दिल्ली हार्ट अस्पताल के डॉक्टर व मैनेजर समेत तीन को सम्मन जारी
दिल्ली हार्ट अस्पताल के डॉक्टर व मैनेजर समेत तीन लोगों को सम्मन जारी किए है।
जासं,बठिडा : इलाज के लिए लेकर आए जिदा व्यक्ति को मृतक बताकर उसका अंतिम संस्कार करने की सलाह देने वाले दिल्ली हार्ट अस्पताल के डॉक्टर व मैनेजर समेत तीन लोगों को सम्मन जारी किए है। चीफ ज्यूडिशियल मेजिस्ट्रेट फर्स्ट क्लास की अदालत द्वारा जारी सम्मन के बाद मामले की अगली सुनवाई 12 फरवरी 2020 को तय की है। गौरव गोयल पुत्र सतपाल गोयल ने बताया कि उसके पिता की तबीयत अचानक बिगड़ गई थी, जिसके चलते उन्होंने पॉवर हाऊस रोड स्थित जिदल हार्ट अस्पताल में ले जाया गया, लेकिन डॉक्टर ने कहा कि इनकी छाती में तकलीफ है, दिल्ली हार्ट अस्पताल में लेकर चले जाएं। उन्होंने बताया कि जैसे ही उसके पिता को दिल्ली हार्ट अस्पताल लेकर पहुंचे, तो वहां मौजूद डॉक्टरों ने उसके पिता को मृतक घोषित कर दिया और इलाज के लिए मना कर दिया। उसके बाद हनुमान चौक स्थित ग्लोबल अस्पताल में उसके पिता को लाया गया तो डॉक्टरों ने इलाज शुरू किया तो उनकी तबीयत में सुधार होना शुरू हुआ। आज वह बिलकुल स्वस्थ है और काम कर रहे है। जबकि दिल्ली हार्ट के डॉक्टरों ने तो उसे मृतक ही घोषित कर दिया था। जिसके चलते पीड़ित व्यक्ति ने मामले की शिकायत पुलिस को दी, लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की, जिसके बाद पीड़ित ने मामले को लेकर जिला अदालत में अपनी याचिका दायर की। जिस पर सुनवाई करते हुए चीफ ज्यूडिशियल मेजिस्ट्रेट फर्स्ट क्लास विजय सिंह की अदालत ने दिल्ली हार्ट अस्पताल के डॉक्टर केएल बांसल, डॉ. स्वर्णजीत भुल्लर व मैनेजर संदीप परचंदा को 12 फरवरी के लिए सम्मन जारी कर पेश होने के आदेश दिए है। क्या कहते है अस्पताल के अधिकारी
उधर, इस मामले में दिल्ली हार्ट अस्पताल के मैनेजर संदीप परचंदा का कहना है कि मामला 3 वर्ष पुराना है और इसकी तीन बार जांच भी हो चुकी है कोई गलत तथ्य सामने नहीं आए। उन्होंने बताया कि रोगी को रात के समय एंबुलेंस द्वारा अस्पताल लाया गया था, जहां मौजूद डॉक्टर के.एल. बांसल व डॉक्टर स्वर्णजीत भुल्लर ने उनकी जांच की तो उनकी प्लस नहीं चल रही थी। रोगी के परिजनों को बता दिया था कि हालत गंभीर है अगर वह कहे तो इलाज शुरू करे लेकिन उनके परिजन अस्पताल के बाहर से ही वह किसी अन्य अस्पताल ले गए। उन्होंने बताया कि ग्लोबल अस्पताल में जाकर डॉक्टर भुल्लर ने उनका इलाज किया और वह स्वस्थ हो गए। उन्होंने बताया कि अभी तक उनके पास अदालत का कोई भी सम्मन नहीं आया। परचंदा ने बताया कि सिविल सर्जन व आई.जी. लेवल तक तीन बार जांच हो चुकी है और रिपोर्ट भी दिल्ली हार्ट के पक्ष में आ चुकी है।