कोरोना वैक्सीन : मोटिवेशन से हेल्थ वर्कर तैयार, शनिवार को मिली थी निराशा, सोमवार को उम्मीद और आशा
कोरोना से निर्णायक जंग लड़ रहे स्वास्थ्य विभाग के समक्ष अब कोरोना वैक्सीन लगाना बड़ी चुनौती है। वैक्सीन से ही लोगों के शरीर में एंटी बाडी का निर्माण होगा।
जागरण संवाददाता, अमृतसर : कोरोना से निर्णायक जंग लड़ रहे स्वास्थ्य विभाग के समक्ष अब कोरोना वैक्सीन लगाना बड़ी चुनौती है। वैक्सीन से ही लोगों के शरीर में एंटी बाडी का निर्माण होगा। टीकाकारण को लेकर कुछ हेल्थ कर्मियों में डर के कारण इस मुहिम के पहले दिन उतना उत्साह नहीं दिखा, मगर फिर भी फ्रंटलाइन पर डटे डाक्टर और हेल्थ अधिकारियों ने आगे आकर टीका लगवाया।इसके 24 घंटे बाद भी वे सभी पूरी तरह तंदुरुस्त हैं और इसका कोई साइड इफेक्ट नहीं हुआ है। इन अधिकारियों ने बाकी स्टाफ को भी कोरोना से बचाव के लिए टीका लगाने के लिए जागरूक किया है। उनकी तरफ से किए गए मोटिवेट के बाद हेल्थ वर्कर अब वैक्सीनेशन करवाने को तैयार हो गए हैं। अब सोमवार को टीकाकरण के लिए अमृतसर में 300 हेल्थ वर्करों और तरनतारन जिले में 224 हेल्थ कर्मियों को टीका लगाया जाएगा।
अमृतसर जिले के तीन केंद्रों में वैक्सीनेशन के पहले दिन शनिवार को 300 हेल्थ वर्करों की सूची तैयार गई थी, पर केवल 78 को ही यह लग पाई। मगर रविवार को इस टीकाकरण अभियान को सरअंजाम तक पहुंचाने के लिए अब स्वास्थ्य विभाग ने कमर कस ली है। सोमवार को ऐसी स्थिति उत्पन्न न हो इसके लिए सिविल सर्जन डा. चरणजीत सिंह ने रविवार को सहायक सिविल सर्जन डा. अमरजीत सिंह, जिला टीकाकरण अधिकारी डा. सुखपाल सिंह व जिला मलेरिया अधिकारी डा. मदन मोहन पर आधारित टीमें बनाकर फील्ड में उतार दीं।
इन तीनों ने सिविल सर्जन कार्यालय के डाक्टरों, सहयोगी स्टाफ, अर्बन मेडिकल आफिसरों, मेडिकल आफिसरों, डाटा आफिसरों, आइडीएसपी लैब के स्टाफ को वैक्सीन लगवाने के लिए तैयार किया। सोमवार को सबसे पहले डिप्टी डायरेक्टर डेंटल डा. शरणजीत सिद्धू टीका लगवाएंगी। मेडिकल कालेज स्थित इंफ्लुएंजा लैब के प्रभारी डा. केडी सिंह टीका लगवा चुके हैं। उनका समस्त स्टाफ भी टीका लगवाएगा। इसी प्रकार जिले में 60 केंद्रों का स्टाफ भी वैक्सीन लगवाने को तैयार है। टीका लगवाने वालों में 24 घंटे नजर रखी, कोई परेशान नहीं आई
डा. चरणजीत ने बताया कि कोविशील्ड सुरक्षित वैक्सीन है। ट्रायल के बाद ही इसे भेजा गया है। शनिवार को अमृतसर में 78 हेल्थ वर्करों को वैक्सीन लगाई गई थी। हमने चौबीस घंटे तक इन पर निगाह रखी। किसी को किसी प्रकार की शारीरिक समस्या का सामना नहीं करना पड़ा। आज जरूरत है सिर्फ मोटिवेशन की। सिविल अस्पताल की छह गायनी डाक्टरों ने टीका लगवाकर उदाहरण प्रस्तुत किया है। सिविल सर्जन ने प्रोग्राम अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे हेल्थ वर्करों को इस तरह गाइड करें कि वे खुद आकर कहें कि उन्हें टीका लगा दो। आज भी हर सेटर पर 100-100 हेल्थ वर्कर होंगे कवर
सोमवार को सिविल अस्पताल, गुरुनानक देव अस्पताल व वेरका स्थित कम्युनिटी हेल्थ सेंटरों मे 300 हेल्थ वर्करों का टीकाकरण किया जाएगा। प्रत्येक स्वास्थ्य केंद्र में 100 हेल्थ वर्कर कवर किए जाएंगे। जिले में 26 वैक्सीन केंद्र बनाए गए हैं। अगले सप्ताह तक सभी केंद्रों में टीकाकरण शुरू हो जाएगा। जिन हेल्थ वर्करों को टीका लगा है, वह 28 दिन बाद दूसरी डोज लगवाएंगे। उन्हे मैसेज के जरिए जानकारी मिल जाएगी। टीकाकरण पर हुआ था विवाद
बीते शनिवार को टीकाकरण के पहले दिन सिविल अस्पताल में इंप्लाइज वेलफेयर एसोसिएशन ने आपत्ति दर्ज की थी कि पहले सिविल सर्जन टीका लगवाएं, फिर शेष हेल्थ वर्कर आगे आएंगे। हालांकि सिविल सर्जन का तर्क था कि उनका नाम सूची में शामिल नहीं है और वैसे भी वह कुछ दवाओं का सेवन करते हैं, इसलिए टीका नहीं लगवा सकते। निजी अस्पतालों का डाटा भी अधूरा
कोरोना वैक्सीन लगाने का स्वास्थ्य विभाग का ख्वाब अभी पूरा होता नहीं दिख रहा। जिले के सभी निजी अस्पतालों के हेल्थ वर्करों व आरएमपी डाक्टरों का डाटा ही विभाग के पास नहीं पहुंचा। विभाग के पास दस हजार निजी हेल्थ वर्कर व 9202 सरकारी हेल्थ वर्करों का डाटा है। सरकारी हेल्थ वर्कर तो शत प्रतिशत डाटा अपलोड कर चुके हैं, पर निजी अस्पतालों के हेल्थ वर्करों की संख्या अभी कम है। ऐसे में स्वास्थ्य विभाग ने अब इंडियन मेडिकल एसोसिएशन, लैब टेक्निशियन एसोसिएशन व ड्रग विभाग से कहा है कि वह अपने-अपने अधिकार क्षेत्र में आते अस्पतालों में जाकर हेल्थ वर्करों का डाटा अपलोड करवाएं।