नड्डा ने कहा- लॉकडाउन में फंसे लोगों की मदद के लिए आगे आएं भाजपा कार्यकर्ता
भाजपा अध्यक्ष ने दस लोगों के लिए खाने का पैकेट भेजकर रोजाना पांच करोड़ लोगों के लिए खाने का इंतजाम करने की पार्टी की योजना भी शुरू कर दी।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। एक तरफ जब देश के कई हिस्सों से प्रवासी मजदूरों के लॉकडाउन की चिंता किए बगैर पैदल ही घरों की ओर रवाना होने की खबरें तेज हैं तो भाजपा अध्यक्ष ने अपने सभी कार्यकर्ताओं को निर्देश दिया है वह मदद के लिए उतरें। शुक्रवार को उन्होंने दस लोगों के लिए खाने का पैकेट भेजकर रोजाना पांच करोड़ लोगों के लिए खाने का इंतजाम करने की पार्टी की योजना भी शुरू कर दी। यह लाकडाउन के पूरे वक्त तक चलनी है।
नड्डा ने दिल्ली और मुंबई के सांसदों से की वार्ता
पिछले कुछ दिनों से नड्डा लगातार वीडियो काफ्रेसिंग के जरिए पार्टी कार्यकर्ताओं से संवाद कर रहे हैं। शुक्रवार को उन्होंने दिल्ली और मुंबई के सांसदों से बातचीत की और प्रवासी मजदूरों को मदद पहुंचाने का कहा। ध्यान रहे कि इन दोनों शहरों में बड़ी संख्या में प्रवासी रहते हैं। यह फैसला पहले ही हुआ था कि पार्टी के एक करोड़ कार्यकर्ता हर रोज पांच पांच लोगों के खाने का इंतजाम करेंगे। उनकी सूची तैयार हो गई थी। उसका शुभारंभ आज से हो गया।
वापस घर भेजने की व्यवस्था से लॉकडाउन का उद्देश्य खत्म हो जाएगा
लॉकडाउन की वजह से विभिन्न स्थानों पर फंसे प्रवासी मजदूरों की समस्याओं को केंद्र सरकार ने गंभीरता से लिया है। केंद्र ने सभी राज्यों को इन मजदूरों के लिए तत्काल ठहरने और खाने-पीने की व्यवस्था करने का निर्देश दिया है। दिल्ली समेत देश के विभिन्न भागों से प्रवासी मजदूरों के सैकड़ों किलोमीटर दूर स्थित अपने घर की ओर पैदल जाने की खबरें आ रही हैं। गृह मंत्रालय ने साफ कर दिया कि कोरोना का प्रसार रोकने के लिए लगाए प्रतिबंध के कारण उन्हें वापस घर भेजने की व्यवस्था नहीं की जा सकती है। इसके बजाय उन्हें जहां वे हैं, वहीं पर रहने का पूरा इंतजाम किया जाना जरूरी है।
मजदूरों, छात्रों व अकेली कामकाजी महिलाओं के लिए इंतजाम के निर्देश
सभी राज्य सरकारों, केंद्र शासित प्रदेशों को केंद्रीय गृहसचिव अजय भल्ला ने पत्र लिखकर 14 अप्रैल तक लॉकडाउन के दौरान सभी प्रवासी कृषि, औद्योगिक व असंगठित क्षेत्र में काम करने वाले मजदूरों के लिए खाने-पीने और ठहरने की उचित व्यवस्था करे। विद्यार्थियों और कामकाजी महिलाओं को भी अपने मौजूदा जगह पर ही सारी सुविधाएं मुहैया करानी चाहिए। ताकि उन्हें किसी समस्या का सामना नहीं करना पड़े। केंद्र ने मजदूरों, छात्रों और अकेली रहने वाली कामकाजी महिलाओं के लिए साफ पानी के साथ खाने-पीने का सामान पहुंचाने के लिए स्वयंसेवी संस्थाओं की मदद लेनी की सलाह दी है।