Move to Jagran APP

नेताजी के परपोते और बंगाल भाजपा के उपाध्यक्ष चंद्र बोस बोले, ..तो भाजपा में बने रहने पर विचार करूंगा

चंद्र कुमार बोस ने सीएए की प्रशंसा की लेकिन कहा कि कुछ बदलाव करने होंगे ताकि सभी पीड़ितों को नागरिकता दी जा सके।

By Arun Kumar SinghEdited By: Published: Fri, 24 Jan 2020 10:27 PM (IST)Updated: Fri, 24 Jan 2020 11:37 PM (IST)
नेताजी के परपोते और बंगाल भाजपा के उपाध्यक्ष चंद्र बोस बोले, ..तो भाजपा में बने रहने पर विचार करूंगा
नेताजी के परपोते और बंगाल भाजपा के उपाध्यक्ष चंद्र बोस बोले, ..तो भाजपा में बने रहने पर विचार करूंगा

 कोलकाता, राज्य ब्यूरो। बंगाल भाजपा के उपाध्यक्ष और नेताजी सुभाष चंद्र बोस के परपोते चंद्र कुमार बोस ने कहा कि वह नेताजी के राजनीतिक मार्ग पर नहीं चल पा रहे हैं। और अगर धर्मनिरपेक्षता को लेकर उनकी चिंताओं का समाधान नहीं किया गया तो वह पार्टी में बने रहने पर पुनर्विचार कर सकते हैं।

loksabha election banner

सभी पीड़ितों को नागरिकता देने के लिए हो बदलाव

बोस ने सीएए की प्रशंसा की, लेकिन कहा कि कुछ बदलाव करने होंगे ताकि सभी पीड़ितों को नागरिकता दी जा सके। चाहे वे किसी भी धर्म के हों। उन्होंने कहा-'मैं भाजपा के मंच का इस्तेमाल करके धर्मनिरपेक्षता और समावेश के सिद्धांतों को फैलाना चाहता हूं। जब मैंने जनवरी, 2016 में भाजपा की सदस्यता ली थी तो मैंने यह बात प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और तत्कालीन भाजपा अध्यक्ष अमित शाह से कही थी। वे भी इस पर सहमत हुए थे, लेकिन अब मुझे लग रहा है कि मैं नेताजी के सिद्धांतों का पालन नहीं कर पा रहा हूं। अगर यह चलता रहा तो मुझे पार्टी में बने रहने पर सोचना होगा। हालांकि, मैं नरेंद्र मोदी से बात किए बिना कोई फैसला नहीं लूंगा।'

'गृहयुद्ध' की तरफ बढ़ रहा देश 

उधर, नेताजी सुभाष चंद्र बोस की स्वजन एवं पूर्व तृणमूल कांग्रेस सांसद कृष्णा बोस ने शुक्रवार को कहा कि सीएए और एनआरसी को लागू करने का भाजपानीत केंद्र सरकार के निर्णय से देश 'गृहयुद्ध'की तरफ बढ़ रहा है। बोस ने दावा किया कि सीएए को लागू करना आरएसएस के हिंदू राष्ट्र के सपने को सच करने का प्रयास है।

कृष्‍णा  बोस ने कहा कि आज हम ऐसी बुरी स्थिति में हैं कि केंद्र सरकार विभाजनकारी सिद्धांतों को जनता पर थोप रही है। जाहिर है कि केंद्र के निशाने पर हमारे देश के मुस्लिम हैं और यह केंद्र द्वारा सीधे तौर पर कहा जा रहा है। वे बौद्ध, जैन और अन्य समुदायों की बात करते हैं लेकिन केवल एक नाम नहीं है और यही विवाद की जड़ है। प्रताड़ना झेलने वाले सभी को शामिल क्यों नहीं किया गया? इसमें कोई शक नहीं कि सीएए से मुस्लिमों को निशाना बनाया जा रहा है।

बोस ने दावा किया कि सीएए को लागू करना आरएसएस के हिंदू राष्ट्र के सपने को सच करने का प्रयास है। उन्होंने कहा कि अभी तक मिला जुला विरोध हुआ, लेकिन देश जिस दौर से गुजर रहा है, उससे वह लगभग गृह युद्ध की तरफ बढ़ रहा है। मैं ऐसी आशा नहीं करती लेकिन लगता ऐसा ही है।'

बोस ने केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह का हवाला देते हुए कहा, 'हिंदू राष्ट्र बनाने की आरएसएस की विचारधारा भाजपा की भी विचारधारा बन चुकी है। वे इसके लिए अड़े हैं और खुलकर बोल रहे हैं।' पूर्व तृणमूल सांसद ने यह भी कहा कि प्रचंड बहुमत प्राप्त करने का अर्थ यह नहीं है कि मोदी सरकार को अपने निर्णय आम लोगों पर थोपने का अधिकार मिल गया है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.