अलागिरी-स्टालिन में उत्तराधिकारी की जंग, डीएमके की बैठक में बनेगी रणनीति
अलागिरी के दावों के बीच डीएमके की महत्वपूर्ण बैठक शुरू हो गई है। इसमें जनरल काउंसिल की बैठक की तारीख का एलान किया जा सकता है।
नई दिल्ली, जेएनएन। डीएमके चीफ और तमिलनाडु के पूर्व मुख्यमंत्री एम करुणानिधि के निधन के बाद पार्टी में उत्तराधिकारी की जंग शुरू हो गई है। सोमवार को करुणानिधि के बड़े बेटे अलागिरी ने दावा किया है कि डीएमके के कई नेता उनके साथ हैं। अलागिरी अपने पिता की समाधि पर श्रद्धांजलि देने पहुंचे थे।
अलागिरी के दावों के बीच चेन्नई में डीएमके की महत्वपूर्ण बैठक शुरू हो गई है। इसमें जनरल काउंसिल की बैठक की तारीख का एलान किया जा सकता है। जनरल काउंसिल की बैठक में ही अध्यक्ष पद का नाम का एलान होगा। हालांकि स्टालिन ने कहा है कि बैठक का मकसद करुणानिधि को श्रद्धांजलि देना है। जबकि अलागिरी ने कहा है कि ये बैठक डीएमके अध्यक्ष चुनने के लिए बुलाई गई है।
बता दें करुणानिधि ने काफी पहले ही अपने छोटे बेटे एमके स्टालिन को अपना राजनीतिक उत्तराधिकारी घोषित कर उन्हें डीएमके का कार्यकारी अध्यक्ष बनाया था। वहीं संप्रग सरकार में केंद्रीय मंत्री बने रहने के बाद 2014 में अलागिरी को पार्टी से बर्खास्त कर दिया गया था। लेकिन, अब अलागिरी के बगावती तेवर के बाद स्टालिन के लिए मुश्किलें खड़ी हो सकती हैं। बर्खास्त होने से पहले दोनों भाइयों के बीच उत्तराधिकार को लेकर संघर्ष चरम पर रहा।
गौरतलब है कि करुणानिधि का 7 अगस्त को निधन हो गया था। तमिलनाडु की राजनीति के सबसे करिश्माई नेताओं में गिने जाने वाले करुणानिधि पांच बार मुख्यमंत्री रहे। उनके परिवार में उनकी दो पत्नियां और छह बच्चे हैं। द्रमुक के कार्यकारी अध्यक्ष एमके स्टालिन उनके बेटे हैं। उनकी बेटी कनीमोरी राज्यसभा की सदस्य हैं।