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PGI में आठ घंटे चला ऑपरेशन सफल, ASI कटी कलाई हाथ में लेकर स्कूटी पर पहुंचा था अस्पताल

पटियाला में निहंग सिखों के हमले के बाद एएसआइ की कलाई कटी तो वह साथी के साथ कटी कलाई हाथ में लेकर अस्पताल पहुंचा। पीजीआइ चंडीगढ़ में ऑपरेशन हुआ जो सफल रहा।

By Kamlesh BhattEdited By: Published: Sun, 12 Apr 2020 06:50 PM (IST)Updated: Mon, 13 Apr 2020 08:40 AM (IST)
PGI में आठ घंटे चला ऑपरेशन सफल, ASI कटी कलाई हाथ में लेकर स्कूटी पर पहुंचा था अस्पताल
PGI में आठ घंटे चला ऑपरेशन सफल, ASI कटी कलाई हाथ में लेकर स्कूटी पर पहुंचा था अस्पताल

पटियाला/चंडीगढ़ [प्रेम वर्मा, विशाल पाठक, देव मान, मोहन सिंह भट्टी]। Coronavirus COVID-19 के संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए पंजाब में कर्फ्यू है। पुलिस बल पूरी मुस्तैदी से तैनात है कि लोग घरों से बाहर न निकलें, लेकिन फिर कुछ शरारती तत्व बाज नहीं आ रहे। रविवार को कुछ निहंगों द्वारा पुलिस के साथ किए गए बर्ताव से हर कोई सिहर गया। कर्फ्यू में सब्जी मंडी में पूछताछ करने पर निहंगों ने पुलिस पर हमला कर दिया और तलवारों से एएसआइ हरजीत सिंह की कलाई काट दी। हरजीत सिंह ने हिम्मत नहीं हारी। वह बहादुरी से मुकाबला करता रहा।

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निहंगों के हमले में हाथ कट जाने के बाद जख्मी हुए पटियाला के एएसआइ हरजीत सिंह को उसके साथी स्कूटी पर ही अस्पताल लेकर भागे। इस दौरान एएसआइ ने अपने कटे हुए हाथ को दूसरे हाथ से पकड़े रखा। करीब दस किलोमीटर के सफर के दौरान हरजीत सिंह बिल्कुल भी नहीं घबराया। राजिंदरा अस्पताल में उसे प्राथमिक उपचार दिया गया। उसके कटे हुए हाथ को सुरक्षित करने के बाद उसे पीजीआइ रवाना किया गया। हर कोई ASI की इस बहादुरी को सलाम कर रहा है। वहीं, चंडीगढ़ पीजीआइ मेें एएसआइ का आपरेशन सफल रहा। ऑपरेशन आठ घंटे चला। 

एएसआइ को सुबह 7:45 पर पीजीआइ के एडवांस ट्रामा सेंटर में सर्जरी के लिए पहुंचाया गया। इस बीच पंजाब पुलिस के डीजीपी दिनकर गुप्ता ने पीजीआइ डायरेक्टर प्रोफेसर जगतराम से बातचीत कर एएसआइ के इलाज के लिए पहले से ही एडवांस ट्रामा सेंटर में बंदोबस्त किए जाने को लेकर सूचना दी। पीजीआइ चंडीगढ़ के सीनियर डॉक्टरों के इलाज के जरिए इस एएसआइ के हाथ को 7 घंटे 50 मिनट के अंदर प्लास्टिक सर्जरी के जरिए दोबारा से रीइम्प्लांट कर दिया गया। डॉक्टरों के मुताबिक अब एएसआइ का हाथ फिलहाल ठीक है, लेकिन इसमें रिकवरी में थोड़ा समय लगेगा।

 थ्री के वायर और प्लास्टिक सर्जरी से जुड़ा हाथ

पीजीआइ के सीनियर डॉक्टरों ने पंजाब पुलिस के इस एएसआइ के हाथ की नसों और हड्डियों को थ्री के वायर और प्लास्टिक सर्जरी की मदद से दोबारा वापस जोड़ा। इस 50 वर्षीय एएसआइ के बाएं हाथ को निहंग सिखों ने काट दिया था। जब एएसआइ को रविवार सुबह पीजीआइ चंडीगढ़ के एडवांस ट्रामा सेंटर में इलाज के लिए भर्ती किया गया। इस दौरान पीजीआइ के सीनियर डॉक्टरों की एक टीम ने सुबह 10 बजे से एएसआइ के हाथों का ऑपरेशन शुरू किया, जिसके बाद एएसआइ का सफल ऑपरेशन कर हाथ दोबारा जोड़ दिया गया।

पीजीआइ के इन सीनियर डॉक्टर ने किया ऑपेरशन

पीजीआइ चंडीगढ़ के जिन सीनियर डॉक्टरों ने एएसआइ के कटे हुए हाथ का ऑपेरशन किया। उसमें प्लास्टिक सर्जरी टीम में सीनियर डॉक्टर सुनील गाबा और डॉक्टर जेरी आर रोहन के अलावा सीनियर रेजिडेंट डॉक्टर सूरज नायर, डॉक्टर मायंक, डॉ. चंद्रा और डॉ. शुभेंंद शामिल थे, जबकि एनेस्थीसिया टीम में सीनियर रेजिडेंट डॉ. अंकुर, डॉ. अभिषेक और डॉ. पूर्णिमा शामिल थी।

मुफ्त की सब्जी लेने के लिए घुसे थे मंडी

सब्जी मंडी के दुकानदारों ने बताया कि निहंग लोग करीब पांच दिन पहले भी सब्जी मंडी में आए थे और सेवा के नाम पर मुफ्त की सब्जी लेने की कोशिश की थी। पांच दिन बाद रविवार सुबह के समय चार लोग निहंग की वेशभूषा में आए थे तो गेट पर तैनात मंडी बोर्ड के मुलाजिम व पुलिस टीम ने कर्फ्यू पास मांगा। डेरे के निहंग होने की बात कहते हुए यह लोग जबरन मंडी के अंदर घुस गए और सेवा के नाम पर सब्जियां लेने की कोशिश की। इस दौरान मुलाजिमों ने इंचार्ज को फोन पर सूचना देकर मौके पर बुला लिया।

मंडी के अंदर घुसे उक्त लोगों को पुलिस द्वारा नाकाबंदी किए जाने का पता चलते ही गालियां निकालते हुए गाड़ी लेकर बाहर भागने की कोशिश की और गेट को टक्कर मार तोड़ दिया। इसके बाद गेट के बाहर लगे बेरीकेड्स को टक्कर मारी तो गाड़ी बेरीकेड में फंस गई। मुलाजिमों ने इन लोगों को बाहर निकालने की कोशिश तो उन्होंने तलवारें लहरा दी। पुलिस ने इन्हें काबू करना चाहा तो गाड़ी से उतरकर तलवारों से वार करना शुरू कर दिया। हमला कर मुलाजिमों को जख्मी करने के बाद यह लोग मौके से फरार होकर गुरूद्वारा श्री खिचड़ी साहिब के क्वाटर्र में जाकर छिप गए। पुलिस पार्टी के पहुंचने के बाद इन लोगों ने जवाबी हमले की तैयारी करते हुए सभी हथियार इकट्ठे कर लिए। कमांडो आपरेशन के बाद महिला सहित 11 आरोपितों को काबू कर लिया गया। 

इतिहास से जुड़ा है गुरूद्वारा, पुलिस को कैश व हथियार बरामद हुए

इलाका निवासियों ने बताया कि इस डेरे वाली जगह पर नौवें गुरू श्री तेग बहादुर जी खिचड़ी पकाई थी, जिस वजह से इस जगह का एतिहासिक महत्व है। इसी जगह पर संगरूर से आए बलविंदर सिंह ने डेरा लगाकर गुरूद्वारा श्री खिचड़ी साहिब बनाया था, लेकिन गुरूद्वारा साहिब की मर्यादा का सही पालन न करने पर लोगों ने यहां पर जाना कम कर दिया था।

जानें कब क्या हुआ

  • समय सुबह 6.15- सब्जी मंडी पर एएसआइ की कलाई काटी, पुलिस पार्टी पर हमला
  • 6.30- कलाई कटने से जख्मी को स्कूटी पर अस्पताल की तरफ लेकर निकले
  • 7.00- एसपी वरूण शर्मा, डीएसपी व चौकी इंचार्ज ने गुरूद्वारा घेर ड्रोन से नजर रखनी शुरू की
  • 7.40- एसएसपी सिद्धू जख्मियों का इलाज शुरू करवा, गुरूद्वारा साहिब पहुंचे
  • 8.00 - एसएसपी ने लाऊड स्पीकर से सरेंडर की चेतावनी दी
  • 8.20- आईजी औलख व एडीजीपी राकेश चंद्रा 45 कमांडो के साथ पहुंचे
  • 8.30- बलबेड़ा सरपंच रंजीत सिंह व पंच मेंबरों को आरोपितों से बात करने भेजा
  • 10.00- अंतिम जवाब पुलिस को मिला, मर जाएंगे लेकिन सरेंडर नहीं करेंगे
  • 10.20- कमांडो की घेराबंदी करवा एसएसपी ने थोड़ा और नजदीक जाकर फिर अपील की
  • 10.30- अंदर से गोली चलने की आवाज आई तो अटैक करने के आर्डर दिए
  • 11.00- आरोपितों को काबू कर बरामदगी के लिए कार्रवाई शुरू

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