Lockdown में स्ट्रे डॉग्स के खाने का इंतजाम कर रहे कर्मवीर योद्धा
लॉकडाउन से मार्केट के स्ट्रे डॉग्स की जिंदगी काफी मुश्किल हो गई है। दुकानें बंद हैं ऐसे में खाने का कोई इंतजाम नहीं हो पा रहा।
चंडीगढ़, [डॉ. सुमित सिंह श्योराण]। सेक्टर-9सी की मार्केट लॉकडाउन के कारण सुनसान है। लेकिन हर शाम जैसे ही एक गाड़ी रुकती है, इस इलाके के सभी स्ट्रे डॉग्स तुरंत उसकी ओर दौड़ते हैं। गाड़ी में आने वाली एक युवती लॉकडाउन के बाद से ही हर रोज डॉग्स को खाना खिलाने आ रही हैं। कुछ ही दिनों में सभी डॉग्स इस युवती से काफी फ्रेंडली हो गए और अब हर रोज उसके आने का इंतजार करते हैं। लॉकडाउन से मार्केट के स्ट्रे डॉग्स की जिंदगी काफी मुश्किल हो गई है। दुकानें बंद हैं, ऐसे में खाने का कोई इंतजाम नहीं हो पा रहा। इन डॉग्स के लिए पेशे से फिजियोथेरेपिस्ट डॉ. मानसी बत्रा किसी फरिश्ते से कम नहीं हैं।
दैनिक जागरण से बातचीत में डॉ. मानसी ने बताया कि लॉकडाउन में इंसान ही नहीं, स्ट्रे डॉग्स को भी खाने की दिक्कत हो रही है। यह भी हमारे जीवन का हिस्सा हैं। वे प्रतिदिन 30 से 40 स्ट्रे डॉग्स के खाने का इंतजाम कर रही हैं। इनके पड़ोस में रहने वाली सेक्रेड हार्ट स्कूल में 9वीं क्लास की छात्रा दिशा के अलावा उदित, ईवनीत, ईशविता भी शहर के दूसरे हिस्सों में स्ट्रे डॉग्स और दूसरे जानवरों को खाना खिलाने में जुटे हैं।
कर्मवीर योद्धा इशविता।
स्ट्रे डॉग्स बने डॉ. मानसी के बेस्ट फ्रेंड
सेक्टर-9 निवासी डॉ. मानसी बत्रा ने अमृतसर से डॉक्टरी की पढ़ाई की है। उन्होंने बताया कि बीते कई साल से स्ट्रे डॉग्स उनके बेस्ट फ्रेंड बन गए हैं। पढ़ाई के बाद चंडीगढ़ आने पर उन्होंने एक स्ट्रे डॉग्स को करीब सात साल तक रखा। लेकिन शहर से कुछ दिन बाहर जाने पर पीछे से उसकी मौत हो गई। ये बेजुबान होकर भी काफी इमोशनल होते हैं। दूसरे स्टेट्स में भी जाकर वह स्ट्रे डॉग्स को खाना खिलाती हैं। लेकिन आज तक कभी किसी डॉग ने चोट नहीं पहुंचाई।
कर्मवीर योद्धा अवनी।
200 वॉलंटियर्स जुटे हैं खाना पहुंचाने के लिए
डॉ. मानसी ने बताया कि उनके रेसक्यू एंड कोआर्डिनेशन ग्रुप में 200 से अधिक एनीमल लवर्स हैं। सभी चंडीगढ़ के साथ ही पंचकूला और मोहाली में स्ट्रे डॉग्स को खाना खिला रहे हैं। स्ट्रे डॉग्स और दूसरे जानवरों के खाने की दिक्कत की जानकारी मिलती हैं। वहां पर ये वॉलंटियर्स तुरंत खाने का इंतजाम करते हैं। डॉग्स के लिए ब्रैड, चपाती और दूध का इंतजाम करते हैं।
कर्मवीर योद्धा उदित।
मुश्किल वक्त है, लोग जानवरों के लिए डोनेट करें
डॉ. मानसी का कहना है कि स्ट्रे डॉग्स और दूसरे जानवर हमारे जीवन का हिस्सा हैं। इनसे नफरत न करें। बिना वजह डॉग्स कभी भी नहीं काटते, भूखे होने या उन्हें तंग करने पर ही वह ऐसा करते हैं। लॉकडाउन में इन जानवरों को हमारी मदद की काफी जरूरत है। ऐसे में लोग स्ट्रे डॉग्स के लिए अपनी पॉकेट के हिसाब से जरूर डोनेट करें। घर के आसपास जो भी जानवर हो, उसे खाना जरूर दें।
कर्मवीर योद्धा गुरमेहर।
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