शिक्षा विभाग ग्रामीण स्कूलों का जल्द सौंपे ब्योरा : एडवाइजर
ग्रामीण इलाकों में चल रहे स्कूलों को मान्यता देने का मामला दिन-प्रतिदिन तूल पकड़ता जा रहा है।
जासं, चंडीगढ़ : ग्रामीण इलाकों में चल रहे स्कूलों को मान्यता देने का मामला दिन-प्रतिदिन तूल पकड़ता जा रहा है। इस बात को सोमवार को प्रशासक के सलाहकार मनोज कुमार परिदा ने शिक्षा विभाग को आदेश देते हुए कहा कि जल्द ही दन स्कूलों को पूरा ब्योरा उन्हें सौंपा जाए। रूरल एजुकेशन वेलफेयर एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने प्रशासक के सलाहकार मनोज परिदा को ज्ञापन सौंपा। एसोसिएशन ने इस ज्ञापन में ग्रामीण इलाकों में चल रहे कई वर्ष पुराने प्राइवेट स्कूलों को मान्यता देने की मांग रख। रूरल एजुकेशन वेलफेयर एसोसिएशन प्रेसिडेंट वीबी कपिल ने बताया कि ग्रामीण इलाकों में 25 से 30 वर्षो से चले आ रहे गैर मान्यता प्राप्त स्कूल शिक्षा के हर मापदंड पर खरे उतरते है। उासके बावजूद उन्हें मान्यता नहीं दी जा रही हैं। उन्होंने कहा कि वह राइट टू सर्विस एक्ट के सभी नॉर्म्स को फॉलो कर रहे हैं। रूरल एरिया के सैकड़ों बच्चों को शिक्षित कर रहे हैं। फिर उन्हें मान्यता देने में शिक्षा विभाग हिचकिचा रहा है। इस दौरान एजुकेशन सेक्रेटरी एवं गृह सचिव अरुण कुमार गुप्ता और डायरेक्टर स्कूल एजुकेशन रूपिदर सिंह बराड़ भी उपस्थित थे। पहले भी हुआ है निरीक्षण
शहर के पैराफेरी में चल रहे स्कूलों का पिछले वर्ष अक्टूबर माह में पहले भी निरीक्षण किया जा चुका है। स्टेट ऑफिस की ओर से यह निरीक्षण किया था। उस समय तत्कालीन शिक्षा सचिव बीएल शर्मा और तत्कालीन डीईओ अनुजीत कौर ने इस निरीक्षण को लीड किया था। उसके बावजूद अभी तक इस निरीक्षण की रिपोर्ट सौंपी नहीं गई है। जल्द शुरू होगी मान्यता देने की प्रक्रिया
रेवा की सभी बाते सुनने के बाद एडवाइजर मनोज परिदा ने शिक्षा सचिव और डायरेक्टर स्कूल एजुकेशन को ग्रामीण स्कूलों मे चल रहे स्कूलों का निरीक्षण कर मान्यता देने की प्रक्रिया चलाने को कहा। साथ ही साथ उन्होंने रेवा को आश्वासन दिया कि जल्द ही ग्रामीण क्षेत्रो मे चल रहे स्कूलों को मान्यता देने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।