जेहाद के लिए सोशल मीडिया के जरिये शगुन एकत्र कर रहा था गाजी बाबा
इस्लामिक स्टेट (आइएस) के कथित आतंकी गाजी बाबा उर्फ जीशान उर्फ मुजम्मिन जेहाद ने पूछताछ में खुलासा किया कि वह शगुन के जरिए मोटा बजट एकत्र करने की योजना पर काम कर रहा था।
चंडीगढ़ [मनोज त्रिपाठी]। उत्तर प्रदेश एंटी टेररिस्ट स्क्वायड (एटीएस) व पंजाब पुलिस द्वारा संयुक्त कारवाई में बीते दिनों जालंधर से गिरफ्तार किए गए इस्लामिक स्टेट (आइएस) के कथित आतंकी गाजी बाबा उर्फ जीशान उर्फ मुजम्मिन जेहाद के लिए शगुन के जरिए मोटा बजट एकत्र करने की योजना पर काम कर रहा था। पुलिस पूछताछ में पता चला है कि गाजी के साथी बिजनौर निवासी आतंकी मुफ्ती सहजान का शगुन का आइडिया गाजी को इतना अच्छा लगा कि उसने इसी के जरिए हथिय़ार व विस्फोटक सामग्री के लिए पैसे एकत्र करने शुरू कर दिए थे। गाजी ने सोशल मीडिया पर जेहाद के लिए सहयोग की अपील भी कट्टरपंथियों से की थी।
उत्तर प्रदेश के उन्नाव का रहने वाला गाजी बाबा 2014 में जालंधर आ गया था। जालंधर से 25 किलोमीटर दूर भुलत्थ में गाजी के पिता गमले बनाने का काम करते हैं। उसके चाचा व अन्य रिश्तेदार भी जालंधर, कपूरथला में रहते हैं। उनके सहयोग से गाजी बाबा उन्नाव से जालंधर शिफ्ट हुआ और कपूरथला रहने की बजाय उसने जालंधर में रहने का ठिकाना बनाया।
पूछताछ में गाजी बाबा ने बताया है कि जालंधर से लखनऊ सहित उत्तर प्रदेश के कई शहरों, मुंबई तथा दिल्ली के लिए सीधी यातायात व्यवस्था लगभग 24 घंटे उपलब्ध रहती है। साथ ही छिपने व भागने के लिए भी जालंधर महफूज जगह थी। इसी के चलते गाजी ने जालंधर में रहकर फेसबुक व सोशल मीडिया के जरिए अपना नेटवर्क खड़ा करना शुरू किया था।
उमर ने करवाई थी हथियारों की डील
गाजी बाबा के साथी मुंबई निवासी उमर ने मुंबई के हथियारों के एक दलाल के जरिए चार पिस्टल व विस्फोटक सामग्री की डील करवाई थी। उमर की मुलाकात भी गाजी से फेसबुक के जरिए हुई थी। गाजी ने उमर को जालंधर से शगुन द्वारा एकत्र किए गए पैसे भेजे थे। हथियारों की डिलीवरी गाजी बाबा ने जालंधर व लखनऊ में लेने की बात कही थी। 17 हजार रुपये में एक पिस्टल की खरीद तय हुई थी। जालंधर की सप्लाई करीब दो महीने पहले ही उमर ने गाजी को करवा दी थी। लखनऊ की सप्लाई गाजी ने मई में लेनी थी।
मुफ्ती ने एकत्र किए थे 40 हजार
मुफ्ती ने गाजी बाबा के साथ जुड़कर जेहाद के लिए 40 हजार की रकम एकत्र की थी। इससे विस्फोटक सामग्री की खरीद की जानी थी। एक लाख रुपये में रेलवे ट्रैक उड़ाने वाली विस्फोटक सामग्री की डील गाजी ने मुफ्ती के जरिए ही एक दलाल से की थी। शर्त यह थी कि विस्फोटक सामग्री के साथ उसके इस्तेमाल की ट्रेनिंग भी संबंधित व्यक्ति द्वारा ही उपलब्ध करवाई जाएगी।
विस्फोटक सामग्री के इस्तेमाल को लेकर गाजी ने दलाल व मुफ्ती को राज नहीं बताया था, उसे इतनी ही जानकारी थी कि सबसे सुरक्षित तरीके से विस्फोट करवाने का तरीका रेलवे ट्रैक व ट्रेन ही है। विस्फोटक सामग्री रख विस्फोट होने तक संबंधित स्थल से काफी दूर निकल जाओ। प्रयोग के तौर पर गाजी को कानपुर के पास एक रेलवे ट्रेक पर विस्फोट करवाया गया था।
आज खत्म होगा पुलिस रिमांड
गाजी बाबा से पूछताछ करने गई पंजाब पुलिस की टीम ने शनिवार को भी पूरे दिन पूछताछ जारी रखी। एटीएस के साथ चल रही संयुक्त पूछताछ में गाजी ने कई सनसनीखेज खुलासे किए हैं। पंजाब पुलिस के उच्च अधिकारिक सूत्रों के मुताबिक कोशिश है कि गाजी से हथियारों के बारे में जानकारी उगलवा ली जाए कि उसने जालंधर या पंजाब में कहां पर हथियार रखे हैं। फिलहाल रविवार को उसका पुलिस रिमांड खत्म हो रहा है।
आज किया जाएगा अदालत में पेश
उत्तर प्रदेश एटीएस के आईजी असीम ने बताया कि गाजी को रविवार को ही अदालत में पेश करके आगे रिमांड पर लेने के लिए एटीएस के पास काफी सबूत मौजूद हैं। अभी पूछताछ के बारे में कोई खुलासा नहीं किया जा सकता है। रिमांड लेने के बाद उसे कई जगहों पर लेकर जाना है, जहां पर उसने विस्फोट करने की योजना को लेकर लोकल लोगों के साथ संपर्क साधा था।
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