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Jammu Kashmir: अब घर बैठे मिलने लगे डोमिसाइल प्रमाणपत्र, उपराज्यपाल ने ई-एप लांच किया

Domicile certificate प्रदेश के लोगों को अब डोमिसाइल प्रमाणपत्र भी ऑनलाइन मिलने लगे हैं। बारामुला जिले के दो लोग बने पहले आवेदक।

By Preeti jhaEdited By: Published: Tue, 23 Jun 2020 09:55 AM (IST)Updated: Tue, 23 Jun 2020 02:21 PM (IST)
Jammu Kashmir: अब घर बैठे मिलने लगे डोमिसाइल प्रमाणपत्र, उपराज्यपाल ने ई-एप लांच किया
Jammu Kashmir: अब घर बैठे मिलने लगे डोमिसाइल प्रमाणपत्र, उपराज्यपाल ने ई-एप लांच किया

जम्मू, राज्य ब्यूरो। प्रदेश के लोगों को अब डोमिसाइल प्रमाणपत्र भी ऑनलाइन मिलने लगे हैं। अब आवेदकों को किसी कार्यालय में जाने की जरूरत नहीं होगी। उत्तरी कश्मीर में बारामुला जिला के तारिक और आलिया पहले दो आवेदक हैं, जिन्हें ई-मोड पर डोमिसाइल प्रमाणपत्र मिला है। उपराज्यपाल जीसी मुर्मू ने सोमवार को डोमिसाइल प्रमाणपत्र जारी करने व इसके आवेदन के लिए ई-एप लांच किया है। इस एप्लीकेशन को जम्मू कश्मीर ई-गर्वनेंस एजेंसी (जेकेईजीए) ने विकसित किया है।

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डोमिसाइल प्रमाणपत्र को ऑनलाइन जारी करने की सुविधा के बहाल होने के साथ ही प्रदेश में गवर्नमेंट टू सिटीजन (जी2सी) के तहत आम नागरिकों के लिए ऑनलाइन उपलब्ध सरकारी सेवाओं की संख्या 27 हो गई है। राजभवन में एक सादा समारोह में उपराज्यपाल ने मुख्य सचिव बीवीआर सुब्रह्मण्यम और उपराज्यपाल के प्रधान सचिव एवं सूचना प्रौद्योगिक विभाग के प्रशासकीय सचिव बिपुल पाठक की मौजूदगी में इस एप्लीकेशन को जारी किया।

बारामुला के जिला उपायुक्त जीएन इट्टु व अन्य वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारियों ने वीडियो कांफ्रेंस के जरिए इसमें भाग लिया। बारामुला में सोपोर के रहने वाले तारिक अहमद लांगू की बेटी आलिया तारिक ई-मोड पर पहला डोमिसाइल प्राप्त करने वाली नागरिक बनी हैं। जम्मू कश्मीर में स्थानीय नागरिकता प्रमाणपत्र धारक आवेदक आधार नंबर के आधार पर भी डोमिसाइल प्रमाणपत्र के लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। उन्हें इस एप्लीकेशन के जरिए बिना किसी कार्यालय में गए डोमिसाइल प्रमाणपत्र मिलेगा।

सामुदायिक सूचना केंद्रों को नोडल प्वाइंट के रूप में इस्तेमाल करें:

उपराज्यपाल ने कहा कि सभी ग्रामीण व उन इलाकों में जहां आधार पंजीकरण काउंटर नहीं हैं, वहां यह काउंटर बनाए जाएं। सामुदायिक सूचना केंद्रों और सामान्य सेवा केंद्रों की सेवाएं लेते हुए इनका इस्तेमाल आवेदकों के लिए नोडल प्वाइंट के रूप में लिया जाए। इन जगहों पर उन्हें फार्म भरने के लिए सभी प्रकार की तकनीकी मदद मिलेगी।

समय पर मिले प्रमाणपत्र:

उपराज्यपाल ने कहा कि अधिकारियों को निर्देश दिया कि वह निर्धारित समयावधि में ही डोमिसाइल प्रमाणपत्र की उपलब्धता को सुनिश्चित बनाएं। इस कार्य में किसी प्रकार की कोताही या भ्रष्टाचार की शिकायत पर कठोर कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने सभी जिलो में विशेषकर प्रदेश के सभी पहाड़ी जिलों में आइटी नेटवर्क संपर्क को बनाने पर जोर दिया ताकि लोगों को ऑनलाइन प्रमाणपत्र लेने में असुविधा न हो। उन्होंने कहा कि भविष्य में एसएमएस अलर्ट भी इसमें शामिल किया जाए। 


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