लाकडाउन में बंद हुई प्रिंटिंग प्रेस, आर्थिक तंगी से परेशान होकर अमृतसर में बुजुर्ग ने दी जान
पुरुषोत्तम लाल पिछले कई सालों से प्रिंटिंग प्रेस का काम कर रहे थे। कोरोना काल में उनका सारा कारोबार ठप हो गया था। इसी बात को लेकर वह परेशान रहते थे। शनिवार रात उन्होंने वह प्रेस वाले कमरे में जाकर खुदकुशी कर ली।
छेहरटा (अमृतसर), जेएनएन। यहां छेहरटा की धक्का कालोनी में पुरुषोत्तम लाल (60) ने अपने घर में फंदा लगाकर रविवार की सुबह जान दे दी। वह लाकडाउन के बाद पैसे की तंगी के कारण परेशान चल रहे थे। घरवालों के अनुसार वह अपनी प्रिंटिंग प्रेस का काम बंद हो जाने से तनाव में रहते थे। पुलिस मामले में आगे की कार्रवाई कर रही है। उनकी मौत से पूरी कालोनी के लोग सदमे में हैं। सुबह-सुबह ही घटना सामने आने के बाद शोक व्यक्त करे के लिए पुरिषोत्तम लाल के घर के आगे एरिया के लोगों की भीड़ जमा हो गई।
फिलहाल पुलिस ने मौके पर पहुंच कर शव कब्जे में ले लिया है। छेहरटा थाना प्रभारी राजविंदर कौर ने बताया कि मामले की जांच करवाई जा रही है। परिवार के सभी सदस्यों और करीबियों के बयान दर्ज किए जा रहे हैं। मामले में बनती कार्रवाई की जाएगी।
नरिंदर कुमार ने बताया कि उनके पिता पुरुषोत्तम लाल पिछले कई सालों से प्रिंटिंग प्रेस का काम कर रहे थे। वह तीन भाई हैं। दो भाइयों की शादी हो चुकी है। कोरोना काल में पिता का सारा कारोबार ठप हो गया था। दोनों भाई भी काम पर नहीं जा पा रहे थे। पिता ने प्रिंटिंग मशीन धक्का कालोनी के एक अन्य प्लाट में लगा रखी थी। अक्सर रात के समय पिता प्लाट में जाकर सो जाया करते थे। शनिवार की रात भी वह प्रेस वाले कमरे में जाकर आराम करने लगे। सुबह जब घर नहीं लौटे तो वह प्लाट में पहुंचे। उन्होंने देखा कि पिता का शव पंखे से लटक रहा है। उन्होंने तुरंत परिवार और पुलिस को घटना के बारे में जानकारी दी।
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