आईआइएम अमृतसर में सेंटर आ़फ इंटरप्रन्यूर्शिप का किया गया उद्घाटन
अमृतसर : आईआइएम अमृतसर ने सफलतापूर्वक Þसेंटर आ़फ इंटरप्रन्यूर्शिपÞ का उद्घाटन किया। सेंटर आफ इंटरप्रन्यूर्शिप एक उद्यमी संस्कृति बनाने और आईआइएम अमृतसर के छात्रों के बीच उद्यमी गतिविधि को प्रेरित करने और सुविधा प्रदान करने की इच्छा रखता है। इस कार्यक्रम में अनिल चिकारा, सीरियल इंटरप्रेन्योर टेडक्स अध्यक्ष, स्टार्टअप इंडिया फाउंडेशन, परम ¨सह संस्थापक और प्रबंध निदेशक मुफार्म, स्मार्ट मीटर मैन्युफैक्च¨रग, निदेशक सुश्री श्रुति पराशर मुख्य रूप में शामिल हुए।
जागरण संवाददाता, अमृतसर
आईआइएम अमृतसर ने सफलतापूर्वक Þसेंटर आ़फ इंटरप्रन्यूर्शिपÞ का उद्घाटन किया। सेंटर आफ इंटरप्रन्यूर्शिप एक उद्यमी संस्कृति बनाने और आईआइएम अमृतसर के छात्रों के बीच उद्यमी गतिविधि को प्रेरित करने और सुविधा प्रदान करने की इच्छा रखता है। इस कार्यक्रम में अनिल चिकारा, सीरियल इंटरप्रेन्योर टेडक्स अध्यक्ष, स्टार्टअप इंडिया फाउंडेशन, परम ¨सह संस्थापक और प्रबंध निदेशक मुफार्म, स्मार्ट मीटर मैन्युफैक्च¨रग, निदेशक सुश्री श्रुति पराशर मुख्य रूप में शामिल हुए।
कार्यक्रम में प्रोफेसर गीता एम, पीजीपी अध्यक्ष आईआइएम अमृतसर और प्रोफेसर अनीता शर्मा चेयर पर्सनल उद्यमिता केंद्र, आईआइएम अमृतसर ने मेहमानों के साथ मिल कर दीप प्रज्ज्वलित किए।
प्रोफेसर अनीता शर्मा ने कहा कि युवाओं को अपनी जीवन चुनौतियों पर प्रतिबंधित उद्यमशीलता की सफलता के मार्ग पर प्रति¨बबित करके ही चुनौतियों का मुकाबला किया जा सकता है। उन्होंने छात्रों से दिमाग में आरक्षण के बंधनों को तोड़ने और उद्यमिता युद्धक्षेत्र में प्रवेश करने का आग्रह किया। उन्होंने उद्यमिता केंद्र के एजेंडे की घोषणा की। बिजनेस प्रतियोगिताओं, स्टार्ट-अप स्टैलवर्ट्स, पर विस्तार से चर्चा की। परम ¨सह अपने जन्मस्थान अमृतसर लौटने के लिए प्रसन्न थे और आईआइएम अमृतसर के भविष्य के इंटरप्रेन्योर के साथ उद्यमिता पर चर्चा की ।
उन्होंने कहा कि अमृतसर में कंपनियों को स्थापित करने में आईआइएम की विशेष भूमिका होगी और न केवल पंजाब में बल्कि भारत और विदेशों में भी आईआईएम का नाम बढे़गा। उन्होंने बताया कि 2008 में कैरियर शुरू किया और निवेशकों को अपना विचार पिच करने के बाद अपने उद्यम के लिए न्यूनतम धनराशि प्रतिबंधित की। 2014 तक, पूरे ऑस्ट्रेलिया में आपरेशन स्केल किए गए थे। उन्होंने बताया कि यहां के विद्यार्थी बहुत अधिक सक्षम हैं और भारत में अपने लोगों के कल्याण के लिए अपने कौशल का उपयोग कर सकते हैं।
अनिल चिकारा ने कहा कि छात्रों को शुरुआत से ही उनके अनुभव से बहुत कुछ सीखना शुरू कर देना चाहिए। हर कोई एक इंटरप्रेन्योर है। एक इंटरप्रेन्योर बनने के लिए स्कू¨लग आवश्यक नहीं है। असली सीख मैदान में उतर कर ही आती है जब आपके आइडियाज ग्राहकों द्वारा खारिज कर दिया जाता है। यह सीख कार्यशालाओं, व्याख्यान और दूसरों के सुझावों से नहीं आ सकती। वास्तविक गणना यह है कि ग्राहक क्या कहता है और हम प्रभाव बनाने के लिए क्या करते हैं क्योंकि कोई ग्राहक और किसी बात की परवाह नहीं करता , वे सभी इस बारे में परवाह करते हैं कि क्या आप उनकी समस्या का समाधान कर सकते हैं ।
श्रुति पराशर ने एकान्तता तोड़ते हुए छात्रों के साथ एक इंटरेक्टिव सत्र को प्रोत्साहित किया। स्पीकर्स को इंटरप्रेन्योर केंद्र, आईआइएम अमृतसर के आधिकारिक सोशल मीडिया हैंडल लॉन्च करने के लिए आमंत्रित किया गया था।