अरुण जेटली बोले- जम्मू-कश्मीर को लेकर सही नहीं था नेहरू का नजरिया,भूल सुधार का वक्त आ गया
वित्त मंत्री अरुण जेटली ने एक बार फिर ब्लॉग लिखकर कांग्रेस और नेहरू परिवार पर हमला बोला है।
नई दिल्ली, जेएनएन। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने एक बार फिर ब्लॉग लिखकर कांग्रेस और नेहरू परिवार पर हमला बोला है। वित्त मंत्री ने अपने इस ब्लॉग में जम्मू कश्मीर को लेकर नेहरू और कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराया है। जेटली ने पूछा कि क्या ये नेहरू की जम्मू कश्मीर को लेकर कार्यप्रणाली सही थी?. क्या कश्मीर को लेकर हमारी नीति उसी दोषपूर्ण नजरिए से संचालित होनी चाहिए या एक अलग नजरिए से, जो कि जमीनी हालात के अनुरूप भी हो।
इसके बाद जेटली ने अपने ब्लॉग में सिलसिलेवार ढंग से जम्मू कश्मीर को लेकर तर्क रखे हैं। जिनमें उन्होंने 35ए सहित कई मुद्दों को लेकर राय रखी है। जेटली ने कहा कि अनुच्छेद 35A संविधान में चुपके से जोड़ा गया था। इससे राज्य में निवेश और रोजगार सृजन रुक गया और इसका खामियाजा राज्य की जनता को भुगतना पड़ रहा है। जम्मू कश्मीर के सम्बंध में नेहरु के दृष्टिकोण उचित नहीं थे। अब समय आ गया है कि हम विशेष दर्जे से अलगाव तक की यात्रा को विराम दें।
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इसके अलावा अरुण जेटली ने कहा कि अनुच्छेद 35ए संविधान में चुपके से जोड़ा गया। इस कारण जम्मू कश्मीर में निवेश और रोजगार सृजन करने में बाधा उत्पन्न हुई। जिस वजह से जम्मू-कश्मीर के लोगों को पीड़ा झेलनी पड़ रही है। जेटली ने सवाल उठाया कि जो कानून पूरे देश में लागू होता है, वह वहां (जम्मू-कश्मीर) में क्यों नहीं लागू होता?. क्या हिंसा, अलगाववाद, शातिर विचारों का प्रसार होना चाहिए? यह नेहरू की ही नीति है, जो कि उल्टी साबित हो रही है।
जेटली ने आगे कहा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार ने फैसला लिया है कि पूरे देश में लागू होने वाला कानून कश्मीर घाटी के लोगों पर भी समान रूप से लागू होगा। जो लोग जम्मू और कश्मीर में विनाशकारी गतिविधियों में जुड़े हैं, उनसे ठीक वैसे ही निपटा जाएगा जैसे बाकी देश में निपटा जाता है।