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जुनून ने दिलाई मंजिल, हेड कांस्टेबल की बेटी बनी IAS

बहुत ही साधारण परिवार की इस बेटी ने देश की सबसे प्रतिष्ठित ऑल इंडिया सिविल सर्विसेज को क्लीयर कर लिया है।

By Kamlesh BhattEdited By: Published: Sat, 06 Apr 2019 12:56 PM (IST)Updated: Sat, 06 Apr 2019 12:56 PM (IST)
जुनून ने दिलाई मंजिल, हेड कांस्टेबल की बेटी बनी IAS
जुनून ने दिलाई मंजिल, हेड कांस्टेबल की बेटी बनी IAS

चंडीगढ़ [डॉ. सुमित सिंह श्योराण]। दिल में कुछ करने का जुनून हो तो मंजिलें खुद ही मिल जाती हैं। हेड कांस्टेबल की बेटी प्रीति यादव ने कुछ ऐसा ही कर दिखाया। बहुत ही साधारण परिवार की इस बेटी ने देश की सबसे प्रतिष्ठित ऑल इंडिया सिविल सर्विसेज को क्लीयर कर लिया है। चंडीगढ़ पुलिस में हेड कांस्टेबल के पद पर कार्यरत मुकेश यादव के घर पर बधाई का सिलसिला जारी है।

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10 अप्रैल को जन्मदिन की तैयारी से पहले ही प्रीति को बर्थडे गिफ्ट मिल गया। सिर्फ 22 साल की उम्र में दूसरे ही चांस में प्रीति IAS बनकर युवाओं के लिए रोल मॉडल बन गई हैं। उन्होंने सिविल सर्सिसेज में 466वां रैंक हासिल किया है। जिंदगी को लेकर एक अलग ही सोच रखने वाली प्रीति ने दैनिक जागरण से विशेष बातचीत में कहा कि अगर किसी भी टारगेट पर पूरे फोकस के साथ मेहनत की जाए तो सफलता जरूर मिलती है।

प्रीति ने कहा कि वह IAS बनकर महिलाओं और भिखारियों की दिक्कतों पर विशेष तौर पर फोकस करेंगी। रेवाड़ी जिले की मूल निवासी प्रीति अपनी सफलता का श्रेय अपनी प्रोफेसर अनिल कुमार को देती हैं। उन्होंने कहा कि 12वीं के बाद उनके मार्गदर्शन में ही वह अपनी मुकाम तक हासिल कर सकी। पिता मुकेश और मां सुमित्रा को अपना रोल मॉडल मानती हैं। प्रीति जिंदगी को लव...लाइव एंड लॉफ में परिभाषित करती हैं।

12वीं में ट्राईसिटी टॉपर रही प्रीति यादव

प्रीति यादव शुरू से ही टॉपर रही हैं। सेक्टर-16 गवर्नमेंट मॉडल स्कूल से 12वीं आटर्स संकाय में 96.2 फीसद अंकों के साथ ट्राईसिटी में टॉप किया है। जीसीजी-11 से इन्होंने बीए ऑनर्स (ज्योग्राफी) की डिग्री हासिल की है। इसमें भी प्रीति ने पंजाब यूनिवर्सिटी (PU) में गोल्ड मेडल हासिल किया है। प्रीति ने बताया कि उन्होंने ग्रेजुएशन स्तर पर ही सिविल सर्विसेज की तैयारी शुरू कर दी थी। बीते साल भी इन्होंने पहले ही प्रयास में इंटरव्यू तक का सफर हासिल किया, लेकिन चंद अंकों से मंजिल दूर रह गई। प्रीति ने कहा कि जीवन में उन्होंने सिर्फ IAS बनने का लक्ष्य रखा और इसे हासिल करने के लिए मेहनत की थी। प्रीति ने सिर्फ ग्रेजुएशन करने के बाद ही सिविल सर्विसेज जैसी कठिन परीक्षा पास की है।

पिता ने गरीबी में भी बच्चों को किया शिक्षित

प्रीति के पिता मुकेश यादव इस समय सेक्टर-26 स्थित पुलिस लाइन में पीसीआर डीएसपी के साथ तैनात हैं। 1991 में कांस्टेबल के पद पर भर्ती हुए मुकेश ने बताया कि उन्होंने हमेशा ही अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा देने का प्रयास किया है। बेटी IAS बन गई है जबकि बेटा दुष्यंत रुड़की से कंप्यूटर इंजीनियिरंग कर रहा है। पुराने दिनों को याद करते हुए मुकेश ने बताया कि नौकरी के शुरुआती दिनों में वह बापूधाम जैसी स्लम बस्ती में रहते थे। बच्चों को बहुत ही साधारण सरकारी स्कूल में पढ़ाया है। बेटी की तरह पिता को भी बेहतर काम के लिए यूटी का प्रतिष्ठित एडमिनिस्ट्रेटर पुलिस मेडल मिल चुका है।

पूरे परिवार में खुशी का माहौल

सेक्टर-19 के मकान नंबर 158 में शुक्रवार देर शाम प्रीति के IAS बनने की खबर के साथ ही पूरे घर में जश्न का माहौल छा गए। प्रीति के साथ ही पिता मुकेश यादव के पास भी चंडीगढ़ पुलिस के अधिकारियों के भी बधाई संदेश आने लगे। इस मौके पर प्रीति के दादा ओमप्रकाश और दादी प्रेम देवी अपनी पोती की सफलता पर खुशी से झूम उठे। ओमप्रकाश भी पंजाब पुलिस से रिटायर हैं। प्रीति संयुक्त परिवार में रहती हैं। चाचा राकेश यादव CTU में ड्राइवर और दूसरे चाचा दिनेश यादव चंडीगढ़ पुलिस में कांस्टेबल के पद पर कार्यरत हैं।

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