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पंजाब में भाजपा के जिला प्रधानों को बदलने की कवायद शुरू

पंजाब भाजपा में बदलाव की तैयारी की जा रही है। प्रदेश भाजपा अध्‍यक्ष श्‍वेत मलिक तीन जिला प्रधानाें को बदलने के साथ ही बूथ स्‍तर तक नई टीम बनाएंगे।

By Sunil Kumar JhaEdited By: Published: Sat, 26 May 2018 09:59 AM (IST)Updated: Sat, 26 May 2018 09:59 AM (IST)
पंजाब में भाजपा के जिला प्रधानों को बदलने की कवायद शुरू
पंजाब में भाजपा के जिला प्रधानों को बदलने की कवायद शुरू

चंडीगढ़, [इन्द्रप्रीत सिंह]। भारतीय जनता पार्टी के नए प्रदेश अध्यक्ष श्वेत मलिक जल्द ही पार्टी के संगठन में बदलाव की तैयारी कर रहे हैं। पार्टी के करीब छह जिला अध्‍यक्ष को बदलने की कवायद चल रही है। मलिक इसके साथ ही बूथ स्तर तक अपनी नई टीम तैयार करेंगे। 2019 के चुनाव को देखते हुए पार्टी ने अभी से तैयारी शुरू कर दी है और यह भी आशा व्यक्त की जा रही है कि इस बार पार्टी अपने गठजोड़ साथी शिरोमणि अकाली दल से सीटों को बढ़ाने की भी मांग करेगी।

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सुस्त जिला प्रधानों को फारिग कर युवाओं को लाया जाएगा आगे

भाजपा के प्रदेश मुख्यालय में पार्टी के पंजाब मामलों के प्रभारी प्रभात झा ने जिस तरह से पार्टी के कोर ग्रुप, प्रदेश की नई कार्यकारिणी और जिला प्रधानों को संबोधित करते हुए 2019 के लिए अभी से कमर कसने को कहा है वहीं, उन्होंने यह भी संकेत दिए कि जो भी जिला प्रधान काम नहीं कर रहे हैं उन्हें तुरंत उनके पदों से फारिग करते हुए नए युवाओं को आगे लाया जाए।

काबिले गौर है कि नए प्रधान श्वेत मलिक जिन्होंने दस दिन पहले ही अपनी प्रदेश की नई टीम का एलान किया है। उनकी टीम में एक जिला प्रधान इस टीम में शामिल हो गया है जिसके चलते उसके स्थान पर दूसरा नेता लगाया जाना तय है। इसके अलावा श्वेत मलिक पूर्व प्रधान विजय सांपला के नजदीकी रहे जिला प्रधानों को भी हटा सकते हैं।

श्वेत मलिक की टीम में महासचिव के रूप में स्थान पाने वाले दयाल सिंह सोढी की जगह बठिंडा में नया जिला प्रधान लगाया जाएगा। पार्टी का शहरी क्षेत्र में काफी अच्छा प्रभाव है इसलिए इस बात की संभावना है कि यहां पर नया जिला प्रधान कोई हिंदू चेहरा हो।

इसी तरह मलिक की टीम में महासचिव बनाए गए प्रवीण बांसल के आने से लुधियाना शहरी रविंदर अरोड़ा का जाना भी तय माना जा रहा है। पार्टी के सूत्रों का कहना है कि दोनों नेताओं की आपस में काफी खटपट है, जिसके चलते इस जिले को नया प्रधान मिलना तय है। वह प्रवीण बांसल का करीबी होगा। प्रवीण बांसल ने पिछले साल हुए विधानसभा के चुनाव में भी हाथ आजमाया था लेकिन वह कांग्रेस के राकेश पांडे से चुनाव हार गए।

खन्ना से जिला प्रधान विक्रमजीत सिंह चीमा के किसान मोर्चा का प्रधान बनने से यह सीट खाली हो गई है। इस पर भी नया प्रधान नियुक्त किया जा सकता है। विधानसभा चुनाव में नवजोत सिंह सिद्धू जैसे दिग्गज को चुनौती देने वाले राजेश हनी को भी अमृतसर शहरी पद से हटाना तय है। इसी तरह जालंधर शहरी से रमेश शर्मा और संगरूर से कैप्टन राम सिंह का भी विकल्प पार्टी ने तलाशना शुरू कर दिया है।


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