जेपी समूह के एसडीजेड का आवंटन निरस्त, फार्मूला वन अब प्राधिकरण का हुआ
एक हजार करोड़ की बकाया धनराशि का भुगतान न करने पर प्राधिकरण ने आवंटन निरस्त किया है।
जागरण संवाददाता, ग्रेटर नोएडा। यमुना प्राधिकरण ने जेपी इंटरनेशनल स्पोर्ट्स एसडीजेड (स्पेशल डेवलपमेंट जोन) का बुधवार को आवंटन निरस्त कर दिया। एक हजार करोड़ की बकाया धनराशि का भुगतान न करने पर प्राधिकरण ने आवंटन निरस्त किया है। नवंबर में हुई प्राधिकरण की बोर्ड बैठक में सीईओ को फैसला लेने के लिए अधिकृत किया गया था। एसडीजेड का आवंटन निरस्त होने से बुद्ध अंतरराष्ट्रीय सर्किट फार्मूला वन, क्रिकेट स्टेडियम संकट में आ गया है। अब इस संपत्ति पर प्राधिकरण का अधिकार हो गया है। निरस्त किए गए एसडीजेड की बाजार दर से कीमत करीब बीस हजार करोड़ रुपये आंकी जा रही है।
स्पोर्ट्स गतिविधि के लिए आवंटित किया गया था एसडीजेड
बसपा सरकार के दौरान यमुना प्राधिकरण ने सेक्टर 25 में वर्ष 2009 से 2010 के दौरान जेपी इंटरनेशनल स्पोर्ट्स को करीब एक हजार हेक्टेयर का भूखंड एसडीजेड श्रेणी में स्पोर्ट्स गतिविधि के लिए आवंटित किया गया था। 2009 से 2011 के बीच प्राधिकरण ने कंपनी के पक्ष में 965.73 हेक्टेयर जमीन की लीजडीड की गई। इसके 35 फीसद हिस्से में स्पोर्ट्स को कोर गतिविधि के रूप में तथा शेष अन्य गतिविधियों के लिए मान्य किया गया था।
80 फीसद धनराशि का किस्तों में करना था भुगतान
कंपनी को भूखंड की कीमत का बीस फीसद आवंटन के समय देना था और शेष धनराशि 20 छमाही किस्तों में देने की शर्त थी लेकिन कंपनी ने समय से किस्तों को भुगतान नहीं किया। प्राधिकरण ने उसे 2011 से 2015 के बीच 21 नोटिस भेजे। 2016 में अंतिम नोटिस जारी करते हुए सितंबर 2016 तक बकाया रकम जमा कराने का निर्देश दिया था।
खराब आर्थिक स्थिति का हवाला देते हुए मांगा था समय विस्तार
कंपनी ने अपनी खराब आर्थिक स्थिति का हवाला देते हुए प्राधिकरण से समय विस्तार मांगा था। रिशेड्यूलमेंट पॉलिसी के तहत उसे समय विस्तार दिया गया। 2017 में कंपनी ने बकाया धनराशि के सापेक्ष तीन सौ करोड़ रुपये और जमा कराए थे लेकिन शेष किस्तों का समय से भुगतान नहीं किया। सौ करोड़ की बैंक गारंटी समेत करीब एक हजार करोड़ रुपये बकाया होने पर प्राधिकरण सीईओ डा. अरुणवीर ¨सह ने बुधवार को भूखंड आवंटन निरस्त कर दिया।
फार्मूला वन, क्रिकेट स्टेडियम के अलावा दस आवासीय परियोजना
एसडीजेड में फार्मूला वन, क्रिकेट स्टेडियम के अलावा जेपी इंटरनेशनल स्पोर्ट्स की दस आवासीय परियोजनाएं हैं। इसमें कंट्री होम्स एक व दो, क्राउन, ग्रीनक्रेस्ट होम्स, बॉगेनविलाज, विले एक्सपेंजा, स्पोर्ट्स विले, कासिया, कोवा व बुद्ध सर्किट स्टूडियोज शामिल हैं। इसमें 4605 फ्लैट व भूखंड बेचे जा चुके हैं। कंपनी 2433.41 करोड़ के सापेक्ष कंपनी निवेशकों से 1900 करोड़ रुपये वसूल भी चुकी है। लेकिन आवंटन रद होने के बावजूद निवेशकों के हित सुरक्षित रहेंगे। प्राधिकरण खाली जमीन का नए सिरे से आवंटन कर जुटाई गई पूंजी से अपनी धनराशि की वसूली के अलावा अधूरी परियोजनाओं को पूरा कर निवेशकों को फ्लैट, भूखंड पर कब्जा देगा। इसके अलावा जेपी इंटरनेशनल स्पोर्ट्स ने जिन बिल्डरों को जमीन बेची है। उनके हितों को भी प्राधिकरण सुरक्षित करेगा। उनकी बकाया धनराशि प्राधिकरण वसूल करेगा।
बरकरार रहेगा फार्मूला वन और क्रिकेट स्टेडियम
आवंटन रद होने के बावजूद फार्मूला वन और क्रिकेट स्टेडियम का स्वरूप बरकरार रहेगा। प्राधिकरण इनके संचालन के लिए निजी कंपनी के साथ समझौता करेगा। इसके लिए वैश्विक निविदा जारी हो सकती हैं।