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लाल वाहिनी की योजना पस्‍त, 7 लैंडमाइन एवं टिफिन बम जब्‍त

लालगड़ में लाल वाहिनी की योजना पस्‍त हो गई है यहां गश्त कर रही बीएसएफ टीम ने 7 लैंडमाइन एवं टिफिन बम को जब्‍त किया है। बीएसएफ जवानों को निशाना बनाने के लिए माओदियों ने जमीन में लैंडमाइन बिछाए थे।

By Babita kashyapEdited By: Published: Tue, 20 Oct 2020 12:17 PM (IST)Updated: Tue, 20 Oct 2020 12:28 PM (IST)
लाल वाहिनी की योजना पस्‍त, 7 लैंडमाइन एवं टिफिन बम जब्‍त
लालगड़ में लाल वाहिनी की योजना पस्‍त

भुवनेश्वर, जागरण संवाददाता। लालगड़ में लाल वाहिनी की बड़ी वारदात को अंजाम देने की योजना को बार्डर सिक्योरिटी फोर्स (बीएसएफ) के जवान ने फेल कर दिया है। मालकानिगरी जिले चित्रकोंडा ब्लाक के स्वाभिमान क्षेत्र के पणसपुट पंचायत के गोरा सेतु के पास बीएसएफ के जवानों ने 7 लैंडमाइन एवं एक टिफिन बम को जब्‍त किया है। 

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गश्त पर निकले थे बीएसएफ जवान

 जानकारी के मुताबिक आज सुबह बीएसएफ के जवान गश्त पर निकले थे। इसी दौरान उनकी नजर उक्त इलाके में लगाई गई 7 लैंडमाइन एवं टिफिन बम पर पड़ गई। यह लैंडमान एवं टिफिन बम जमीन में खुदाई कर रखा गया था। इसके बाद बीएसएफ की टीम बम निरोधक दस्‍ते को खबर दी। बम स्क्वाड का दस्ता  मौके पर पहुंचकर जमीन में गाड़े गए लैंड माइन एवं टिफिन बमको निकालकर सुरक्षित ढंग से विस्फोट कर दिया। 

दहशत पैदा करने का उद्देश्य 

 यहां उल्लेखनीय है कि पिछले कुछ दिनों से माओवादियों के तमाम मंसूबों पर सुरक्षा बल के जवानों ने पानी फेर दिया है। ऐसे में माओवादी अपनी स्थिति को बनाए रखने तथा लोगों में दहशत पैदा करने के उद्देश्य से सुरक्षा वाहिनी के जवानों को टारगेट बनाना चाहते थे। हालांकि सुरक्षा वाहिनी के जवान एक बड़े हादसे से बाल बल बच गए हैं। टिफिन बम एवं लैंडमाइन उद्धार करने के बाद पुलिस एवं बीएसएफ के जवानों ने अपने कांबिंग आपरेशन को तेज कर दिया है।

 ओडिशा के माओ प्रभावित जिलों में लगातार हो रहे विकास कार्य एवं नियमित चलाए जा रहे कांबिंग आपरेशन से लाल वाहिनी (माओ संगठन) अब कमजोर होती जा रही है। पुलिस की सख्त जवाबी कार्रवाई की वजह से राज्‍य में माओ हिंसा में भी कमी देखी जा रही है। स्थिति को देखते हुए राज्य सरकार ने यहां के पांच जिलों अनुगुल, बौद्ध, सम्बलपुर, देवगड़ एवं नयागड़ जिलों को माओ मुक्त घोषित कर दिया है। हालांकि अभी भी आठ जिलों में माओवादी सक्रिय हैं। पुलिस डीजी अभय ने इन जिलों में सक्रिय माओवादियों से हिंसा का रास्ता छोड़ मुख्य धारा में शामिल होने के लिए आह्वान किया था।  


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