हाई कोर्ट के आदेश के बाद भी पूर्व मंत्री तीक्ष्ण सूद को पंजाब सरकार से नहीं मिली सुरक्षा
पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट के आदेश के बावजूद पंजाब सरकार से राज्य के पूर्व मंत्री तीक्ष्ण सूद को सुरक्षा नहीं मिली है। तीक्ष्ण सूद के वकील ने हाई काेर्ट में यह मामला उठाया। पंजाब सरकार से इस मामले में रिपोर्ट मांगी गई है।
चंडीगढ़,जेएनएन। हाईकोर्ट के आदेश के बावजूद पंजाब भाजपा के वरिष्ठ नेता तथा पूर्व मंत्री तीक्ष्ण सूद को पंजाब सरकार से सुरक्षा नहीं मिली है। सूद के वकील ने पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट में यह मामला उठाया। तीक्ष्ण सूद ने अपनी और अपने परिवार की सुरक्षा की मांग को लेकर याचिका दायर की थी। इसके बाद हाईकोर्ट पंजाब सरकार को तत्काल तीन पीएसओ और घर पर 4 सुरक्षा कर्मियों की तैनाती के जो आदेश दिए थे, उन आदेशों के बावजूद उन्हें अभी तक पर्याप्त सुरक्षा नहीं दी गई है।
हाई कोर्ट ने तीक्ष्ण सूद की सुरक्षा सुनिश्चित करने के दिए आदेश
यह जानकारी तीक्ष्ण सूद के एडवोकेट केएस डडवाल ने शुक्रवार को हाई कोर्ट को दी है। इस पर जस्टिस अरुण कुमार त्यागी ने सरकार को तीक्ष्ण सूद की सुरक्षा सुनिश्चित करने का आदेश दिया। वहीं सुनवाई के दौरान केंद्र और पंजाब सरकार ने अपना जवाब दिए जाने के लिए हाई कोर्ट से कुछ समय दिए जाने की मांग की। उन्होंने कहा कि वह तीक्ष्ण सूद को खतरे का आंकलन कर अगली सुनवाई पर इसकी रिपोर्ट हाई कोर्ट को सौंप देंगे। इस पर हाई कोर्ट ने समय देते हुए सुनवाई 5 मार्च तक स्थगित कर दी है।
बता दें कि तीक्ष्ण सूद ने हाई कोर्ट में याचिका दायर कर बताया है कि उनके विरोधी पंजाब में किसान आंदोलन की आड़ में अपने राजनीतिक लाभ के लिए न सिर्फ उन्हें बल्कि उनकी पार्टी के लोगों को पिछले कई दिनों से लगातार निशाना बना रहे हैं। उन्होंने याचिका में 1 जनवरी को अपने घर पर कुछ युवकों द्वारा किए गए हमले का हवाला दिया। उन्होंने बताया है कि उस दिन कुछ युवक उनके घर में घुस गए थे और उनके घर के गेट पर गोबर की ट्राली उलट दी थी। कुछ ने उन्हें जान से मारने तक की धमकी दी थी। चाहे वह लोग खुद को किसान बताते रहे, लेकिन वह सभी लोग जिन्होंने उनके घर पर हमला किया था वह एक मंत्री के समर्थक थे।
तीक्ष्ण सूद ने कहा है कि इस घटना के बाद से उन्हें लगातार परेशान किया जा रहा है। ऐसे में अब उनकी और उनके परिवार की सुरक्षा को सुरक्षा को खतरा बना हुआ है। लिहाजा उन्होंने अब अपनी और अपने परिवार की सुरक्षा की मांग को लेकर हाई कोर्ट में याचिका दायर की है। इस पर हाई कोर्ट ने पंजाब सरकार को तत्काल उनकी सुरक्षा में तीन पीएसओ और घर पर चार सुरक्षाकर्मियों की तैनाती के आदेश देते हुए केंद्र सहित पंजाब सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा था।
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