Tokyo 2020 Paralympics: भाविना पटेल ने रचा दिया इतिहास, गोल्ड मेडल से बस एक कदम दूर
भारतीय स्टार का शानदार खेल जारी है और अब तक वह दो बड़ी खिलाड़ियों को हराकर बाहर कर चुकी हैं। भाविना की वर्ल्ड रैंकिंग 12 है लेकिन सेमीफाइनल मुकाबले में उन्होंने वर्ल्ड नंबर तीन को हराते हुए फाइनल का टिकट पक्का किया।
नई दिल्ली, आनलाइन डेस्क। भारतीय महिला टेबल टेनिस खिलाड़ी भाविन पटेल ने टोक्यो में जारी पैरालिंपिक में शानदार खेल दिखाया है। बेहतरीन खेल के दम पर फाइनल में जगह पक्की कर उन्होंने भारत के गोल्ड की उम्मीद बढ़ा दी है। सेमीफाइनल मैच में उन्होंने चीन की मियाओ को मात देकर फाइनल में जगह बनाई है। अब वह गोल्ड मेडल हासिल करने से एक कदम दूर हैं। अब गोल्ड मेडल हासिल करने के लिए 29 अगस्त यानी रविवार को चीन की ही खिलाड़ी येंग जोउ से खेलेंगी।
भारतीय स्टार का शानदार खेल जारी है और अब तक वह दो बड़ी खिलाड़ियों को हराकर बाहर कर चुकी हैं। भाविना की वर्ल्ड रैंकिंग 12 है लेकिन सेमीफाइनल मुकाबले में उन्होंने वर्ल्ड नंबर तीन को हराते हुए फाइनल का टिकट पक्का किया। शनिवार को खेले गए मुकाबले में भाविना ने महिला एकल क्लास 4 वर्ग के सेमीफाइनल में चीन की झांग मियाओ को 7-11, 11-7, 11-4, 9-11, 11-8 से हराया।
Our champ @BhavinaPatel6 makes it to the final and we could not be happier!!
Bhavina will take on #CHN Ying Zhou in the Gold medal match tomorrow, 29 August at 7:15 AM (IST)
Stay tuned & continue to cheer her on with #Cheer4India messages#Praise4Para #Paralympics pic.twitter.com/6nzYRQUiSX— SAI Media (@Media_SAI) August 28, 2021
भाविना ने सेमीफाइनल मुकाबले में जीत के बाद इसे काफी अहम बताया। उन्होंने कहा, ''आज की यह जीत मेरे लिए एक बहुत बड़ी उपलब्धि है। चाहो जिसे भी देखिए हर कोई हमेशा यही बात कहता है कि चीन को हराना नामुमकिन है लेकिन ऐसा बिल्कुल भी नहीं है और इस बात को आज मैंने साबित कर दिया। अगर आप जीवन में कुछ करने की ठान ले और करना चाहें तो नामुमकिन कुछ भी नहीं होता।''
And that's how she did it! 💪#IND's @BhavinaPatel6's winner that sealed her a spot in the Class 4 #ParaTableTennis gold medal final!
Watch 🎥 👇#Paralympics #Tokyo2020pic.twitter.com/E4N3GXlN6T— #Tokyo2020 for India (@Tokyo2020hi) August 28, 2021
इससे पहले उन्होंने क्लास-चार दौर के क्वार्टर फाइनल में सर्बिया की बोरिस्लावा पेरिच रांकोविच को 11-5, 11-6, 11-7 से मात देते हुए 3-0 से जीत दर्ज की, जिससे उनका पदक पक्का हुआ था।