Move to Jagran APP

डॉ. अश्विनी ने छोड़ा सरकारी आवास, लड़ सकते हैं चुनाव

वीमसार में निदेशक पद पर रहते हुए डॉ. पुजाहारी के क्रियाकलाप को लेकर जूनियर डॉक्टर्स संघ ने कड़ी नाराजगी जाहिर की थी। संघ ने बीते साल नौ नवंबर से काम बंद आदोलन छेड़ दिया था।

By Edited By: Published: Mon, 11 Feb 2019 06:32 AM (IST)Updated: Mon, 11 Feb 2019 09:30 AM (IST)
डॉ. अश्विनी ने छोड़ा सरकारी आवास, लड़ सकते हैं चुनाव
डॉ. अश्विनी ने छोड़ा सरकारी आवास, लड़ सकते हैं चुनाव

संबलपुर, जेएनएन। राज्य सरकार के रवैये से नाराज होकर अपना इस्तीफा देने वाले वीर सुरेंद्र साय इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस एंड रिसर्च (वीमसार) बुर्ला के निदेशक डॉ.अश्विनी पुजाहारी ने सरकारी आवास भी खाली कर दिया है। शनिवार की सुबह यहां मीडिया से रूबरू होने के कुछ ही घंटे के बाद डॉ. पुजाहारी ने अपने सामान के साथ सरकारी आवास को अलविदा कह दिया।

loksabha election banner

खबर है कि डॉ.अश्विनी अब संबलपुर के बुढ़ाराजा इलाके में आकर रहने लगे हैं। लड़ सकते हैं चुनाव राज्य सरकार के रवैये से नाराज होकर वीमसार के निदेशक पद से इस्तीफा देने के बाद डॉ. पुजाहारी के राजनीति में जाने की संभावना है। डॉ. अश्विनी ने इसका खुलासा खुद किया है। बताया है कि कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष निरंजन पटनायक ने उन्हें पार्टी में शामिल होने का न्योता दिया है। हालांकि उन्होंने अबतक इस संबंध में कोई निर्णय नहीं लिया है। डॉ. पुजाहारी ने कहा है कि इस बारे में परिवार के सदस्यों के साथ विचार-विमर्श के बाद सप्ताह भीतर निर्णय लिया जाएगा।

उल्लेखनीय है कि वीमसार में निदेशक पद पर रहते हुए डॉ. पुजाहारी के क्रियाकलाप को लेकर जूनियर डॉक्टर्स संघ ने कड़ी नाराजगी जाहिर की थी। संघ ने बीते साल नौ नवंबर से काम बंद आदोलन छेड़ दिया था। इसके बाद राज्य सरकार ने स्वास्थ्य विभाग की चार सदस्यीय टीम को जांच करने के लिए बुर्ला भेजा था। साथ ही सात दिसंबर को डॉ. पुजाहारी को अवकाश पर भेज दिया गया था। कई बार सरकार को पत्र लिखने के बावजूद कोई जवाब नहीं मिलने पर बीते शुक्रवार को डॉ. पुजाहिरी ने ई-मेल के जरिए राज्यपाल को अपना इस्तीफा भेज दिया।

समर्थन में सामने आए थे कई संगठन

वीमसार के निदेशक डॉ. अश्विनी पुजाहारी के खिलाफ जूनियर डॉक्टर्स संघ के आदोलन के दौरान संबलपुर के कई संगठन उनके समर्थन में सामने आ गए थे। उन्होंने समस्या का समाधान नहीं होने पर आदोलन की चेतावनी दी थी। उनका कहना था कि बुर्ला मेडिकल हॉस्पिटल पश्चिम ओडिशा का एकमात्र मेडिकल कॉलेज अस्पताल है इसकी उन्नति को प्राथमिकता देने की जरूरत है। उन्होंने मेडिकल कॉलेज अस्पताल में जूनियर डॉक्टरों के कलम बंद आदोलन पर भी चिंता जाहिर की थी। उनका निजी मामला है बताया कि यह उनका निजी मामला है। सरकार ने उन्हें ऐसा करने को नहीं कहा। सरकार ने उन्हें छुट्टी पर भेजा था।

डॉ. रासेश्वरी पाणिग्राही, विधायक, संबलपुर


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.