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surgical strike2 पाकिस्‍तान में बदला ले रहे थे मिराज, इनके बैकअप में थे मिग और जगुआर

एयर स्ट्राइक के लिए अंबाला से उड़े मिग व जगुआर पहुंचे श्रीनगर। जरूरत पड़ने पर इन्‍हें भी अटैक के लिए भ्‍ोजा जा सकता था। जब तक मिराज लौटकर नहीं आए तब तक हवा में रहे मिग और जगुआर।

By Ravi DhawanEdited By: Published: Tue, 26 Feb 2019 09:40 PM (IST)Updated: Wed, 27 Feb 2019 08:50 AM (IST)
surgical strike2 पाकिस्‍तान में बदला ले रहे थे मिराज, इनके बैकअप में थे मिग और जगुआर
surgical strike2 पाकिस्‍तान में बदला ले रहे थे मिराज, इनके बैकअप में थे मिग और जगुआर

पानीपत, जेएनएन। पुलवामा आतंक का बदला लेने के लिए भारतीय एयरफोर्स ने मिराज के साथ ही मिग और जगुआर को भी तैनात किया था। जरूरत पड़ने पर इन्‍हें भी अटैक के लिए भ्‍ोजा जा सकता था। मिराज को बैक स्पॉट देने के लिए अंबाला एयरफोर्स स्टेशन से ही मिग व जगुआर उड़े। सभी जहाज श्रीनगर में अपने एयर फील्ड में ही हवा में घूमकर नजर रखते रहे।

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दरअसल,  अंबाला छावनी में देश का सबसे बड़ा और पुराना एयरफोर्स स्टेशन है। इस एयरफोर्स स्टेशन में सुरक्षा के लिए तैनात सबसे पुराने मिग और जगुआर तैनात हैं। भारतीय सेना व एयरफोर्स में जम्मू के बाद अंबाला को ही सुरक्षा की दृष्टि से आखिरी फिल्टर माना जाता है। इसलिए इस एयर स्ट्राइक के होने से कुछ घंटे पहले ही अंबाला में एयरफोर्स अधिकारियों को जानकारी देकर अलर्ट रहने के आदेश दिए गए थे।

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मंगलवार तड़के मिराज पाकिस्तान सीमा पर पहुंचे और स्ट्राइक शुरू कर दी। वहीं मिराज की सुरक्षा में उसके पीछे अंबाला से गए मिग व जगुआर श्रीनगर में अपने एयर फील्ड में ही हवा में घूमते रहे। इसी तरह अंबाला एयरफोर्स स्टेशन के भी क्षेत्र में तड़के 4 बजे से लेकर दोपहर तक आसमान में लड़ाकू विमान सुरक्षा के लिए मंडराते रहे।

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अंबाला में 19 सितंबर तक राफेल होगा तैनात
सुपरसोनिक लड़ाकू विमान राफेल 19 सितंबर, 2019 को अंबाला एयरफोर्स स्टेशन से उड़ान भरने लगेगा। इस संबंध में बुनियादी ढांचे के लिए पहले चरण में रखरखाव और अपग्रेडेशन का काम आरंभ कर दिया गया है। यह जानकारी सांसद रतन लाल कटारिया ने दी। सांसद ने कहा मंगलवार को भारतीय सेना के वीर जवानों ने अदम्य साहस का परिचय देते हुए पाकिस्तान में घुसकर जैश मोहम्मद के लगभग 300 आंतकियों को जहन्नुम भेजने का काम किया है। इससे सहज ही अनुमान लगाया जा सकता है कि देश की तरफ आंख उठाने वाले दुश्मनों को कतई बक्शा नहीं जाएगा।

अंबाला एयरबेस रणनीतिक लिहाज से काफी अहम
रणनीतिक लिहाज से अंबाला एयरबेस काफी अहम है। वर्ष 1919 में स्थापित एयरफोर्स स्टेशन पाकिस्तानी सीमा से करीब 220 किलोमीटर दूर है। यहां अभी दो स्क्वाड्रन तैनात हैं। पहला जगुआर कॉम्बैट और दूसरी मिग-21 बाइसन। मिग-21 कुछ ही वर्षों में बेड़े से बाहर हो जाएंगे। ऐसे में राफेल महत्वपूर्ण हो जाता है। इसकी तैनाती से पाकिस्तान पर भारत की रणनीतिक बढ़त रहेगी। राफेल बेड़े के लिए वर्तमान बुनियादी ढांचे का इस्तेमाल तो होगा ही, उसे विस्तार भी दिया जाएगा। एयरफोर्स स्टेशन को अपग्रेड किया जा रहा है। पहले चरण में इसके रखरखाव और अपग्रेडेशन का काम आरंभ कर दिया गया।


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