सिखों का नेपाल के साथ गहरा रिश्ता: राजा बिक्रम शाह
। नेपाल के राजा ज्ञानेंद्र बीर बिक्रम शाह ने वीरवार को परिवार के साथ श्री हरिमंदिर साहिब में माथा टेका।
जागरण संवाददाता, अमृतसर
नेपाल के राजा ज्ञानेंद्र बीर बिक्रम शाह ने वीरवार को परिवार के साथ श्री हरिमंदिर साहिब में माथा टेका। इस दौरान उन्होंने कड़ाह प्रसाद की देग करवाई और रूमाला साहिब भी भेंट किया। राजा बिक्रम शाह को सिरोपा और पतासों को प्रसाद दिया गया। हरिमंदिर साहिब की परिक्रमा करते हुए बिक्रम शाह ने सिख इतिहास की जानकारी हासिल की।
एसजीपीसी के मुख्य सचिव डॉ. रूप सिंह ने उन्हें हरिमंदिर साहिब के इतिहास की जानकारी दी और गुरु साहिब की ओर से चलाई गई लंगर प्रथा के बारे में बताया। बिक्रम शाह ने हरिमंदिर साहिब के लिए एक लाख रुपये की भेंटा भी दी।
सूचना केंद्र में शाह को हरिमंदिर साहिब का सुनहरी माडल, सिरोपा व धार्मिक पुस्तकें देकर सम्मानित किया गया। राजा बिक्रम शाह ने कहा कि इस पवित्र स्थान पर पहुंच कर उन्हें अनूठी शांति मिली है। यहां आना उनके लिए गौरवशाली अनुभव है। सिखों का नेपाल के साथ गहरा रिश्ता है। क्योंकि प्रथम गुरु श्री गुरु नानक देव जी नेपाल में आए थे। उनके मुबारक चरण नेपाल में पड़े थे। उन्होंने कहा कि सिख कौम का सेवा का सिद्धांत प्रशंसनीय है।
मुख्य सचिव डॉ. रूप सिंह ने शाह को श्री गुरु नानक देव जी से संबंधित गुरुद्वारा नानक मट्ठ काठमंडू की भूमि कब्जाधारियों से मुक्त करवाने की अपील की। शाह ने आश्वासन दिया कि वह इस मामले को निजी रूप में देखते हुए हल करवाएंगे।
इस अवसर पर एसजीपीसी के एडिशनल सचिव सुखदेव सिंह भूराकोहना, प्रवक्ता कुलविदर सिंह रमदास, हरबंस सिंह मंझपुर, मैनेजर मुखतार सिंह, एडिशनल मैनेजर राजिदर सिंह रूबी , बघेल सिंह , निशान सिंह आदि मौजूद थे।