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भारत ने शतरंज ओलंपियाड जीतकर रचा इतिहास, इंटरनेट कनेक्शन कटने से दो टीम बनीं चैंपियन

Chess olympiad 2020 का संयुक्त विजेता भारत और रूस को घोषित किया गया है क्योंकि भारतीय खिलाड़ियों का इंटरनेट कनेक्शन कट गया था।

By Vikash GaurEdited By: Published: Mon, 31 Aug 2020 08:17 AM (IST)Updated: Mon, 31 Aug 2020 08:17 AM (IST)
भारत ने शतरंज ओलंपियाड जीतकर रचा इतिहास, इंटरनेट कनेक्शन कटने से दो टीम बनीं चैंपियन
भारत ने शतरंज ओलंपियाड जीतकर रचा इतिहास, इंटरनेट कनेक्शन कटने से दो टीम बनीं चैंपियन

नई दिल्ली, जागरण न्यूज नेटवर्क। भारत ने रविवार को पहली बार शतरंज ओलंपियाड जीतकर इतिहास रच दिया। भारत को ऑनलाइन शतरंज ओलंपियाड के फाइनल मुकाबले में रूस के साथ संयुक्त विजेता घोषित किया गया। भारत ने पहली बार इस ओलंपियाड में स्वर्ण पदक जीता है, जबकि रूस ने इसे 24 बार (18 बार सोवियत संघ) जीता है।

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फाइनल में उस वक्त अजीबोगरीब स्थिति हो गई जब भारतीय टीम के सदस्य निहाल सरीन और दिव्या देशमुख का इंटरनेट कनेक्शन चला गया। शतरंज ओलंपियाड के फाइनल में दूसरे राउंड में ऐसा हुआ, जिसके बाद भारत ने आधिकारिक अपील की। इसकी जांच के बाद फिडे अध्यक्ष आर्केडी ड्वोरकोविक ने दोनों टीमों को ही स्वर्ण पदक देने का फैसला किया।

यह पहली बार है जब अंतरराष्ट्रीय शतरंज महासंघ (फिडे) ने ऑनलाइन प्रारूप में ओलंपियाड का आयोजन करवाया है। कोविड-19 महामारी की वजह से ऐसा किया गया। इस दौरान भारतीय टीम में विदित गुजराती, पूर्व विश्व चैंपियन विश्वनाथन आनंद, कोनेरू हंपी, डी हरिका, आर प्रागनानंदा, पी हरिकृष्णा, निहाल सरीन और दिव्या देशमुख ने फाइनल मुकाबले में रूस के खिलाफ देश का प्रतिनिधित्व किया।

फाइनल मुकाबले में पहले रूस को शतरंज ओलंपियाड का विजेता घोषित किया गया, लेकिन भारत ने अपील दायर की और जांच के बाद भारत और रूस दोनों को संयुक्त विजेता घोषित किया गया। यह पहली बार था जब भारत फिडे शतरंज ओलंपियाड के फाइनल में पहुंचा था। इससे पहले ओलंपियाड में भारत का सबसे अच्छा प्रदर्शन 2014 में आया था तब उसके झोली में कांस्य पदक आया था।

फाइनल का पहला दौर 3-3 से बराबर रहा था। पहली छह बाजियां बराबरी पर छूटी थीं। रूस ने दूसरा दौर 4.5-1.5 से जीता। उसकी तरफ से आंद्रेई एस्पिेंको ने सरीन को, जबकि पोलिना शुवालोवा ने देशमुख पर जीत दर्ज की। इससे विवाद हो गया, क्योंकि भारतीयों ने दावा किया कि खराब कनेक्शन के कारण उन्हें हार मिली।

पहले दौर में गुजराती ने नेपोमिनियात्ची से ड्रॉ खेला, जबकि हरिकृष्णा और व्लादीमीर आर्मेतीव ने भी अंक बांटे। अन्य मैचों में हंपी और हरिका ने क्रमश: लैगनो और कोस्तेनियुक के साथ ड्रॉ  खेला, जबकि आर प्रागनानंदा और देशमुख भी अपने प्रतिद्वंद्वियों को बराबरी पर रोकने में सफल रहे।

दूसरे दौर में पी हरिकृष्णा के स्थान पर आनंद आए और उन्होंने इयान नेपोमिनियात्ची के खिलाफ ड्रॉ  खेला, जबकि कप्तान विदित गुजराती ने दानिल दुबोव के खिलाफ अंक बांटे। विश्व रैंपिड चैंपियन कोनेरू हंपी ने अलेक्सांद्रा गोरयाचकिना को हराया, जबकि डी हरिका ने अलेक्सांद्रा कोस्तेनियुक के साथ बाजी ड्रॉ  खेली।

इससे पहले विश्व रैपिड चैंपियन कोनेरू हंपी ने शनिवार को सेमीफाइनल में मोनिका सोक्को को टाई ब्रेक में हराकर भारत को पोलैंड पर जीत दिलाई थी। इस मैच में भारत ने मैच का पहला दौर गंवा दिया था, लेकिन टीम दूसरे मैच में शानदार वापसी करने में सफल रही और इसी जीत से भारतीय टीम फाइनल में पहुंची थी।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत की जीत पर कहा, "शतरंज ओलंपियाड जीतने पर हमारे शतरंज खिलाडि़यों को बधाई। उनकी कड़ी मेहनत और समर्पण सराहनीय है। उनकी सफलता निश्चित रूप से अन्य शतरंज खिलाडि़यों को प्रेरित करेगी। मैं रूसी टीम को भी बधाई देना चाहूंगा।" भारत के दिग्गज शतरंज खिलाड़ी विश्वनाथन आनंद ने कहा है, "हम दोनों चैंपियन बने। रूस को बधाई।"

वहीं, खेल मंत्री किरण रिजिजू ने कहा है, "फिडे शतरंज ओलंपियाड में स्वर्ण जीतने पर मैं भारतीय दल को बधाई देता हूं। भारत को रूस के साथ संयुक्त विजेता घोषित किया गया। सभी खिलाडि़यों को मेरी हार्दिक शुभकामनाएं।" भारतीय शतरंज खिलाड़ी कोनेरू हंपी ने कहा है, "यह थोड़ा अजीब रहा कि हमें सर्वर की नाकामी के कारण हार का सामना करना पड़ा और हमारी अपील स्वीकार की गई। मैं यही कह सकती हूं कि हमने आखिर तक हार नहीं मानी।"


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