PM Modi Swearing Ceremony: जानिए, किस राज्य से कितने और कौन बने मंत्री
पीएम समेत उत्तरप्रदेश से सबसे ज्यादा नौ तो बिहार के छह चेहरों को मिली जगह महाराष्ट्र कर्नाटक गुजरात और हरियाणा को भी मिला चुनावी जीत का ईनाम।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। लोकसभा चुनाव में मिली भारी जीत के अनुरुप प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी दूसरी पारी के नये मंत्रिमंडल में 22 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के प्रतिनिधियों को जगह दी है। उम्मीद के अनुरूप देश के सबसे बड़े सूबे उत्तरप्रदेश को नये मंत्रिमंडल में प्रधानमंत्री समेत 9 चेहरों को जगह मिली है। वहीं एनडीए की झोली भरने वाले बिहार के 6 चेहरों को नए मंत्रिपरिषद में शामिल किया गया है। गुजरात और महाराष्ट्र को भी नई सरकार में वाजिब हिस्सेदारी दी गई है। दक्षिण के राज्यों को भी नये मंत्रिमंडल में प्रतिनिधित्व देने का ख्याल रखने की कोशिश की गई है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अलावा उत्तरप्रदेश से कैबिनेट मंत्रियों में राजनाथ सिंह, स्मृति ईरानी, महेंद्रनाथ पांडेय और मुख्तार अब्बास नकवी शामिल हैं। जबकि संतोष गंगवार स्वतंत्र प्रभार के राज्यमंत्री बनाए गए हैं। उत्तरप्रदेश से बने तीन राज्यमंत्रियों में जनरल वीके सिंह, संजीव बालियान और साध्वी निरंजन ज्योति हैं।
बिहार से रामविलास पासवान, रविशंकर प्रसाद और गिरिराज सिंह कैबिनेट मंत्री तो आरके सिंह स्वतंत्र प्रभार के राज्यमंत्री बनाए गए हैं। वहीं अश्विनी कुमार चौबे और नित्यानंद राय राज्यमंत्री के रुप में सूबे की नुमाइंदगी कर रहे हैं।
महाराष्ट्र से पांच मंत्रियों में से नितिन गडकरी और प्रकाश जावडेकर के अलावा अरविंद सावंत कैबिनेट में हैं। जबकि रामदास अठावले और संजय धोत्रे राज्यमंत्री बनाए गए हैं। पंजाब से हरसिमरत कौर बादल कैबिनेट में तो सोमप्रकाश राज्यमंत्री के दो चेहरे हैं। हालांकि हरदीप पुरी को भी पंजाब कोटे का ही माना जाता है। गुजरात से तीन चेहरों को शामिल किया गया है जिसमें अमित शाह कैबिनेट, मनसुख मंडाविया स्वतंत्र प्रभार तथा पुरूषोत्तम रुपाला राज्यमंत्री हैं।
कर्नाटक से दो कैबिनेट मंत्री सदानंद गौडा और प्रहलाद जोशी और एक राज्यमंत्री सुरेश अंगाड़ी हैं। असम की नुमाइंदगी राज्यमंत्री के तौर पर रामेश्वर तेली तो अरुणाचल प्रदेश से किरण रिजिजू स्वतंत्र प्रभार के राज्यमंत्री के रुप में पूर्वोत्तर के प्रमुख चेहरे हैं। तेलंगाना में चार लोकसभा सीट जीतने का कमाल करने की वजह से वहां के भाजपा नेता जी किशन रेड्डी को राज्यमंत्री के तौर पर सुबे की नुमाइंदगी दी गई है।
छत्तीसगढ से रेणुका सिंह सरुता को राज्यमंत्री बनाया गया है। श्रीपद नाइक स्वतंत्र प्रभार के मंत्री के तौर पर गोवा तो वी मुरलीधर को राज्यमंत्री बनाकर केरल का प्रतिनिधित्व दिया गया है। जबकि आंध्रप्रदेश की नुमाइंदगी सरकार में निर्मला सीतारमण कर रही हैं।
उत्तराखंड को इस बार कैबिनेट में प्रतिनिधित्व देते हुए पूर्व मुख्यमंत्री रमेश पोखरियाल निशंक को पहली बार केंद्रीय मंत्री बनाया गया है। इसी तरह झारखंड से भी पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन मुंडा कैबिनेट मंत्री के रुप में सूबे की नुमाइंदगी कर रहे हैं। इसी तरह हरियाणा को सभी 10 लोकसभा सीटें भाजपा के खाते में डालने का इनाम देते हुए तीन मंत्री पद दिए गए हैं। स्वतंत्र प्रभार के राज्यमंत्री के रुप में राव इंद्रजीत सिंह के अलावा कृष्णपाल गुर्जर और रतनलाल कटारिया राज्यमंत्री बनाए गए हैं।
पश्चिम बंगाल में भाजपा की जबरदस्त कामयाबी के बाद मंत्रिपरिषद में दो चेहरों बाबुल सुप्रियो और देबाश्री चौधरी को बतौर राज्यमंत्री सरकार में शामिल किया गया है। ओडिशा से धर्मेंद्र प्रधान कैबिनेट और प्रताप चंद्र सारंगी राज्यमंत्री के दो चेहरे सरकार का हिस्सा बने हैं। जबकि हिमाचल प्रदेश से अनुराग ठाकुर को राज्यमंत्री बनाकर सूबे की नुमाइंदगी सुनिश्चित की गई है।
राजधानी दिल्ली से इस बार केवल हर्षवर्द्धन एकमात्र चेहरा हैं। राजस्थान से कैबिनेट में गजेंद्र सिंह शेखावत और कैलाश चौधरी राज्यमंत्री के तौर पर सूबे के दो चेहरे हैं। इस तरह पीएम मोदी ने अपनी सरकार में हर संभव अधिक से अधिक सूबों को प्रतिनिधित्व देने का प्रयास किया है। नई मंत्रिपरिषद में सामाजिक समीकरण का संतुलन साधने की कोशिश भी की गई है।
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