शहर में लावारिश पशुओं पर कोर्ट सख्त
जागरण संवाददाता, पंचकूला : बेसहारा मवेशियों को लेकर पंचकूला की एक कोर्ट ने मुख्य सचिव हरि
जागरण संवाददाता, पंचकूला : बेसहारा मवेशियों को लेकर पंचकूला की एक कोर्ट ने मुख्य सचिव हरियाणा, डीसी पंचकूला और पुलिस महानिदेशक हरियाणा को 10 दिनों के अंदर जवाब देने का अंतिम मौका दिया है। वकील पंकज चंदगोठिया और उनकी पत्नी संगीता द्वारा दायर की गई जनहित याचिका पर आयुक्त, नगर निगम, पंचकूला की ओर से जवाब दाखिल करते हुए एक्शन रिपोर्ट दायर कर दी गई। आयुक्त ने रिपोर्ट में स्ट्रे कैटल, रोड्स, स्ट्रे डॉग्स और सड़कों पर अवैध होर्डिग्स के पुनर्निर्मित कार्रवाई के बारे में लिखित विवरण दिया है। एमसी ने कहा कि सभी मौजूदा गोशालाओं ने भटक गए पशुओं को लेने से इन्कार कर दिया है, क्योंकि वे क्षमता से अधिक भरे हुए हैं। साथ ही क्षेत्र की छह गोशालाओं से प्राप्त पत्रों की प्रतिया भी पेश की है, जिसमें उन्होंने लिखा है कि अब मवेशियों को नहीं ले सकते। एमसी ने दावा किया है कि 1000 गायों की क्षमता के गऊ शेड गाव सुखदर्शपुर (बरवाला) में बनाए जा रहे हैं। 4 से 6 महीने के भीतर वह पूरी हो जाएगी। पिंजौर में 250 की क्षमता वाली एक गोशाला का निर्माण किया जा रहा है। अब तक 1531 कुत्तों का स्टरलाइजेशन
आवारा कुत्तों के बारे में एमसी ने दावा किया है कि मई से अगस्त 2018 तक पेट एनिमल सेंटर सेक्टर-3 पंचकूला में 1531 कुत्तों को स्टरलाइजेशन किया गया है। इसके अलावा एक और स्थान औद्योगिक क्षेत्र फेज-1 पंचकूला में उपलब्ध कराया गया है। वहीं, निगम द्वारा चालू वर्ष के दौरान 286 अवैध होर्डिग को हटाने का भी दावा किया गया है। नगर निगम के दावों पर जवाब में याचिकाकर्ता पंकज चंदगोठिया ने दलील दी कि एमसी एरिया में भटक रहे मवेशियों के कारण खतरा बढ़ रहा है और इसे नियंत्रित करने के लिए निगम अपनी असहायता व्यक्त कर रही है। चादगोठिया ने दलील दी कि अधिकारियों को भटक गए मवेशी खतरे की सीमा को पहले से ही देखना चाहिए था और उन्हें नियंत्रण रखने के लिए पर्याप्त व्यवस्था करनी चाहिए थी। ये पशु हादसों का कारण बन रहे हैं।