कमल नाथ पर चीनी कंपनी को नियम विरुद्ध 271 करोड़ रुपये का ठेका देने का आरोप
भाजपा विधायक अजय विश्नोई का आरोप है कि सरकार गिरने से पहले तत्कालीन सीएम कमल नाथ के दबाव में मप्र पावर ट्रांसफार्मर कंपनी ने 271 करोड़ रुपयों का ठेका एक चीनी कंपनी को दे दिया।
जबलपुर, राज्य ब्यूरो। मप्र की कांग्रेस सरकार गिरने के ठीक पहले 17 मार्च 2020 को तत्कालीन मुख्यमंत्री कमल नाथ के दबाव में मप्र पावर ट्रांसफार्मर कंपनी ने टेंडर की शर्तों का उल्लंघन करते हुए 271 करोड़ रुपयों का ठेका एक चीनी कंपनी को दे दिया है। इस ठेके में करोड़ों का लेन-देन हुआ है।
मप्र के पूर्व मंत्री अजय विश्नोई का आरोप
यह आरोप लगाते हुए जबलपुर के पाटन से भाजपा विधायक व पूर्व मंत्री अजय विश्नोई ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को पत्र लिखा है। उन्होंने टेंडर की शर्तो का उल्लंघन करके दिए गए इस ठेके को अविलंब निरस्त करने की मांग की है। गौरतलब है कि सिंधिया समर्थक 22 विधायकों द्वारा समर्थन वापस लेने के बाद 20 मार्च को कमल नाथ ने सीएम पद से इस्तीफा दे दिया था। यह ठेका उससे चंद दिन पहले का बताया गया है।
चीनी कंपनी ने पूरा ऑर्डर खुद लिया कमल नाथ की मदद से
विश्नोई ने पत्र में कहा है कि ठेका प्रदेश में विद्युत के द्वारा ट्रांसमीट करने के लिए, फाइबर नेटवर्क स्थापित करने के लिए है। सामरिक महत्व के आंकड़ों को चोरी से बचाने के लिए ऐसा काम चीनी कंपनी को देना खतरनाक हो सकता है। उन्होंने बताया है कि टेंडर नं. टीआर-19/2019 की शर्त क्रमांक 38.5 में स्पष्ट था कि पूरा काम एक ही कंपनी को नहीं दिया जाएगा। एल-1 को 50 प्रतिशत, एल-2 को 30 प्रतिशत और एल-3 को 20 प्रतिशत काम देना इस शर्त में लिखा है। चूंकि काम सबको मिलना था, इसलिये सबने मिलीभगत से रेट ज्यादा भरे, परंतु चीनी कंपनी ने बाकी कंपनियों को धोखा देते हुए तत्कालीन मुख्यमंत्री कमल नाथ की मदद से 271 करोड़ रपयों का पूरा ऑर्डर खुद ले लिया।
विधायक अजय विश्नोई ने पत्र में बताया है कि चीनी कंपनी का नाम जेटीटी है। 2013 में इस कंपनी ने जेटीटी इंडिया प्रा. लिमि. नाम की एक कंपनी बना ली है। इसी के नाम पर यह 271 करोड़ रपये का ठेका लिया गया है, जिसे निरस्त करने की मांग की गई है।