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कर्नाटक सरकार ने येदियुरप्पा को दी कैबिनेट रैंक की सुविधाएं, 26 जुलाई को पद से दिया था इस्तीफा

कर्नाटक सरकार ने पूर्व मुख्यमंत्री बी एस येदियुरप्पा ( BS Yediyurappa) को कैबिनेट स्तर के मंत्रियों के बराबर सभी सुविधाएं मुहैया कराईं हैं। यह तब तक लागू रहेगा जब तक कि बसवराज बोम्मई मुख्यमंत्री पद पर बने रहेंगे।

By Manish PandeyEdited By: Published: Sun, 08 Aug 2021 08:23 AM (IST)Updated: Sun, 08 Aug 2021 08:23 AM (IST)
कर्नाटक सरकार ने येदियुरप्पा को दी कैबिनेट रैंक की सुविधाएं, 26 जुलाई को पद से दिया था इस्तीफा
बोम्मई के मुख्यमंत्री रहने तक जारी रहेंगी सुविधाएं

बेंगलुरु, प्रेट्र। कर्नाटक की बोम्मई सरकार ने पूर्व मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा के लिए कैबिनेट मंत्री वाली सुविधाएं स्वीकृत की हैं। इस बाबत आदेश जारी हो गया है। ये सुविधाएं बोम्मई के मुख्यमंत्री रहने तक जारी रहेंगी। तमाम तरह के कयासों के बीच येदियुरप्पा ने 26 जुलाई को अपने पद से इस्तीफा दिया था। उनका इस्तीफा भाजपा की 75 वर्ष की उम्रसीमा को लेकर बनी नीति के चलते हुआ। इस नीति के तहत येदियुरप्पा अब विधायक के अतिरिक्त किसी अन्य पद पर नहीं रह सकते हैं। आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, वेतन के अलावा, कैबिनेट रैंक के मंत्री को वाहन, आधिकारिक आवास, आदि के लिए कुछ भत्ते और सुविधाएं मिलती हैं।

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कर्नाटक में बोम्मई ने बांटे विभाग

कर्नाटक में मुख्यमंत्री बासवराज बोम्मई ने शनिवार को अपने मंत्रियों के बीच विभागों का बंटवारा कर दिया। ज्यादातर मंत्रियों को वही विभाग दिए गए हैं जो उनके पास बीएस येदियुरप्पा सरकार में थे। बोम्मई ने बुधवार को मंत्रिमंडल गठन में 29 में से 23 मंत्री वही बनाए जो येदियुरप्पा सरकार में थे। छह मंत्री नए हैं।

कांग्रेस-जेडीएस से आकर मंत्री बने दो नेताओं ने जताया असंतोष

बोम्मई ने अप्रत्याशित फैसला लेते हुए अरगा जनानेंद्र को गृह और वी सुनील कुमार को ऊर्जा, कन्नड़ और संस्कृति विभाग दिए हैं। 17 मंत्रियों को वही विभाग दिए गए हैं जो उनके पास येदियुरप्पा सरकार में थे। इनमें से आठ वे हैं जो कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन छोड़कर भाजपा के साथ आए थे। बोम्मई के मंत्रिमंडल में कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन से भाजपा में आए कुल दस मंत्री हैं। इनमें शामिल आनंद सिंह और एमटीबी नागराज ने अपने विभाग बदले जाने पर असंतोष जताया है। मुख्यमंत्री बोम्मई ने कहा है कि वह इन मंत्रियों से बात करेंगे और इनकी शंकाओं का समाधान करेंगे। जिन दो विधायकों को मंत्रिमंडल में शामिल नहीं किया गया है, उनमें शामिल आर शंकर ने कड़ा एतराज जताया है। कांग्रेस-जेडीएस से आए इन विधायकों की वजह से ही 2019 में भाजपा कर्नाटक की सत्ता में वापस लौटी थी।

वफादारों को मिली मलाई

जो छह नए मंत्री बनाए गए हैं, वे लंबे समय से भाजपा के प्रति वफादार हैं या फिर उनकी पृष्ठभूमि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की है। प्रमुख विभाग पाने वाले जनानेंद्र और सुनील कुमार इसी पृष्ठभूमि वाले हैं। अन्य चार- केएस ईश्वरप्पा को ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज विभाग, आर अशोका को राजस्व, कोटा श्रीनिवास पुजारी को समाज कल्याण एवं पिछड़ा वर्ग और बीसी नागेश को शिक्षा विभाग सौंपे गए हैं। मुख्यमंत्री ने अपने पास नियुक्ति और प्रशासनिक सुधार विभाग, राजस्व, खुफिया, कैबिनेट मामले और बेंगलुरु विकास विभाग रखे हैं।


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