यात्री ट्रेन सेवाओं की बहाली से वायरस फैलने का खतरा बढ़ जाएगा : तृणमूल कांग्रेस
लॉकडाउन लागू करने को लेकर केंद्र सरकार पर ‘‘दोमुंही बात करने’’ का आरोप लगाते हुए तृणमूल कांग्रेस ने यात्री ट्रेन सेवाएं बहाल करने के निर्णय के लिए केंद्र की जमकर आलोचना की।
राज्य ब्यूरो, कोलकाता : कोरोना वायरस का संक्रमण फैलने से रोकने के लिए लॉकडाउन लागू करने को लेकर केंद्र सरकार पर ‘‘दोमुंही बात करने’’ का आरोप लगाते हुए तृणमूल कांग्रेस ने यात्री ट्रेन सेवाएं बहाल करने के निर्णय के लिए सोमवार को केंद्र की भाजपा नीत सरकार की कड़ी आलोचना की।
भगवा दल की राज्य इकाई ने पलटवार करते हुए कहा कि केंद्र के निर्णय की आलोचना करने का तृणमूल को कोई अधिकार नहीं है क्योंकि क्षेत्रीय दल की सरकार पश्चिम बंगाल में ‘‘कोविड-19 की स्थिति से निपटने में विफल’’ रहा है। भारतीय रेलवे ने रविवार को घोषणा की थी कि 12 मई से वह धीरे-धीरे यात्री ट्रेन सेवाएं शुरू करेगा और शुरू में 15 जोड़ी रेलगाड़ियां चलाई जाएंगी। मार्च में लॉकडाउन लागू होने के बाद से सभी यात्री ट्रेन सेवाएं स्थगित हैं। इस निर्णय की आलोचना करते हुए तृणमूल के सांसद शांतनु सेन ने कहा कि एक तरफ केंद्र राज्यों में कड़े लॉकडाउन लागू करने पर प्रवचन देता है और दूसरी तरफ प्रतिबंधों में ढील देने के कदम उठाता है।
टीएमसी के वरिष्ठ नेता ने कहा, ‘‘केंद्र सरकार को दोमुंही बात के कारण बताने चाहिए। यात्री ट्रेन सेवाएं बहाल करने का कदम इसकी दुविधा को दर्शाता है।’’ उनकी बातों से सहमति जताते हुए राज्य के मंत्री और कोलकाता के महापौर फिरहिद हकीम ने दावा किया कि इस निर्णय से कोरोना वायरस के फैलने का खतरा बढ़ जाएगा। बंगाल में कोविड-19 की स्थिति से ठीक तरीके से नहीं निपटने का आरोप लगाते हुए राज्य भाजपा के प्रमुख दिलीप घोष ने कहा कि सत्तारूढ़ दल के नेताओं को इस तरह की टिप्पणी करने से बचना चाहिए क्योंकि वे बाहर फंसे प्रवासी श्रमिकों की समस्याओं का समाधान करने में विफल रहे हैं।
मालदा में दो समुदायों में हिंसक संघर्ष पर राज्यपाल ने जताई चिंता
राज्य ब्यूरो, कोलकाता : मालदा के हरिशचंद्रपुर इलाके में रविवार को दो समुदायों के बीच हिंसक संघर्ष की घटना पर राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने चिंता जतायी है और राज्य प्रशासन से निष्पक्ष कार्रवाई की अपील की है। सोमवार को धनखड़ ने दो ट्वीट करते हुए लिखा कि आज हम जब कोरोना संक्रमण के खिलाफ निर्णायक मोड़ पर खड़े हैं, तब इस तरह के सामुदायिक टकराव चिंताजनक हैं।
मालदा के हरिशचंद्रपुर थाना अंतर्गत चांदीपुर इलाके में दो गुटों के बीच टकराव बेहद चिंता का विषय है। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और राज्य प्रशासन को राजनीतिक प्रतिबद्धताएं छोड़कर निष्पक्ष तरीके से काम करना चाहिए। ऐसे हालात में शांति के लिए दोनों ओर नेतृत्व को आगे आने की जरूरत है। वर्तमान समय में इस तरह का टकराव राष्ट्र हित में नहीं होगा। उन्होंने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से ऐसे मुश्किल समय में सामने आने और शांति के लिए पहल करने की अपील भी की है। उल्लेखनीय है कि मालदा के अलावा रविवार को हुगली जिले के तेलिनीपारा में भी दो समुदायों के बीच संघर्ष की घटनाएं सामने आई।