षष्ठी पूजा के साथ शुरू हुआ दुर्गोत्सव
राज्य भर में दुर्गोत्सव के साथ दशहरा पर्व शुरू हो गया है, विभिन्न पूजा कमेटियों की ओर से सोमवार को कलश शोभायात्रा निकाली गई।
भुवनेश्वर, जेएनएन। शारदीय नवरात्र में आदिशक्ति की षष्ठी पूजा के साथ राज्य भर में दुर्गोत्सव के साथ दशहरा पर्व शुरू हो गया है। इसे लेकर नगर समेत पूरे राज्य में उत्साह का माहौल है। विधि के मुताबिक विभिन्न पूजा कमेटियों की ओर से सोमवार को कलश शोभायात्रा निकाली गई तथा नदी से पवित्र जल लाकर पंडाल में अधिवास पूजा के साथ आदिशक्ति का आह्वान कर मां की षष्ठी पूजा की गई।
कटक-भुवनेश्वर जुड़वा नगरी में आदिशक्ति की पूजा के लिए विभिन्न पूजा पंडालों में सुबह से ही श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ी। कटक में 157 तो भुवनेश्वर में 187 पूजा पंडालों में हो रही मां की पूजा इस बार दुर्गोत्सव में कटक के 156 एवं भुवनेश्वर के 187 पूजा पंडालों में आदिशक्ति की पूजा हो रही है। इसे लेकर पुलिस प्रशासन की ओर से सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं। रसूलगढ़ पूजा पंडाल में शीशे की कारीगरी आकर्षण का केंद्र राजधानी के झारपड़ा, बमीखाल, शहीदनगर, रसूलगढ़, नयापल्ली, बरमुंडा, पुराना स्टेशन बाजार, राजमहल आदि जगहों पर मां के भव्य पूजा पंडाल बनाए गए हैं। रसूलगढ़ में लंदन आल्वर्ट हाल का आकार लिए पूजा पंडाल में शीशे की कारीगरी आकर्षण का केंद्र बनी हुई है।
पलासुनी में महामाया पैलेस के रूप में बना पंडाल लोगों का ध्यान खींच रहा है। नहरकंटा में जापान का फुजीयामा मंदिर, कोरड़कंटा में प्राचीन शिव मंदिर, वीर सुरेंद्र साय नगर में श्रीमंदिर की तर्ज पर बना पूजा पंडाल आकर्षण बना हुआ है। राजधानी में मां दुर्गा के साथ शिव-पार्वती एवं हनुमान की भी प्रतिमूर्ति कुछ पूजा पंडालों में भक्तों को खींच रही है। नयापल्ली नुआसाही में महावीर पूजा कमेटी की हनुमान प्रतिमा का दर्शन करने श्रद्धालुओं का रेला उमड़ रहा है। लड्डू तो कहीं बंटेगा खिचड़ी भोग मंगलवार को सप्तमी, बुधवार को अष्टमी, गुरुवार को नवमी एवं शुक्रवार को विजयदशमी की पूजा विधि के अनुसार तमाम पूजा पंडालों में की जाएगी। कई पंडालों में अष्टमी को लड्डू भोग तो कहीं पर खिचड़ी भोग का वितरण किया जाएगा।