रीकारपेटिंग के काम पर लगेगी पाबंदी, तीन माह तक टूटी ही रहेंगी सड़कें
सड़कों की रीकारपेटिंग करने के काम पर पाबंदी लगा दी है।
जागरण संवाददाता, चंडीगढ़ : शहरवासियों को अभी सितंबर माह तक शहर की टूटी हुई सड़कों पर ही चलना होगा, क्योंकि नगर निगम ने मानसून के दस्तक देने के कारण सड़कों की रीकारपेटिंग करने के काम पर पाबंदी लगा दी है। कमिश्नर केके यादव का कहना है कि अभी जो रीकारपेटिग का काम चल रहा है, उसे दो से तीन दिन में रोक दिया जाएगा। क्योंकि इसके बाद शहर में मानसून सक्रिय हो जाएगा। ऐसी सूरत में शहर की सड़कों की रीकारपेटिंग का काम नहीं हो पाएगा। नगर निगम के अनुसार इस समय 23 करोड़ रुपये की सड़कों की रीकारपेटिग के काम चल रहे हैं, जबकि 45 करोड़ रुपये की सड़कों की रीकारपेटिग के टेंडर भी लगाए गए हैं। सड़कों की हालत इस समय दयनीय
इस समय शहर की सड़कों की खस्ता हालत है, जिनमें वी-1, 2, 3 के अलावा वी-6 की सड़कें भी शामिल हैं। सेक्टरों के अलावा गांवों और कॉलोनियों की सड़कों की खस्ता हालत है। प्रशासन ने नगर निगम को शहर की सड़कों की रीकारपेटिंग के लिए विशेष तौर पर 63 करोड़ रुपये का भी फंड दिया हुआ है। लेकिन अब इन सड़कों की रीकारपेटिंग का काम रुक गया है। बारिश के दौरान सड़कों की रीकारपेटिंग का काम नहीं हो सकता है। ऐसे में अब तीन माह बाद सड़कों की रीकारपेटिग का काम शुरू होगा। सड़कों की खस्ता हालत होने पर शहरवासियों का रोष भी नगर निगम और पार्षदों को झेलना पड़ रहा है। नगर निगम के साथ-साथ प्रशासन ने भी सड़कों की रीकारपेटिग पर पाबंदी लगाने की तैयारी कर ली है। सोमवार को हुई सदन की बेठक में पार्षदों ने रीकारपेटिग का काम शुरू न होने के कारण नाराजगी भी जाहिर की थी। मेयर ने तीन माह पहले जारी किए थे निर्देश
नगर निगम ने भविष्य में एक साल के बीच रीकारपेटिग होने वाली सड़कों के प्रस्ताव भी पास कर दिए हैं। मेयर राजबाला मलिक ने तीन माह पहले सड़कों की रीकारपेटिग में तेजी लाने के लिए अधिकारियों को निर्देश भी दिए थे। मेयर का शहर की सड़कों की हालत सुधारने पर विशेष फोकस है। नगर निगम कमिश्नर केके यादव का कहना है कि शहर की सड़कों की रीकारपेटिग का काम जल्द ही रोक दिया जाएगा। बारिश में सड़कों की कारपेटिग नहीं हो सकती है। मानसून के बाद काम में तेजी लाई जाएगी।