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दिल्‍ली BJP चीफ पद से हटाए गए मनोज तिवारी ने किया पहला भावुक ट्वीट, जानिए क्‍या कहा

भाजपा प्रदेश पद से हटाए जाने के बाद मनोज तिवारी ने अपना पहला भावुक ट्वीट कर कहा है कि जानें-अनजाने में कोई त्रुटि हुई हो तो क्षमा करें।

By Prateek KumarEdited By: Published: Tue, 02 Jun 2020 04:52 PM (IST)Updated: Tue, 02 Jun 2020 05:36 PM (IST)
दिल्‍ली BJP चीफ पद से हटाए गए मनोज तिवारी ने किया पहला भावुक ट्वीट, जानिए क्‍या कहा
दिल्‍ली BJP चीफ पद से हटाए गए मनोज तिवारी ने किया पहला भावुक ट्वीट, जानिए क्‍या कहा

नई दिल्‍ली, ऑनलाइन डेस्‍क। दिल्‍ली भाजपा में एक बड़ा बदलाव देखने को मिला है। भोजपुरी गानों के सुपरस्‍टार और प्रसिद्ध रिकिंया के पापा गाने वाले मनोज तिवारी को हटा कर उत्‍तर प्रदेश प्रदेश कन्‍नौज के रहने वाले आदेश गुप्‍ता को दिल्‍ली भाजपा का नया प्रदेश अध्‍यक्ष बनाया गया है। भाजपा प्रदेश पद से हटाए जाने के बाद मनोज तिवारी ने अपना पहला भावुक ट्वीट कर दिल्‍ली की जनता का धन्‍यवाद अदा किया है। उन्‍होंने कहा है कि जानें-अनजाने में कोई त्रुटि हुई हो तो क्षमा करें। बता दें कि मनोज तिवारी को हटा कर यूपी के आदेश गुप्‍ता को कमान सौंपी गई है।

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यह है मनोज तिवारी का पूरा ट्वीट

मनोज तिवारी ने कहा कि प्रदेश्‍ अध्‍यक्ष के रूप में इस 3.6 साल के कार्यकाल में जो प्यार और सहयोग मिला उसके लिये सभी कार्यकर्ता, पदाधिकारी व दिल्लीवासियों का सदैव आभारी रहूंगा.. जाने अनजाने कोई त्रुटि हुई हो तो क्षमा करना..। इसके साथ ही उन्‍होंने नये प्रदेश अध्यक्ष को शुभकामनाएं दी। उन्‍होंने लिखा कि भाई आदेश गुप्‍ता को असंख्य बधाइयां। 

नगर निगम चुनाव में मिली थी जीत

2016 को दिल्‍ली के प्रदेश अध्‍यक्ष पद को संभालने वाले मनोज तिवारी को जब यहां लाया गया था तब उस वक्‍त दिल्‍ली में बाहरी बनाम दिल्‍ली जोरों पर थी। एक तरह से भाजपा आम आदमी पार्टी को यह कह कर घेरने की कोशिश कर रही थी कि यहां बाहरी लोगों की खास तवज्‍जों नहीं दे रही। बता दें कि नगर निगम चुनाव में मनोज तिवारी ने भाजपा को जीत दिलाई थी।  

विधानसभा चुनाव में हार

बता दें कि लोकसभा चुनाव में मिली जीत के बाद भी मनोज तिवारी भाजपा की इस बढ़त को विधानसभा चुनाव में बरकरार नहीं रख पाए। हाल में ही हुए विधानसभा चुनाव के दौरान पार्टी के हर बड़े नेता ने करीब-करीब मैदान में उतर कर पार्टी के लिए जी तोड़ मेहनत की मगर पार्टी उसे सीट में बदलने में नाकामयाब रही। इसके बाद से ही सत्‍ता परिवर्तन की मांग उठने लगी थी। पार्टी के कई कार्यकर्ताओं में इस बात की चर्चा शुरू हो गई थी अब पार्टी को एक नए नेतृत्‍व की जरूरत है। हालांकि पार्टी ने विधानसभा चुनाव में अपनी ओर से पूरी ताकत झोंक दी थी मगर दिल्‍ली की जनता के केजरीवाल की झाड़ू का बटन दबाने का मन बना चुकी थी। इस चुनाव में केजरीवाल को 62 सीटें मिली और भाजपा को 8 सीटें मिली थीं। 

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