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मेडिकल कॉलेज पहुंची एमसीआइ की टीम, कहा-खामियां दूर करें

अमृतसर मेडिकल कौंसिल ऑफ इंडिया (एमसीआइ) की एक उच्चस्तरीय टीम वीरवार को सरकारी मेडिकल कॉलेज पहुंची।

By JagranEdited By: Published: Fri, 15 Feb 2019 12:18 AM (IST)Updated: Fri, 15 Feb 2019 12:18 AM (IST)
मेडिकल कॉलेज पहुंची एमसीआइ  की टीम, कहा-खामियां दूर करें
मेडिकल कॉलेज पहुंची एमसीआइ की टीम, कहा-खामियां दूर करें

— एमसीआइ ने मेडिकल कॉलेज और गुरुनानक देव अस्पताल का लिया जायजा

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जागरण संवाददाता, अमृतसर

मेडिकल कौंसिल ऑफ इंडिया (एमसीआइ) की एक उच्चस्तरीय टीम वीरवार को सरकारी मेडिकल कॉलेज पहुंची। टीम के सदस्यों ने मेडिकल कॉलेज व गुरुनानक देव अस्पताल में व्यवस्थागत खामियों का जायजा लिया। सुबह तकरीबन दस बजे मेडिकल कॉलेज पहुंची टीम ने ¨प्रसिपल कार्यालय में सभी विभागों के प्रोफेसर्स, एसोसिएट्स प्रोफेसर्स व असिस्टेंट प्रोफेसर्स को बुलाया। सभी के अंगूठे के निशान लिए और फॉर्म भरवाए गए।

दरअसल, एमसीआइ टीम ने इस बार भी कॉलेज में स्टाफ की कमी का संज्ञान लिया। हालांकि मेडिकल शिक्षा एवं खोज विभाग ने डिपार्टमेंट प्रमोशन कमेटी की बैठक करवाकर कई असिस्टेंट प्रोफेसर्स को प्रमोट कर एसोसिएट्स प्रोफेसर बना दिया है, लेकिन अभी भी कॉलेज में शिक्षकों की कमी पूरी नहीं हो सकी है। इसके अलावा ओपीडी व विभागों को कंप्यूटराइज्ड नहीं किया जा सका।

मेडिकल कॉलेज में ¨चतपूर्णी मेडिकल कॉलेज के 46 विद्यार्थियों के दाखिला लेने के बाद अब छात्रों की संख्या 246 हो गई है। ऐसे में इन विद्यार्थियों को बिठाने के लिए लेक्चर थिएटर छोटे पड़ गए हैं।

एमसीआइ की टीम ने कॉलेज व अस्पताल में दी जा रही शिक्षा एवं चिकित्सा सुविधाओं का बारीकी से निरीक्षण किया और रिपोर्ट तैयार की। टीम में शामिल किसी भी अधिकारी ने मीडिया से इस विषय में कोई बात नहीं की। अधिकारियों ने कहा कि उन्होंने निरीक्षण के पश्चात रिपोर्ट तैयार की है। यह रिपोर्ट वे दिल्ली में एमसीआइ के वरिष्ठ अधिकारियों को सुपुर्द करेंगे। वहीं डॉ. सुजाता शर्मा ने कहा कि टीम ने जो पूछा, उन्हें उसका विवरण दे दिया गया है। जो खामियां हमें बताई गई हैं उन्हें दूर किया जा रहा है।

गौरतलब है कि वर्ष 2016 में एमसीआइ ने मेडिकल कॉलेज को एमबीबीएस की 50 अतिरिक्त सीटें प्रदान की थीं। इसके साथ ही कॉलेज में एमबीबीएस की सीटों की कुल संख्या 250 हो गई है। हालांकि अतिरिक्त सीटों के अनुपात में कॉलेज प्रशासन को कई व्यवस्थाओं में बदलाव करना था। इन्हीं व्यवस्थाओं की जांच करने के लिए एमसीआइ की टीम पिछले ढाई वर्षों से यहां लगातार आ रही है।


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