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Rajasthan: सचिन पायलट के मीडिया सलाहकार पर केस, राजस्थान में फिर बढ़ सकता है सियासी संकट

Rajasthan राजस्थान जयपुर पुलिस की टीम ने सचिन पायलट के सरकारी आवास में प्रवेश कर उनके मीडिया सलाहकार लोकेंद्र सिंह से पूछताछ की। विधायकपुरी थाना पुलिस ने लोकेंद्र सिंह के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच-पड़ताल शुरू कर दी है।

By Sachin Kumar MishraEdited By: Published: Wed, 07 Oct 2020 04:05 PM (IST)Updated: Wed, 07 Oct 2020 08:34 PM (IST)
Rajasthan: सचिन पायलट के मीडिया सलाहकार पर केस, राजस्थान में फिर बढ़ सकता है सियासी संकट
सचिन पायलट के मीडिया सलाहकार से जयपुर पुलिस ने की पूछताछ।

जागरण संवाददाता, जयपुर। Rajasthan: राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच 35 दिन तक चले सत्ता संग्राम के बाद अब फिर प्रदेश में सियासी संकट बढ़ता नजर आ रहा है। पुलिस ने सचिन पायलट के सरकारी आवास में उनके मीडिया सलाहकार लोकेंद्र सिंह से पूछताछ की। विधायकपुरी थाना पुलिस ने लोकेंद्र सिंह के साथ एक न्यूज चैनल के पत्रकार शरत कुमार के खिलाफ भी आइटी एक्ट व भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है। जयपुर पुलिस कमिश्नरेट में तैनात साइबर पुलिस थाना अधिकारी ने दोनों के खिलाफ पुलिस की छवि खराब करने का आरोप लगाया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है। 

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दर्ज कराई गई एफआइआर में कहा गया कि पुलिस कंट्रोल रूम में तैनात सोशल मीडिया हैंडलिंग कर्मचारी सुरेंद्र यादव ने ड्यूटी ऑफिसर सत्यपाल सिंह को वॉट्सअप मैसेज दिखाए, जिनमें वायरल किया जा रहा था कि जैसलमेर के जिस सूर्यगढ़ होटल में विधायक मंत्री और विधायक ठहरे थे, वहां चार जैमर अजायब इलेक्ट्रॉनिक्स के लगाए गए हैं। इनमें माध्यम से मंत्री और विधायकों के फोन टेप किए जा रहे हैं। जयपुर के मानसरोवर स्थित एक होटल से इन जैमर्स को हैंडल किया जा रहा है। यादव ने बताया कि ये वॉट्सअप मैसेज भ्रामक प्रचार के उद्देश्य से वायरल किए जा रहे थे। ये मैसेज लोकेंद्र सिंह के मोबाइल से वायरल हुए। रिपोर्ट में कहा गया कि यह भ्रामक सूचना शरत कुमार ने तैयार की, जिसे लोकेंद्र सिंह ने वायरल की।

शरत कुमार ने भी ये मैसेज कुछ जगह भेजे और समाचार दिखाया। रिपोर्ट के साथ शरत कुमार द्वारा जारी किए गए समाचार की सीडी भी संलग्न की गई है। सात अगस्त की घटना को लेकर अब छह अक्टूबर को मुकदमा दर्ज होने से हर कोई हैरान है। छह अगस्त को कंट्रोल रूम में तैनात ड्यूटी ऑफिसर इन आरोपों से बहुत ही व्यथित हुआ और उसने साइबर थाने में जाकर बदनाम करने की शिकायत दर्ज कराई थी। साइबर थाना अधिकारी सुरेंद्र पंचोली ने सचिन पायलट की बगैर इजाजत के उनके निवास में घुसकर मीडिया मैनेजर से पूछताछ की। इसके बाद जयपुर के पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव की अनुमति से साइबर क्राइम थाना अधिकारी ने छह अक्टूबर को पूरे मामले को लेकर विधायकपुरी थाने में मुकदमा दर्ज कराया। इसमें उन्होंने पायलट के मीडिया मैनेजर और टीवी पत्रकार पर पुलिस की छवि खराब करने का भी आरोप लगाया है। विधायकपुरी थाना अधिकारी ओम मतवा का कहना है कि हमें जल्द से जल्द कार्रवाई के लिए कहा गया है।

विधायकों की बातचीत टेप होने की भी जानकारी

सूत्रों के अनुसार, मामले की जांच कर रहे थाना अधिकारी ने अपनी रिपोर्ट में माना कि गहलोत व पायलट के बीच चले विवाद के दौरान अगस्त में जैसलमेर के सूर्यगढ़ होटल में ठहरे गहलोत खेमे के विधायकों की आपसी बातचीत को टेप करने की भी सूचना मिली, जिन्हें बाद में हरियाणा व दिल्ली में ठहरे पायलट खेमे के विधायकों को भेजा गया। इसमें कहा गया कि यह जानकारी शरत कुमार ने उपलब्ध कराई। पुलिस में मामला दर्ज होने के बाद गहलोत व पायलट के बीच फिर विवाद बढ़ सकता है।


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