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Odisha Assembly: भाजपा विधायकों को महंगा पड़ा विधानसभा अध्यक्ष पर चप्पल फेंकना, निलंबित

Odisha Assembly ओडिशा विधानसभा में भाजपा विधायकों ने विधानसभा अध्यक्ष को निशाना बनाकर उनके ऊपर चप्पल व इयरफोन फेंके। इसके बाद सदन में हंगामा शुरू गया। सदन में हंगामा होते देख विधानसभा अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही को मुलतवी घोषित कर दिया।

By Babita KashyapEdited By: Published: Sat, 03 Apr 2021 03:01 PM (IST)Updated: Sat, 03 Apr 2021 06:44 PM (IST)
Odisha Assembly: भाजपा विधायकों को महंगा पड़ा विधानसभा अध्यक्ष पर चप्पल फेंकना, निलंबित
विधानसभा अध्यक्ष सूर्य नारायण पात्र पर भाजपा विधायक ने चप्पल फेंकी

भुवनेश्वर, जागरण संवाददाता। Odisha Assembly: ओडिशा विधानसभा की कार्यवाही चलते समय विधानसभा अध्यक्ष सूर्य नारायण पात्र के ऊपर चप्पल व इयरफोन फेंका गया। इस कारण भाजपा के तीन विधायकों इस अधिवेशन से निलंबिंत होना पड़ा है। भाजपा के ये तीनों विधायक हैं जय नारायण मिश्र, विष्णु सेठी व मोहन माझी। विधानसभा अध्यक्ष ने इन तीनों विधायकों को निलंबित करते हुए सदन छोड़कर चले जाने की रूलिंग जारी कर दी। इसके बाद भाजपा के विधायक विधानसभा से निकलकर महात्मा गांधी की प्रतिमूर्ति के नीचे धरना दिए। भाजपा विधायकों के इस कृत्य के लिए न सिर्फ सदन के विधायक बल्कि आम लोगों ने भी निंदा की है।

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ओडिशा विधानसभा में भाजपा विधायकों ने विधानसभा अध्यक्ष को निशाना बनाकर उनके ऊपर चप्पल व इयरफोन फेंके। इसके बाद सदन में हंगामा शुरू गया। सदन में हंगामा होते देख विधानसभा अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही को मुलतवी घोषित कर दिया। सदन की कार्यवाही जैसे ही दुबारा शुरू हुई बीजद विधायक प्रमिला मलिक ने भाजपा विधायकों के इस कृत्य के खिलाफ उन्हें निलंबन करने का प्रस्ताव लाया था। इस प्रस्ताव पर कार्रवाई करते हुए विधानसभा अध्यक्ष ने वीडियो फुटेज देखने के बाद इन तीनों विधायकों को इस अधिवेशन के लिए सदन से निलंबित कर दिया है।

शनिवार को सदन की कार्यवाही के प्रारंभ से ही हो हल्ला देखने को मिला। खदान भ्रष्टाचार प्रसंग पर मुलतवी प्रस्ताव लाकर चर्चा कराने की मांग कांग्रेस के विधायकों ने की थी। हालांकि विधानसभा अध्यक्ष ने इसके लिए कांग्रेस के विधायक को अनुमति नहीं दी। इसके बाद कांग्रेस के विधायक इसका विरोध करते हुए सदन के मध्य भाग में आ गए और हो हल्ला मचाने लगे। भाजपा के विधायकों ने कांग्रेस के इस प्रसंग का समर्थन किया था। सदन में हंगामा होते देख विधानसभा अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही को पहले 11:30 बजे तक मुलतवी घोषित कर दी।

इसके बाद सदन की कार्यवाही जब शुरू हुई तो फिर सरकारी दल ने लोकायुक्त विधेयक 2021 को सदन से पास करा लिया। इसके प्रतिवाद में भाजपा के विधायक सदन के मध्य भाग में आ गए और शोर-शराबा मचाने लगे। भाजपा विधायक हो हल्ला करने के साथ ही पोडियम के ऊपर चढ़ने का प्रयास किए और इसी बीच तमाम सीमा को पार करते हुए भाजपा के दो वरिष्ठ विधायक विधानसभा अध्यक्ष की सीट को लक्ष्य कर चप्पल फेंक दिया। इसका बीजद के विधायकों ने कड़ा विरोधी किया। सदन में हंगामा होते देख विधानसभा अध्यक्ष ने सदन कार्यवाही को मुलतवी घोषित कर दिया था। सदन की कार्यवाही जब दुबारा शुरू हुई है तो फिर विधानसभा अध्यक्ष ने बीजद विधायक प्रमिला मलिक के प्रस्ताव पर विचार करते हुए भाजपा के इन तीनों विधायकों सदन से निलंबित कर दिया है।

सदन से निकलने के बाद भाजपा के विधायक विधानसभा परिसर में बनी महात्मा गांधी की प्रतिमूर्ति के नीचे धरना पर बैठ गए। निलंबित विधायक मोहन माझी ने कहा है कि हमने चप्पल नहीं फेंकी है। हेड फोन फेंकना गोई गलती नहीं है। विधायक जयनारायण मिश्र ने कहा है कि हमने ऐसा क्यों किया इस संदर्भ में हमें सदन में कहने का मौका तक नहीं दिया गया है। इससे डस्टविन फेंकने को मैं बाध्य हो गया। वही,. विष्णु सेठी ने कहा है कि चप्पल नहीं और कुछ करने की जरूरत है। गणतंत्र के इस मंदिर में भाजपा विधायक इस तरह की हरकत करने के बाद शर्मिंदा होना तो दूर तर्क वितर्क करना आम लोगों को विस्मित कर दिया है।


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