मंत्री ने कहा- एमपी में जनता की सरकार तो आ गई, लेकिन कार्यकर्ताओं की सरकार नहीं आई
मुख्यमंत्री कमलनाथ कैलाश विजयवर्गीय के यहां शादी में नहीं गए इससे कार्यकर्ताओं में अच्छा संदेश गया है।
इंदौर, राज्य ब्यूरो। मध्य प्रदेश में कमलनाथ सरकार के मंत्री सज्जनसिंह वर्मा ने कहा है कि प्रदेश के मुख्यमंत्री की किचन कैबिनेट में अधिकारी हैं और उन्हीं की सिफारिश पर इंदौर जैसी 'चाशनी' वाली जगह पर अधिकारियों को भेजा जा रहा है। प्रदेश में जनता की सरकार तो आ गई है, लेकिन अभी कार्यकर्ताओं की सरकार नहीं आई। उसकी वजह यही है।
मंत्री वर्मा ने साधा दिग्विजय पर निशाना, कहा- कार्यकर्ताओं को हतोत्साहित कर रहे हैं
दरअसल, रविवार को इंदौर के कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने स्थानीय रेस्त्रां में एक सम्मेलन रखा था। 'दिल की बात' थीम पर रखे गए इस सम्मेलन में कार्यकर्ताओं से बात करते हुए मंत्री वर्मा ने उक्त बातें कहीं। वर्मा ने पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह को भी आड़ेहाथों लेते हुए कहा कि भाजपा नेता कैलाश विजयवर्गीय के साथ कान में फुसफुसाते फोटो जारी कर वे कार्यकर्ताओं को हतोत्साहित कर रहे हैं।
मंत्री ने कहा- जब दिग्विजय सीएम थे तो कलेक्टर-एसपी होते थे उनके आंख-कान
वे यह भी कहने से नहीं चूके कि हम दिग्विजय सिंह के जमाने में फेल ही इसलिए हुए क्योंकि मुख्यमंत्री रहते उनके आंख, नाक, कान कलेक्टर-एसपी हुआ करते थे। कार्यकर्ता बहुत पीछे चला गया था।
वर्मा ने सुनाया पुराना किस्सा
दिग्विजय सिंह के मुख्यमंत्री काल का एक और किस्सा सुनाया। वर्मा बोले कि तब देवास के कांग्रेस नेता जयसिंह ठाकुर को गिरफ्तार किया गया था। मैंने मुख्यमंत्री से फोन पर तत्कालीन देवास एसपी संजीव शमी की बात कराई तो उन्होंने इस अंदाज में बात की कि मुझे फोन छीनना पड़ा।
विजयवर्गीय से दिग्विजय की निकटता गलत संदेश दे रहा
वर्मा ने कैलाश विजयवर्गीय से दिग्विजय सिंह की बार-बार मुलाकातों और गले मिलते कान में बात करते फोटो जारी होने पर कहा कि शादी-ब्याह में आना जुर्म नहीं, लेकिन जिस तरह का वातावरण बनता है, उससे कार्यकर्ता मन मसोसता है कि हो क्या रहा है। सोचता है कि वे ही आज भी पॉवरफुल हैं जो 15 साल तक रहे और जनता का खून चूसते रहे।
कबीले की नहीं, सरदार की फिक्र
इस मौके पर कार्यकर्ताओं ने कहा कि किसी को फिक्र नहीं है कि कबीले का क्या होगा सब ये सोचते हैं कि सरदार कौन होगा। जिले के प्रभारी मंत्री बाला बच्चन की कार्यप्रणाली पर भी कार्यकर्ताओं ने सवाल उठाए। युवा कांग्रेस के पिंटू जोशी ने कहा कि निगम के प्रशासक बने आकाश त्रिपाठी का पीए उसे बना दिया गया जो वर्षो से भाजपा-आरएसएस का कार्यकर्ता है। मुख्यमंत्री कमलनाथ कैलाश विजयवर्गीय के यहां शादी में नहीं गए, इससे कार्यकर्ताओं में अच्छा संदेश गया है।