Article 370: ऐसा लग रहा है जैसे आजादी की नई सुबह देख रहे हों...हमारी तो सफल हुई पूजा
वैष्णो माता मंदिर में पुजारी शिवकुमार कहते हैं- सफल हुई पूजा अब अयोध्या और जम्मू एक जैसे
अयोध्या [प्रहलाद तिवारी]। पटरंगा क्षेत्र में लखनऊ-फैजाबाद रेलमार्ग किनारे स्थित एक गांव गंजकरी। यहां के दो सगे भाई शिवकुमार शुक्ल और अमरीश शुक्ल जम्मू में रहते हैं। शिव कुमार शुक्ल मां वैष्णों देवी मंदिर में पुजारी हैं। छोटा भाई अमरीश शुक्ल जम्मू के पाटी चौक स्थित राम मंदिर में मुख्य पुजारी हैं। दो दशक हो गए वहां गए हुए, मगर जो खुशी सोमवार को मिली, वैसी कभी महसूस नहीं कर पाए। शिवकुमार कहते हैं-'ऐसा लग रहा है जैसे आजादी की नई सुबह देख रहे हों। मोदी सरकार के इस फैसले से हमारी पूजा सफल हो गई।'
शिव कुमार वर्ष 1995 में गांव से जम्मू गए। कुछ दिनों बाद श्राइन बोर्ड में पुजारी नियुक्त हुए और मां वैष्णों की पूजा अर्चना करने के साथ श्रद्धालुओं को दर्शन कराने की भूमिका का निर्वहन करने लगे। बड़े भाई अमरीश को भी वह वर्ष 2004 में जम्मू ले गए। उनको चौक राम मंदिर में पुजारी नियुक्त कराया। इतने वर्षों से वहां रहने के बावजूद हमेशा असहज महसूस करते रहे।
फोन पर बातचीत में अमरीश बोले-'अपने देश में होने के बाद भी कोई सुविधा नहीं मिल पाती थी। खुद का घर तक नहीं बना सके।' दोनों भाइयों को ऐसी तमाम समस्याओं से रोजाना दो चार होना पड़ता था। जब भी दोनों भाई मिलते तो माताजी (वैष्णो देवी) से यह अनुच्छेद हटाने की अरदास करते थे। आखिर उन्होंने हमारी सुन ली। उम्मीद है, अब यहां के वोटर बनेंगे। अपना घर होगा और विरोधाभासी स्थितियां समाप्त होंगी। बच्चों का भविष्य उज्ज्वल होगा। ऐसा लग रहा है कि आजादी की नई सुबह देखी है।
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