रघुवंश ने साधा PM मोदी पर निशाना, कहा- बेरोजगारी को ले RJD करेगा आंदोलन
रघुवंश प्रसाद सिंह ने कहा कि पीएम मोदी का हर साल दो करोड़ लोगों को रोजगार देने का वादा पूरा नहीं हुआ है। राजद बेरोजगारी के मुद्दे पर केंद्र व राज्य सरकारों के खिलाफ आंदोलन करेगा।
पटना [राज्य ब्यूरो]। राजद के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष रघुवंश प्रसाद सिंह ने कहा है कि नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव की न्याय यात्रा के बाद उनकी पार्टी आंदोलन के लिए सड़कों पर उतरेगी। बेरोजगारी मुख्य मुद्दा रहेगा। यह आंदोलन केंद्र एवं राज्य, दोनों की सरकारों के खिलाफ होगा।
उन्होंने केंद्रीय मानव संसाधन राज्यमंत्री उपेंद्र कुशवाहा के शिक्षा सुधार अभियान की प्रशंसा करते हुए उन्हें राजग से बाहर आकर अभियान चलाने की सलाह दी। राजद नेता ने कहा कि अगर कुशवाहा राजग से बाहर रहकर मानव श्रृंखला बनाते तो इस कार्यक्रम में वह जरूर शामिल होते।
अधूरा रहा हर साल दो करोड़ रोजगार देने का वादा
रघुवंश प्रसाद सिंह ने कहा कि लोकसभा चुनाव से पूर्व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हर साल दो करोड़ युवाओं को नौकरी देने का वचन दिया था। नरेंद्र मोदी सरकार के चार वर्ष पूरे होने वाले हैं। मगर, रोजगार देना तो दूर, नोटबंदी के कारण लाखों बेरोजगार हो गए।
विभिन्न महकमों में 40 लाख पद रिक्त
रघुवंश प्रसाद सिंह ने कहा, केंद्र एवं राज्य सरकार के विभिन्न महकमों में करीब 40 लाख पद रिक्त हैं, जिन्हें भरने की कोई पहल नहीं हुई। देश में शिक्षकों के 10 लाख तो सिपाहियों के 5 लाख पद रिक्त हैं। रेलवे में 10 लाख रिक्तियां हैं। बिहार में सिपाहियों के 31,143 पद खाली हैं। पुलिस बल की कमी के कारण विधि व्यवस्था बिगड़ी हुई है। आए दिन हत्याएं हो रहीं हैं।
रघुवंश बोले, अमीन, ग्राम सेवक, राजस्व कर्मचारी आदि के पद बड़ी संख्या में खाली हैं। जब से शराबबंदी हुई है, शराब की खपत और बढ़ गई है। तीन गुना कीमत पर शराब बिक रही है। बालू बंद किए जाने से 900 रुपये में मिलने वाला एक ट्रेलर बालू अब नौ हजार में मिल रहा है। दहेज बंदी के अभियान के बाद से दहेज का रेट भी बढ़ गया है।
राजद उपाध्यक्ष ने बताया कि इन सब मुद्दों को लेकर पार्टी आंदोलन करेगी। संवाददाता सम्मेलन में उन्होंने रिक्तियों का पूरा ब्योरा भी जारी किया।
शिक्षण संस्थानों में रिक्तियां
संस्थान (रिक्तियां)
1142 केंद्रीय विद्यालय (14000 स्टाफ, 10,000 शिक्षक व 200 प्रिंसिपल)
जवाहर नवोदय विद्यालय (125 प्रिंसिपल, 2,000 शिक्षक)
बिहार कृषि विभाग (950 अधिकारी)
बिहार के विश्वविद्यालय (7,485 शिक्षक)
बिहार के उच्च विद्यालय (6500 शिक्षक)
बिहार के उच्चतर विद्यालय (12,000 शिक्षक)