अंडे को लेकर मंत्री इमरती देवी के बयान को भाजपा ने किया खारिज, कहा- पार्टी पहले भी इसके पक्ष में नहीं रही
भाजपा की दलील है कि मुख्यमंत्री के स्तर पर अभी इस बारे में कोई फैसला नहीं हुआ है। पार्टी सत्तापक्ष या विपक्ष में रहते हुए अंडा खिलाए जाने के पक्ष में पहले भी नहीं रही है।
भोपाल, राज्य ब्यूरो। महिला एवं बाल विकास मंत्री इमरती देवी के बच्चों को अंडा खिलाए जाने के फरमान को लेकर बहस तेज हो गई है। जैन और ब्राह्मण समाज इसका विरोध कर रहा है। रविवार को इमरती देवी ने कहा, 'हम कुपोषण खत्म करना चाहते हैं, जिसे अंडा खाना हो खाएं और जिसे नहीं खाना हो, न खाएं। हम जबरदस्ती अंडा देने नहीं जा रहे हैं। दूसरी तरफ भाजपा की दलील है कि मुख्यमंत्री के स्तर पर अभी इस बारे में कोई फैसला नहीं हुआ है। पार्टी सत्तापक्ष या विपक्ष में रहते हुए अंडा खिलाए जाने के पक्ष में पहले भी नहीं रही है।
सब कहते हैं, संडे हो या मंडे रोज खाओ अंडे : मंत्री
रविवार को पत्रकारों ने इमरती देवी से कुपोषषण खत्म करने के लिए आंगनवाड़ियों में बच्चों को खाने में अंडा दिए जाने की उनकी योजना पर सवाल उठाया तो उनका कहना था, 'यह तो सभी कहते हैं कि संडे हो या मंडे, रोज खाओ अंडे। डॉक्टर भी कहते हैं कि अच्छी सेहत के लिए अंडा खाना अच्छा है। जो अंडा नहीं खाना चाहता है, उसे केला या कोई अन्य पौष्टिक आहार दिया जाएगा।' उन्होंने कहा कि 2014 में मैंने महाराष्ट्र का दौरा किया तो देखा कि कुपोषण खत्म करने के लिए वहां अंडा दिया जाता है।
सरकार के फैसले के साथ
कृष्णा गौर भाजपा के विरोध के बावजूद पार्टी की प्रदेश मंत्री और विधायक कृष्णा गौर भी इमरती देवी के समर्थन में आई हैं और उन्होंने कहा कि जो फैसला सरकार का होगा, वही मेरा होगा। मैं हर फैसले में सरकार के साथ हूं।
कमल नाथ सरकार ने उठाए थे कदम
कांग्रेस उधर, मंत्री इमरती देवी के बयान पर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता दुर्गेश शर्मा का कहना है कि कुपोषण दूर करने के लिए सार्थक कदम उठाए जाने चाहिए। कमल नाथ सरकार ने इस दिशा में जो कदम उठाए थे, उसे ही भाजपा सरकार आगे बढ़ा रही है।
मध्य प्रदेश भाजपा प्रवक्ता रजनीश अग्रवाल ने कहा कि भाजपा का रवैया नहीं बदला मुख्यमंत्री के स्तर पर सरकार ने इस बारे में कोई फैसला नहीं किया है। मंत्री स्वयं संगठन और सीएम से बात करने की बात कह रही हैं। भाजपा के स्तर पर इस मुद्दे पर अभी कोई बदलाव नहीं है।