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4.38 करोड़ रुपये से बदलेगी सिविल अस्पताल की तस्वीर, काम शुरू

शहीद भाई मनी सिंह सिविल अस्पताल की जल्द ही तस्वीर बदलने वाली है।

By JagranEdited By: Published: Mon, 07 Oct 2019 12:09 AM (IST)Updated: Mon, 07 Oct 2019 12:09 AM (IST)
4.38 करोड़ रुपये से बदलेगी सिविल अस्पताल की तस्वीर, काम शुरू
4.38 करोड़ रुपये से बदलेगी सिविल अस्पताल की तस्वीर, काम शुरू

नितिन सिगला, बठिडा :

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शहीद भाई मनी सिंह सिविल अस्पताल की जल्द ही तस्वीर बदलने वाली है। लंबे समय से रिपेयर का इंतजार कर रही अस्पताल के कई वार्डों की आने वाले छह माह में आधुनिक बनाया जाएगा। जिला सिविल अस्पताल का ऐसे नवीनीकरण किया जाएगा ताकि लोगों सरकारी व प्राइवेट अस्पताल की तुलना करना बंद कर देंगे। यह दावा वित्तमंत्री मनप्रीत सिंह बादल ने रविवार को किया। वह सिविल अस्पताल में 4.38 करोड़ रुपये की लागत से किए जाने वाले रिपेयर के काम शुरूआत करने पहुंचे थे। जल्द ही अस्पताल की सभी खामियों को दूर किया जाएगा, वहीं मरीजों की सुविधा के लिए जल्द स्टाफ व डाक्टरों की कमी को पूरा किया जाएगा। सिटी स्कैन, आईसीयू वार्ड भी स्थापित किया जाएगा। उन्होंने बताया कि अस्पताल में ट्रॉमा सेंटर व आधुनिक बर्न यूनिट का काम चल रहा है। वित्तमंत्री ने कहा कि लोगों को बेहतर सेहत सुविधा देने के लिए अस्पताल की इमारत को आधुनिक सुविधाओं से लेस करने के लिए हरसंभव फंड सरकार की तरफ से जारी किया जा रहा है। इस मौके इंप्रूवमेंट ट्रस्ट के चेयरमैन केवल कृष्ण अग्रवाल, जिला प्रधान अरूण वधावन, सीएमओ डॉ. अमरीक सिंह संधू, डीएमसी डॉ. एसएस रोमाणा, एसएमओ डॉ. सतीश गोयल, डॉ. एसएस गिल, डॉ. गुरमेल सिंह, डॉ. रविकांत गोयल, डॉ. अरूण बांसल, डॉ. उमेश गुप्ता आदि उपस्थित थे।

आधुनिक बनाया जाएगा एमरजेंसी वार्ड

करीब दो माह पहले वित्तमंत्री ने सिविल अस्पताल की रिपेयर के लिए करीब चार करोड़ रुपये का फंड जारी किया था, जिसके तहत रविवार से काम शुरू कर दिया गया है। पहले चरण में अस्पताल की पुरानी इमरजेंसी वार्ड की रिपेयर करने व उसे आधुनिक बनाने का काम किया जाएगा। इस काम पर 56.58 लाख रुपये खर्च होंगे। इसमें वार्ड का फर्श ऊंचा करने, वार्ड में एलमुनियम का काम करवाने के अलावा दीवारों पर प्लस्तर कर व रंग रोगन होगा। रिपेयर का काम शुरू होने के चलते सोमवार से इमरजेंसी वार्ड को एनसीडी क्लीनिक में शिफ्ट किया जाएगा, जबकि एनसीडी क्लीनिक को आईसीयू वार्ड में शिफ्ट किया जाएगा। ओपीडी ब्लाक पर 48 लाख रुपये खर्च होंगे। जिसमें ओपीडी ब्लाक के बाथरूम की रिपेयर करने, बिल्डिग को रंग रोगन करने के साथ लिफ्ट भी लगाई जाएगी।

जच्चा बच्चा वार्ड पर खर्च होंगे 71.71 लाख जच्चा-बच्चा वार्ड की रिपेयर पर भी करीब 71.71 लाख रुपये खर्च किए जाएंगे। वार्ड के सभी दरवाजे एलमुनियम के लगेंगे। जबकि बाथरूम व फर्श के साथ इमारत की छत को रिपेयर किया जाएगा। वहीं इमारत की बिजली फिटिग खराब होने के साथ कई कमरों में पैनल तबदील किए जाएंगे। बताते चले कि कुछ साल पहले बनी नई इमारत में घटिया सामग्री का इस्तेमाल किया गया जिसके चलते एक दशक पहले बनी इमारत की छतों से सीमेंट गिरना शुरू हो गया था।।

पुरानी मॉर्चरी तोड़कर बनाई जाएगी नई तीन दशक पुरानी अस्पताल की मॉर्चरी को तोड़कर नई बनाई जाएगी। इस पर 56.58 लाख रुपये खर्च होंगे। इसके तहत नई मॉर्चरी में बाडी स्टोरिग यूनिट, पोस्टमार्टम रूम, डाक्टर रूम, विजटर रूम व जरनल टायलट बनेगा। ग्राउंड फ्लोर पर बने आप्रेशन थिएटर को अस्पताल के दूसरी मंजिल स्थित मेडिकल वार्ड में शिफ्ट किया जाएगा। इस पर 1.19 करोड़ रुपये खर्च होंगे।

सड़क,सीवरेज व स्ट्रीट लाइटों पर 57.94 लाख रुपए होंगे खर्च सिविल अस्पताल परिसर में टूटी सड़कों, खराब लाइट, बंद सीवरेज और पार्किंग के निर्माण के लिए 57.94 लाख रुपए खर्च होंगे। इसमें इमरजेंसी से लेकर सिविल अस्पताल के गेट तक सड़क को डबल किया जाएगा, वही लावारिस जानवरों की समस्या को देखते हुए सिविल अस्पताल के प्रवेश मार्ग पर वेल्ड मैस एंगल फ्रेम लगाए जाएंगे। 80 लाख रुपये खर्च कर सीवरेज-पानी की समस्या होगा समाधान

एसएमओ डा. सतीश गोयल ने वित्तमंत्री के सामने अस्पताल में मरीजों के लिए एमआरआई सुविधा देने, सीटी स्कैन करने के साथ वेंटीलेंटर की सुविधा जल्द शुरू करने का आश्वासन वित्तमंत्री ने दिया। वही सिविल अस्पताल में डेढ़ लाख लीटर पानी की क्षमता वाली टैंकी की मांग भी रखी गई।

स्टाफ की कमी जल्द होगी दूर

पीसीएमएस के प्रधान डॉ. गुरमेल सिंह, डॉ. रविकांत, डॉ. अरूण आदि ने वित्तमंत्री के समक्ष अस्पताल में रेगुलर स्टाफ की कमी का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि स्टाफ न होने के कारण मरीजों के साथ-साथ उन्हें भी काफी परेशानी उठानी पड़ रही है। मनप्रीत बादल ने कहा कि उनका पहला लक्ष्य सिविल अस्पताल को प्राइवेट अस्पतालों से भी अच्छा बनाना है। अस्पताल में अन्य जरूरी मशीनरी, चीजों, स्टाफ की सूची सीएमओ से मांगी गई है, ताकि जल्द ही उन्हें पूरा किया जा सके। उन्होंने कहा कि सरकार ने प्रदेश के सिविल अस्पताल में खाली पड़े डाक्टर, सुपरस्पेशलिस्ट डाक्टरों की भर्ती की जा रही है। जल्द ही स्टाफ की भर्ती की जाएगी।


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