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सैनिटरी नैपकिन की चर्चा करने के लिए ट्विटर पर मोदी की प्रशंसा, अक्षय कुमार ने भी की तारीफ

Independence Day 2020 इस पर बॉलीवुड अभिनेता अक्षय कुमार ने कहा कि हमारे प्रधानमंत्री स्वतंत्रता दिवस संबोधन के दौरान सैनिटरी पैड की चर्चा कर रहे हैं। यह सच्ची प्रगति है।

By Dhyanendra SinghEdited By: Published: Sat, 15 Aug 2020 08:43 PM (IST)Updated: Sat, 15 Aug 2020 08:50 PM (IST)
सैनिटरी नैपकिन की चर्चा करने के लिए ट्विटर पर मोदी की प्रशंसा, अक्षय कुमार ने भी की तारीफ
सैनिटरी नैपकिन की चर्चा करने के लिए ट्विटर पर मोदी की प्रशंसा, अक्षय कुमार ने भी की तारीफ

नई दिल्ली, प्रेट्र। स्वाधीनता दिवस पर दिए गए भाषण के दौरान सैनिटरी नैपकिन का जिक्र करने के लिए ट्विटर उपयोगकर्ताओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रशंसा की है। उन्होंने कहा कि इससे मासिक धर्म से जुड़ी वर्जनाओं को तोड़ने में मदद मिलेगी। मोदी ने कहा था कि प्रधानमंत्री जन औषधि केंद्र योजना के तहत महिलाओं के सशक्तीकरण और उनके स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए सरकार ने उन्हें एक रुपये में सैनिटरी नैपकिन देना शुरू किया है। उन्होंने कहा कि 6,000 जन औषधि केंद्रों से कम समय में ही पांच करोड़ से अधिक सैनिटरी नैपकिन उपलब्ध कराए जा चुके हैं।

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इस पर बॉलीवुड अभिनेता अक्षय कुमार ने कहा कि हमारे प्रधानमंत्री स्वतंत्रता दिवस संबोधन के दौरान सैनिटरी पैड की चर्चा कर रहे हैं। यह सच्ची प्रगति है। एक ट्विटर उपयोगकर्ता ने कहा कि यह किसी प्रधानमंत्री के लिए दुर्लभ है कि वे राष्ट्र के नाम संबोधन के दौरान मासिक धर्म का जिक्र करें। इससे वर्जनाओं को तोड़ने में मदद मिलेगी।

एक अन्य यूजर ने लिखा, प्रधानमंत्री मोदी का इस बात के लिए धन्यवाद कि उन्होंने लालकिले से सैनिटरी पैड का जिक्र किया। इससे पुरुष जान सकेंगे कि महिलाओं का किस तरह सम्मान किया जाना चाहिए। एक यूजर ने लिखा कि प्रधानमंत्री ने दूसरों के लिए एक उदाहरण स्थापित किया है।

कोरोना वॉरियर्स की पीएम मोदी ने की तारीफ

लाल किले में दिए भाषण के दौरान पीएम मोदी ने कहा कि कोरोना के इस असाधारण समय में, सेवा परमो धर्म: की भावना के साथ, अपने जीवन की परवाह किए बिना हमारे डॉक्टर्स, नर्से, पैरामेडिकल स्टाफ, एंबुलेंस कर्मी, सफाई कर्मचारी, पुलिसकर्मी, सेवाकर्मी, अनेको लोग, चौबीसों घंटे लगातार काम कर रहे हैं। विस्तारवाद की सोच ने सिर्फ कुछ देशों को गुलाम बनाकर ही नहीं छोड़ा, बात वही पर खत्म नहीं हुई। भीषण युद्धों और भयानकता के बीच भी भारत ने आजादी की जंग में कमी और नमी नहीं आने दी।


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