डीएल रिप्लेसमेंट, डुप्लीकेट या रिन्यूल के लिए टेस्ट ट्रैकपर जाने की नहीं पड़ेगी जरूरत
अगर आपका ड्राइविग लाइसेंस गुम हो गया है या फिर उसकी अवधि समाप्त हो गई है तो नया लाइसेंस लेने के लिए अब ट्रैक पर जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी
जागरण संवाददाता, बठिडा
अगर आपका ड्राइविग लाइसेंस गुम हो गया है या फिर उसकी अवधि समाप्त हो गई है तो नया लाइसेंस लेने के लिए अब ट्रैक पर जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी। ट्रांसपोर्ट विभाग ने इस प्रकार के लाइसेंस को जारी करने के लिए बदलाव किया है। इसके तहत ट्रैक पर फोटो खींचवाने की बजाए व्हाट्सएप पर भेजने से काम हो जाएगा। इस सुविधा को फिलहाल डुप्लीकेट लाइसेंस निकलवाने, रिप्लेसमेंट करवाने या फिर लाइसेंस को रिन्यू करने के लिए ही शुरू किया गया है। जबकि नया डीएल लेने या लर्निंग लाइसेंस लेने के लिए ट्रैक पर जाना ही पड़ेगा।
इससे पहले उक्त तीनों टाइप के लाइसेंस लेने के लिए आनलाइन प्रक्रिया के तहत अप्लाई करने के बाद निर्धारित तारीख पर फोटो खींचवाने के लिए ट्रैक पर जाना पड़ता था। इसके बाद लाइसेंस जारी होता था। मगर अब आनलाइन अप्लाई करने के बाद व्हाट्सएप से फोटो मंगवा ली जाएगी, जिसके साथ यह पता लग सकेगा कि जिस व्यक्ति का लाइसेंस दिया जा रहा है वह उसका ही है। हालांकि व्हाट्सएप पर फोटो मंगवाने या वीडियो काल करने के बाद लाइसेंस से मिल जाएगा। मगर इस पर फोटो पुराने लाइसेंस की ही होगी। अगर नई फोटो लगवानी है तो उसके लिए ट्रैक पर ही जाना होगा। इस सुविधा को विभाग की ओर से ट्रैक पर होने वाली भीड़ को कम करने के लिए किया गया है। ताकि यहां पर पक्का लाइसेंस लेने या फिर लर्निंग लाइसेंस लेने के लिए आने वाले लोगों को किसी भी प्रकार से परेशान न होना पड़े।
हर रोज बनते हैं 300 लाइसेंस
जिले मेंड्राइविग लाइसेंस बनाने का काम शहर से दस किलोमीटर दूर गांव नरुआणा में होता है। जहां पर हर रोज 300 के करीब लाइसेंस बनते हैं और 60 लोगों के ड्राइविग ट्रैक पर टेस्ट लिए जाते हैं। पहले यहां रोज 150 के करीब लोगों के टेस्ट होते थे। मगर कोरोना के कारण इनकी गिनती को कम किया गया था, जिसको अब धीरे धीरे बढ़ाया जा रहा है। वहीं उक्त तीनों प्रकार के लाइसेंस लेने के लिए आने वाले लोगों की गिनती कम होने से टेस्ट देने वालों की गिनती में इजाफा होगा। इस संबंध में बठिडा रीजनल ट्रांसपोर्ट अथारिटी की सचिव हरजोत कौर का कहना है कि व्हाट्सएप के द्वारा सिर्फ डुप्लीकेट, रिप्लेसमेंट या रिन्यूअल लाइसेंस का ही काम होगा। इसके साथ ट्रैक पर भीड़ कम होगी तो दूसरे लोगों को फायदा मिलेगा।