Move to Jagran APP

ये Task Force साकार करेगी मोदी सरकार का सपना, छह राज्यों की होगी अहम भूमिका

EXCLUSIVE केंद्र सरकार ने ग्रुप ऑफ मिनिस्टर्स की तर्ज पर इसका गठन किया है। इसमें छह राज्यों का सीधा प्रतिनिधित्व होगा। देश हित में इस कदम को काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा।

By Amit SinghEdited By: Published: Fri, 23 Aug 2019 02:31 PM (IST)Updated: Sat, 24 Aug 2019 09:52 AM (IST)
ये Task Force साकार करेगी मोदी सरकार का सपना, छह राज्यों की होगी अहम भूमिका
ये Task Force साकार करेगी मोदी सरकार का सपना, छह राज्यों की होगी अहम भूमिका

नई दिल्ली [हरिकिशन शर्मा]। जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 खत्म करने का मामला हो या बालाकोट एयर स्ट्राइक या फिर जीएसटी जैसा फैसला, मोदी सरकार ने कदम-दर-कदम ये साबित किया है कि वह कड़े फैसले से न तो हिचकती है और न ही पीछे हटती है। इसी कड़ी में केंद्र सरकार ने अब एक और अहम फैसला लिया है। इस फैसले के तहत मोदी सरकार की महत्वपूर्ण योजना कों पूरा करने के लिए विशेष टास्क फोर्स (Task Force) गठित करने का फैसला लिया गया है।

loksabha election banner

इस टास्क फोर्स की जिम्मेदारी होगी कि वह केंद्र की एनडीए सरकार की महत्वाकांक्षी योजनाओं को मूर्त रूप देने का खाका तैयार करे। खास बात ये है कि इस टास्क फोर्स में सशस्त्र बल के जवान नहीं, बल्कि राज्यपालों को शामिल किया गया है। इसे नाम दिया गया है 'ग्रुप ऑफ गवर्नर्स' (GoG)। केंद्र सरकार के अनुसार इस गठन 'ग्रुप ऑफ मिनिस्टर्स' (GoM) की तर्ज पर किया गया है। GoM की तर्ज पर बनाए गए GoG छह राज्य के राज्यपालों को शामिल किया गया है।

ये होगी GoG की जिम्मेदारी
ग्रुप ऑफ गवर्नर्स (GoG), केंद्र सरकार की शिक्षा व जलशक्ति संबंधी योजनाओं से लेकर किसान और आदिवासियों से जुड़ी विभिन्न सरकारी योजनाओं पर काम करेगी। GoG इन योजनाओं पर मंथन कर अपनी रिपोर्ट भी तैयार करेगी। रिपोर्ट की सिफारिशों को इस साल नवंबर में होने वाले राज्‍यपालों के सालाना सम्‍मेलन में विचार विमर्श के लिए रखा जाएगा।

तेलंगाना करेगा प्रतिनिधित्व
सूत्रों ने बताया कि तेलंगाना के गवर्नर ईएसएल नरसिम्‍हन को जीओजी का संयोजक बनाया गया है। उनके साथ पांच अन्‍य राज्‍यों के राज्‍यपाल भी इस ग्रुप में बतौर सदस्‍य शामिल हैं। जीओजी की पहली बैठक अगले हफ्ते हो सकती है। सूत्रों के अनुसार, जीओजी में शामिल तमिलनाडु के राज्‍यपाल बनवारीलाल पुरोहित, जलशक्ति के विषय पर विचार करेंगे। मालूम हो कि मोदी सरकार-2 में जल संरक्षण और पेयजल आपूर्ति पर विशेष फोकस है।

चुनावी घोषणा पत्र में किया था वादा
भाजपा ने लोक सभा चुनाव 2019 के अपने घोषणापत्र में भी सभी परिवारों को पेयजल मुहैया कराने और जलशक्ति मंत्रालय के गठन का वादा किया था। ऐसे में राज्‍यपालों का इस विषय पर मंथन करना बेहद अहम है। इसी तरह जीओजी की सदस्‍य और झारखंड की राज्‍यपाल द्रौपदी मुर्मू आदिवासी मामलों पर रिपोर्ट तैयार करेंगी।

ऐसी होगी गुजरात की भूमिका
इसी तरह गुजरात के राज्‍यपाल आचार्य देवव्रत को किसान और कृषि क्षेत्र की चुनौतियों और संभावनाओं पर विचार विमर्श का जिम्‍मा सौंपा गया है। मोदी सरकार ने 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने का लक्ष्‍य रखा है। इसलिए यह क्षेत्र सरकार की प्राथमिकता में ऊपर है।

नवंबर में होगा राज्यपालों का वार्षिक सम्मेलन
वहीं उत्‍तर प्रदेश की राज्‍यपाल आनन्‍दीबेन पटेल को शिक्षा और पश्चिम बंगाल के राज्‍यपाल जगदीप धनखड़ को सुशासन के मुद्दे पर विचार करने का जिम्‍मा सौंपा गया है। सूत्रों ने बताया कि जीओजी, नवंबर में होने वाले राज्‍यपालों के वार्षिक सम्‍मेलन में चर्चा के लिए इन विषयों पर अपनी रिपोर्ट तैयार करेगा। माना जा रहा है कि इनकी सिफारिशों पर इस सम्‍मेलन में चर्चा की जा सकती है। इससे सामाजिक क्षेत्र के कार्यक्रमों के क्रियान्‍वयन में बेहतर समन्‍वय भी सुनिश्चित किया जा सकेगा।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.