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Coronavirus: सरकार की सख्ती के बाद ममता के रुख में आई नरमी, केंद्र के सहयोग की बात कही

Coronavirus ममता सरकार ने इसके साथ ही राज्य में जमीनी स्थिति का आकलन करने वाली दो केंद्रीय टीमों का पूर्ण सहयोग करने का भी आश्वासन दिया है।

By Shashank PandeyEdited By: Published: Wed, 22 Apr 2020 09:17 AM (IST)Updated: Wed, 22 Apr 2020 09:51 AM (IST)
Coronavirus: सरकार की सख्ती के बाद ममता के रुख में आई नरमी, केंद्र के सहयोग की बात कही
Coronavirus: सरकार की सख्ती के बाद ममता के रुख में आई नरमी, केंद्र के सहयोग की बात कही

नई दिल्ली, प्रेट्र। Coronavirus, कोरोना वायरस लॉकडाउन पर केंद्र की मोदी सरकार के सख्त रुख के बाद बंगाल में सीएम ममता बनर्जी के रुख में नरमी आई है।बंगाल सरकार ने केंद्र को आश्वासन दिया है कि वह वर्तमान में जारी लॉकडाउन से संबंधित सभी आदेशों का पालन करेगी। ममता सरकार ने इसके साथ ही राज्य में जमीनी स्थिति का आकलन करने वाली दो केंद्रीय टीमों का पूर्ण सहयोग करने का भी आश्वासन दिया है।केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला को लिखे एक पत्र में पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव राजीव सिन्हा ने कहा कि यह तथ्य नहीं है कि दो अंतर मंत्रालयी केंद्रीय टीमें (IMCTs) राज्य सरकार द्वारा किसी भी सहयोग के साथ प्रदान नहीं की गई हैं क्योंकि उनकी एक टीम के साथ दो बैठकें हुई थीं और फिलहाल एक और टीम के साथ बैठक होने वाली है।

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राज्य के मुख्य सचिव ने केंद्रीय गृह सचिव को बताया कि यह आपदा प्रबंधन अधिनियम के साथ-साथ माननीय सर्वोच्च न्यायालय के निर्देशों के तहत जारी केंद्र सरकार के आदेशों के कार्यान्वयन के लिए मेरे सर्वोच्च आश्वासन को व्यक्त करने के लिए है।

दरअसल, केंद्रीय दिशानिर्देशों को लेकर अक्सर अक्खड़ रहने वाला बंगाल कोरोना के संकट काल में भी बदलने को तैयार नहीं दिख रहा है। प्रदेश में कुछ जगहों पर लापरवाही के कारण तेजी से पैर पसार रहे कोरोना की रोकथाम के लिए गई केंद्रीय टीमों को स्थानीय प्रशासन ने सहयोग और जरूरी सुविधा नहीं दी। इसके चलते 30 घंटे से ज्यादा वक्त तक वरिष्ठ अधिकारियों की केंद्रीय टीम कमरे के अंदर ही बंद रही। जब केंद्र सरकार ने आपदा कानून के सख्य नियमों का हवाला दिया तो थोड़ा असर हुआ।

मंगलवार शाम को कोलकाता स्थित केंद्रीय टीम को बीएसएफ और स्थानीय पुलिस के संरक्षण में कुछ इलाकों के दौरे पर जाते देखा गया, लेकिन जलपाईगुड़ी गई केंद्रीय टीम सर्किट हाउस में ही बंद रही। स्थानीय प्रशासन ने वहां कोई मदद नहीं की।

एक दिन पहले मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के बयानों से इसका संकेत मिल गया था कि प्रशासन का मंसूबा कुछ और है।केंद्र सरकार ने चार राज्यों में कोरोना के बढ़ते केसों और उनके दोगुना होने की तेज गति को देखते हुए इसकी रोकथाम के उपायों की निगरानी के लिए छह अंतर-मंत्रलयी टीमें भेजने का फैसला किया था। गृह मंत्रालय की संयुक्त सचिव पुण्य सलिला श्रीवास्तव के अनुसार महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश और राजस्थान में इन टीमों को राज्य सरकार का भरपूर सहयोग मिल रहा है, लेकिन बंगाल में उन्हें राज्य सरकार और स्थानीय प्रशासन से सहयोग नहीं मिल रहा है।

केंद्रीय टीमों को कोरोना प्रभावित क्षेत्रों में जाने से रोका जा रहा है। उनको राज्य में स्वास्थ्य कर्मियों से मिलने का अवसर नहीं दिया जा रहा है। न ही जमीनी हालात का आकलन करने दिया जा रहा है। ये आपदा प्रबंधन अधिनियम, 2005 के तहत केंद्र सरकार के आदेशों का सरासर उल्लंघन है। गृह सचिव ने राज्य सरकार को पत्र लिखकर निर्देश दिया है कि वह गृह मंत्रलय के 19 अप्रैल, 2020 के आदेश का पालन करे। सभी जरूरी इंतजाम सुनिश्चित करे ताकि अंतर मंत्रलयी केंद्रीय टीमें सुचारू रूप से अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन कर पाएं।


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