पांच हजार का लालच देकर लोगों के आइडी प्रूफ पर खुलवाते थे बैंक खाता, लाखों की ठगी
फेज-1 थाना पुलिस ने कोलकाता से ऑपरेट हो रहे एक ऐसे गैंग के तीन लोगों को गिरफ्तार किया है जोकि पंजाब के लोगों को पांच हजार रुपये का लालच देकर उनके आइडी प्रूफ पर बैंक खाता खुलवा लेते थे।
जासं, मोहाली : फेज-1 थाना पुलिस ने कोलकाता से ऑपरेट हो रहे एक ऐसे गैंग के तीन लोगों को गिरफ्तार किया है, जोकि पंजाब के लोगों को पांच हजार रुपये का लालच देकर उनके आइडी प्रूफ पर बैंक खाता खुलवा लेते थे। बाद में अपने साथियों के साथ मिलकर उसी खाते में लोगों की मोटी रकम डलवाकर उसे एटीएम के माध्यम से निकाल लेते थे। हालांकि इस मामले में पुलिस ने छह लोगों को नामजद किया है, जबकि बाकी अज्ञात बताए जा रहे हैं। पुलिस सूत्रों के अनुसार गैंग के तीन आरोपितों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है, लेकिन मामले के जांच अधिकारी सब इंस्पेक्टर प्रितपाल सिंह ने किसी भी आरोपित के गिरफ्तार न होने की बात कही है। उनका कहना है कि फिलहाल फेज-1 थाना में आरोपितों के खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है, लेकिन आरोपितों को पकड़ने के लिए कोलकाता रेड पर जाना है। लोगों से लाखों रुपये की ठगी कर चुके आरोपितों की पहचान आकाश साऊ निवासी खरदा मकान नंबर-50 पीके विश्वास रोड कोलकाता, अमरीक नरुला निवासी सीतागढ़ बाजार कोलकाता, मिशम जावेद अख्तर निवासी पीके विश्वास रोड अनसारी कोलकाता, रियाज अहमद, सागर, शकील अहमद के रूप में हुई है। पुलिस सूत्रों के अनुसार पुलिस ने आकाश साऊ, अमरीक नरुला, मिशम जावेद अख्तर को गिरफ्तार कर चुकी है और बाकी आरोपित अभी फरार बताए जा रहे हैं।
खाता खुलवाने के लिए पांच हजार का देते थे लालच
जांच में यह बात सामने आई है कि आरोपित लोगों को यह कहकर अपने झांसे में लेते थे कि वह कोलकाता से आए हैं जिनके बैंक अकाउंट यहां नहीं खुल सकते। वह लोगों को अपने आइडी प्रूफ पर खाता खुलवाने की बात कहकर बदले में उन्हें पांच हजार रुपये देने का लालच देते थे। लोगों के आइडी प्रूफ पर खाता खुलवाने के बाद आरोपित चेक बुक व एटीएम अपने पास रख लेते थे। एटीएम कार्ड की पूरी किट को कोरियर के जरिए कोलकाता अपने साथियों को भेज दिया जाता था।
कॉल सेंटर से करवाते थे लोगों को फोन
कोलकाता में बैठा उक्त गैंग कॉल सेंटर चला रहा है। इस गैंग के लोग उन लोगों से संपर्क करते थे जिनके आइडी प्रूफ पर उनके साथियों ने खाता खुलवाया हुआ होता था। उक्त आरोपित उन्हें पैसे डबल होने, मनी बैंक व अन्य कई तरह के ऑफर देकर उनके लाखों रुपये उस खाते में ट्रांसफर करवा लेते थे, जिनका एटीएम उनके पास होता था। जैसे ही पैसे खाते में ट्रांसफर होते, आरोपित उस रकम को तुरंत निकलवा लेते थे।