Congress President: संसद सत्र के बाद हो सकती है नए कांग्रेस अध्यक्ष की घोषणा, कई नामों पर चर्चा
Congress president कांग्रेस के नये अध्यक्ष का चयन करने के लिए कार्यसमिति की बैठक संसद सत्र के तत्काल बाद बुलाए जाने के संकेतों ने पार्टी में नेतृत्व की सरगर्मी को फिर बढ़ा दिया है
संजय मिश्र, नई दिल्ली। Congress President: कांग्रेस के नये अध्यक्ष का चयन करने के लिए कार्यसमिति की बैठक संसद सत्र के तत्काल बाद बुलाए जाने के संकेतों ने पार्टी में नेतृत्व की दौड़ की सरगर्मी को एक बार फिर बढ़ा दिया है। पार्टी के सियासी गलियारे में शुरू हुई चर्चाओं को संकेत माना जाए तो राहुल गांधी के उत्तराधिकारी के तौर पर कांग्रेस कार्यसमिति 'अंतरिम अध्यक्ष' का चयन करेगी। अंतरिम अध्यक्ष की नियुक्ति के साथ ही संगठन चुनाव कराने का विकल्प चुन पार्टी पूर्णकालिक अध्यक्ष का चयन चुनाव के जरिये कराने का भी फैसला कर सकती है।
पार्टी में नये अध्यक्ष के चयन को लेकर जगी इन उम्मीदों के साथ ही नेतृत्व की दौड़ में शामिल चेहरों की संभावनाओं पर सियासी गुणा-भाग शुरू हो गया है। पार्टी के सियासी गलियारों में कांग्रेस अध्यक्ष पद की इस दौड़ में एक और नया नाम पूर्व केंद्रीय मंत्री कुमारी शैलजा का भी जुड़ गया है।
शैलजा का नाम संभावितों की सूची में आने से साफ है कि पार्टी नये अध्यक्ष के चयन में सामाजिक समीकरणों से जुड़ी सियासत पर भी गंभीरता से गौर कर रही है। राहुल गांधी के उत्तराधिकारी के तौर पर जिन आठ चेहरों की पार्टी के गलियारों में चर्चा है उसमें पांच दलित समुदाय से हैं।
मुकल वासनिक और मल्लिकार्जुन खड़गे के साथ दलित समुदाय के इन पांच चेहरों में शैलजा भी एक हैं जो इस समय राज्यसभा की सदस्य हैं। यूपीए सरकार में कैबिनेट मंत्री रहीं शैलजा की गैर विवादित छवि और मृदुभाषी स्वभाव के साथ गांधी परिवार से निकटता उनकी खास राजनीतिक पूंजी है।
सियासी अनुभव के लिहाज से भी वे युवा और बुजुर्ग दोनों के बीच आती हैं। गांधी परिवार के भरोसे के अलावा पार्टी के युवा और बुजुर्ग नेताओं को साधे रहने के दृष्टिकोण के हिसाब से शैलजा नेतृत्व की कसौटी पर मुकुल वासनिक के लिए चुनौती बन सकती हैं।
लोकसभा चुनाव की हार के बाद हिन्दी भाषी चेहरे को कांग्रेस का नेतृत्व सौंपने की पार्टी में शिद्दत से महसूस की जा रही जरूरत की कसौटी पर भी कुमारी शैलजा एक विकल्प के तौर पर देखी जा रही हैं। हरियाणा में अभी विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। ऐसे में कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष की कमान सूबे की नेता को सौंपे जाने का फायदा मिलने की संभावनाओं का हिसाब-किताब लगाने वाले भी पार्टी में कम नहीं हैं।
कांग्रेस और उसके नेतृत्व पर भाजपा जिस तरह हमलावर ही नहीं, बेहद कटु रही है उसे देखते हुए पार्टी की बागडोर किसी महिला को सौंपने पर राय बनी तो शैलजा गंभीर दावेदारों में होंगी। पूर्व लोकसभा अध्यक्ष मीरा कुमार भी कांग्रेस अध्यक्ष के संभावित चेहरों में एक हैं मगर उम्र के लिहाज से शैलजा उनके मुकाबले युवा हैं।
बहरहाल, कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक 10 अगस्त को बुलाए जाने की संभावनाएं जताई जा रही है। इस बैठक में राहुल का इस्तीफा स्वीकार कर कांग्रेस का अंतरिम अध्यक्ष चुने जाने की उम्मीद की जा रही है। माना जा रहा कि कांग्रेस के नये अध्यक्ष के चयन में राहुल गांधी के नजरिये की अनदेखी नहीं की जा सकेगी। गांधी परिवार से बाहर के व्यक्ति को कांग्रेस की बागडोर सौंपने के उनके ऐलान के बाद से ही इन चारों के अलावा दलित समुदाय से पूर्व गृहमंत्री सुशील कुमार शिंदे का नाम दावेदारों में गिना जा रहा है।
दिलचस्प बात यह भी है कि सोनिया गांधी के निकट माने जाने वाली शैलजा को लेकर राहुल गांधी का रुख पहले से ही सकारात्मक रहा है। राहुल ने लोकसभा चुनाव के बाद हरियाणा में पार्टी के अंदरूनी झगड़े को खत्म करने के लिए शैलजा को प्रदेश कांग्रेस का नेतृत्व सौंपने का विचार भी बनाया था मगर सूबे के नेताओं की भयंकर गुटबाजी के चलते बाते आगे नहीं बढ़ी।
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