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संसाधनों के बिना गांवों तक नहीं पहुंच सकती ऑनलाइन शिक्षा

बाबा बलराज पंजाब यूनिवर्सिटी कांस्टीट्यूएंट कॉलेज बलाचौर की ओर से एक दिवसीय राष्ट्रीय वेबिनार का आयोजन किया गया।

By JagranEdited By: Published: Tue, 12 May 2020 10:24 PM (IST)Updated: Tue, 12 May 2020 10:24 PM (IST)
संसाधनों के बिना गांवों तक नहीं पहुंच सकती ऑनलाइन शिक्षा
संसाधनों के बिना गांवों तक नहीं पहुंच सकती ऑनलाइन शिक्षा

जासं, चंडीगढ़ : बाबा बलराज पंजाब यूनिवर्सिटी कांस्टीट्यूएंट कॉलेज बलाचौर की ओर से एक दिवसीय राष्ट्रीय वेबिनार का आयोजन किया गया। वेबिनार का विषय ग्रामीण क्षेत्रों में ऑनलाइन शिक्षा के समक्ष चुनौतियां था। पंजाब यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर प्रो. राजकुमार वेबिनार की शुरुआत की। वीसी ने कहा कि आज के हालात में पढ़ाई और अध्ययन के सुरक्षित तरीकों की ओर जोर देने की आवश्यकता है। वेबिनार का आयोजन इसी उद्देश्य से किया गया है। आज निश्चित रूप में ग्रामीण क्षेत्रों में ऑनलाइन शिक्षा बड़ी चुनौती है। कहा कि इन चुनौतियों का सामना करने के लिए वेबिनार में सामने आए सुझावों पर एक किताब प्रकाशित की जाएगी। बाबा बलराज पंजाब यूनिवर्सिटी कांस्टीट्यूएंट कॉलेज बलाचौर के प्रिसिपल डॉक्टर सुनील खोसला ने चुनौतियों से निपटने के उपायों पर जोर देने को समय की मांग बताया। वेबिनार में 12 राज्यों के 26 यूनिवर्सिटी के प्रतिभागियों ने भाग लिया, जिसमें 266 के करीब ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन हुआ था। मोबाइल या इंटरनेट के माध्यम से पढ़ाई के प्रति आज भी नजरिया संदेहास्पद

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महिला विश्वविद्यालय सोनीपत की वाइस चांसलर प्रो. सुषमा यादव ने कहा कि ऑनलाइन एजुकेशन के लिए संसाधनों के साथ-साथ खुली सोच की भी बहुत आवश्यकता है। जहां तक महिला शिक्षा की बात है मोबाइल या इंटरनेट के माध्यम से पढ़ाई को भी संदेह की दृष्टि से देखा जाता है। जहां मात्र 8 घंटे बिजली आती है, वहां पर ऑनलाइन शिक्षा कैसे संभव

गुरु गोबिद सिंह इंद्रप्रस्थ यूनिवर्सिटी नई दिल्ली से प्रो. सरोज शर्मा ने कहा कि आइटी को ऑनलाइन एजुकेशन के लिए आवश्यक संसाधन जुटाने की बहुत ज्यादा आवश्यकता है। साथ ही अध्यापकों और विद्यार्थियों के लिए वर्कशॉप और ट्रेनिग कराने की जरूरत है। सबसे बड़ा सवाल है कि देश के ऐसे ग्रामीण क्षेत्रों में जहां मात्र 8 घंटे बिजली आती है, वहां पर ऑनलाइन शिक्षा किस प्रकार से प्रसारित की जा सकती है।


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