यौन उत्पीड़न से जुड़े कानूनी ढांचे को मजबूत बनाने के उपाय सुझाएगा मंत्री समूह
विदेश राज्यमंत्री एमजे अकबर को भी इन्हीं आरोपों के चलते अपना पद छोड़ना पड़ा है।
नई दिल्ली, प्रेट्र/रायटर। कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न की घटनाओं पर रोक लगाने और ऐसे मामलों से निपटने के कानूनी और संस्थागत ढांचे को मजबूत बनाने के लिए केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में एक मंत्री समूह का गठन किया गया है। इसमें दो पुरुष और दो महिला मंत्री शामिल किए गए हैं।
राजनाथ सिंह की अध्यक्षता वाले समूह में दो पुरुष और दो महिला मंत्री
गृह मंत्रालय के एक अधिकारी के मुताबिक, मंत्री समूह में राजनाथ सिंह के अलावा सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी, रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण और महिला एवं बाल विकास मंत्री मेनका गांधी शामिल हैं। यह मंत्री समूह गठन के तीन महीने के भीतर कार्यस्थल पर महिलाओं के यौन उत्पीड़न के मामलों से निपटने के लिए वर्तमान कानूनी और संस्थागत ढांचे की समीक्षा करेगा और वर्तमान प्रावधानों को प्रभावी रूप से लागू करने के लिए जरूरी कार्रवाई की सिफारिश करेगा।
मंत्रालय का कहना है कि सरकार कार्यस्थलों पर महिलाओं की सुरक्षा और उनका सम्मान सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है। एक अन्य सरकारी बयान के मुताबिक, महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने उत्पीड़न मामलों के लिए 'इलेक्ट्रॉनिक शिकायत पेटिका' भी शुरू की है।
मालूम हो कि सरकार ने उक्त कदम देश में जारी 'मी टू' अभियान के मद्देनजर उठाए हैं। इस अभियान के तहत कई महिलाओं ने कई ऐसे लोगों के नाम सार्वजनिक किए हैं जिन्होंने कार्यस्थल पर उनका उत्पीड़न किया था। संपादक रहे विदेश राज्यमंत्री एमजे अकबर को भी इन्हीं आरोपों के चलते अपना पद छोड़ना पड़ा है। उनके खिलाफ उनकी पूर्व सहकर्मियों ने आरोप लगाए हैं।