफ होगा, जो मृत्यु दर को कम करेगा। विशेषज्ञों ने साझा की राय

नाइपर के डायरेक्टर प्रो. रघुराम राघव ने मल्टी डिसिप्लिनरी एंड मल्टी साइंटिफिक रिसर्च के बारे में बात की और एक ही समय में कई सेंटर्स पर आयोजित किए गए शोध के महत्व पर जोर दिया। पंजाब यूनिवर्सिटी के यूनिवर्सिटी इंस्टीट्यूट ऑफ फार्मास्यूटिकल साइंस के प्रो. ओमप्रकाश कटारे ने मेडिकल के क्षेत्र में पेटेंट के महत्व पर जानकारी दी। प्रोफेसर जीपी थामी, चेयरमैन, सेल ने पिछले एक साल में फैकेल्टी, पोस्ट ग्रेजुएट स्टूडेंट्स (एमडी/एमएस) और अंडरग्रेजुएट स्टूडेंट्स (एमबीबीएस) द्वारा किए गए रिसर्च का विवरण साझा किया। डायरेक्टर प्रिसिपल प्रो. बीएस. चवन, जीएमसीएच, मेडिकल सुपरिंटेंडेंट प्रो. रवि गुप्ता और और माइक्रोबायोलॉजी की प्रो. वर्षा गुप्ता ने बेस्ट रिसर्चर को चुना।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.