आप ने भाजपा पर साधा निशाना, कहा- जनता के रोष से बचने के लिए मीटिंग का कर रहे बहिष्कार
आम आदमी पार्टी के संयोजक प्रेम गर्ग ने कहा कि जनता में भारी रोष के चलते भाजपा के नेता यह समझ नहीं पा रहे हैं कि किस मुद्दे पर क्या स्टैंड लिया जाए इसीलिए मीटिंग से बचने के लिए बहानेबाजी कर रहे हैं।
चंडीगढ़, जेएनएन। आम आदमी पार्टी ने नगर निगम की मीटिंग का भाजपा पार्षदों द्वारा बायकाट किए जाने पर चिंता व्यक्त की है। पार्टी के संयोजक प्रेम गर्ग ने कहा कि जहां शहर की सड़कों व पार्कों का बुरा हाल है, विकास की तरफ किसी का ध्यान नहीं है। नगर निगम में सिर्फ भ्रष्टाचार का बोलबाला है। जनता में भारी रोष के चलते भाजपा के नेता यह समझ नहीं पा रहे हैं कि किस मुद्दे पर क्या स्टैंड लिया जाए, इसीलिए मीटिंग से बचने के लिए बहानेबाजी कर रहे हैं। यह भी कितनी अनोखी बात है कि भाजपाई अपनी ही मेयर के खिलाफ खड़े होकर जहां निगम के संसाधनों को व्यर्थ कर रहे हैं, वहीं जनता से किए वादों का भी मजाक उड़ा रहे हैं। हमें डर है कि यही हाल रहा तो चंडीगढ़ शहर अपना सिटी ब्यूटीफुल का दर्जा भी न खो दे।
मेयर दिखाई दे रही है दबाव में
आम आदमी पार्टी के नेता चंद्रमुखी शर्मा ने कहा कि यह साफ दिखाई दे रहा है कि अभी दो दिन पहले फासवेक और आप ने नगर निगम के दफ्तर पर जो हल्ला बोल किया था, भाजपा के नेता दबाव में आ गए हैं। जहां एक और मेयर अफसरों के दबाव में दिखाई दे रही हैं, भाजपा के अन्य पार्षद आपस में बिखरे हुए हैं और जनता व विपक्ष द्वारा उठाए गए मुद्दों पर एक राय नहीं बना पा रहे हैं। यह शर्म की बात है कि एक तरफ चंडीगढ़ के नागरिक जहां विकास कार्यों की बांट देख रहे हैं, वहीं उन पर ध्यान देने की बजाय नगर निगम में सत्ताधारी भाजपा के पार्षद अपनी अंदरुनी राजनीति में उलझे पड़े हैं।
आम आदमी पार्टी के मुख्य प्रवक्ता नितिन गोयल ने कहा कि चंडीगढ़ नगर निगम के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है,जब पार्षदों ने अपनी ही पार्टी के मेयर का बायकाट कर दिया। जनसरोकार का हवाला देकर नगर निगम की सत्ता पर काबिज हुई भाजपा का यह रवैया समझ से परे है।आजकल कोरोना वायरस की वजह से जब शारीरिक दूरी रखना जरूरी है, तब अगर मेयर ने वर्चुअल मीटिंग का नोटिस जारी करा दिया था, तो इसमें भी कुछ अनुचित नहीं था। हालांकि लगता है कि जनता के प्रति सीधी जवाबदेही से बचने के लिए वुर्चअल बैठक का सहारा लिया जा रहा था, लेकिन भाजपा के पार्षदों ने इसका भंडाफोड़ कर दिया। लगता है, इस खेल में भाजपा के पार्षद और मेयर दोनों शामिल हैं।
पार्टी के सचिव विजयपाल सिंह ने कहा कि चंडीगढ़ में इस समय तमाम समस्याएं मुंह खोले खड़ी हैं। यहां बिल्डिंग बायलाज के नोटिसों से जनता परेशान है, सुनवाई हो नहीं रही, वहीं प्रशासन ने पानी के रेट में बेतहाशा बढ़ोतरी कर दी है। लाकडाउन की वजह से पहले ही आम और खास आर्थिक संकट से गुजर रहा है, वहीं प्रशासन पानी के रेट बढ़ाकर इस मुश्किल को और बढ़ा रहा है। जाहिर है, शहर की समस्याओं पर ध्यान देने की बजाय सत्ताधारी भाजपा अपनी जिम्मेदारी से भाग रही है। शहर की समस्याओं पर चर्चा होनी चाहिए और इसके लिए चाहे वर्चुअल बैठक हो या फिर सदन में मौजूद रहकर, लेकिन भाजपा के नेता अपनी अंदरुनी राजनीति में उलझे पड़े हैं। भाजपा पार्षदों का यह रवैया किसी भी तरह से सही नहीं है।